ग्वालियर। करीब 18 साल से कांग्रेस से जुड़े पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया हर बड़े फैसले लेने से पहले शहर स्थित अपने कुलदेवता का आशीर्वाद लेने आते रहते हैं. एक सप्ताह पहले भी सिंधिया गोरखी देवघर स्थित मंदिर पहुंचे थे, जहां उन्होंने अपने कुलदेवता से आशीर्वाद लिया था.
गौरतलब है कि सिंधिया राजपरिवार के कुलदेवता मंसूर शाह की दरगाह गोरखी देवघर स्थित मंदिर में है. पानीपत युद्ध हारने के बाद जब सिंधिया राजवंश के महाराजा महादजी सिंधिया मरणासन्न स्थिति में थे, तब उनकी पत्नी को मंजूर शाह ने ही भरोसा दिलाया था कि वे सुरक्षित हैं और कुछ समय बाद ग्वालियर लौट आएंगे. कुछ ऐसा ही हुआ भी. इसके बाद से गोरखी देवघर में उनकी स्थायी गद्दी बना दी गई, जहां साल भर के त्योहार मनाए जाते हैं. वही मंसूर शाह का उर्स भी उसी श्रद्धा भाव से मनाया जाता है. सिंधिया परिवार का कोई भी सदस्य अपने कुल देवता का आशीर्वाद लेने हर छोटे-बड़े अवसर पर यहां जरूर पहुंचता है.
बता दें कि एक सप्ताह पहले देवघर दर्शन करके गए थे. चूकि शुक्रवार को उन्हें राज्यसभा का पर्चा दाखिल करना है और आज भाजपा की सदस्यता लेनी है, इसलिए वे गुरुवार को कुछ समय के लिए ग्वालियर आ सकते हैं. मंदिर के पुजारी बताते हैं कि उनके पास फिलहाल सिधिंया के आने की सूचना नहीं है.