गुना। पूर्व मंत्री जयवर्द्धन सिंह मृतक आरक्षक खुमान सिंह भिलाला को श्रद्धांजलि देने बमोरी में उनके घर पहुंचे. 27 फरवरी को नागालैंड के ओखा में चुनाव ड्यूटी के दौरान SAF आरक्षक खुमान सिंह भिलाला की मौत को शहीद का दर्जा देने की मांग पर आदिवासी समाज अड़ा हुआ है. परिजनों समेत पूरे आदिवासी समाज की मांग है कि खुमान सिंह भिलाला को शहीद का दर्जा दिया जाए. मुआवजा राशि की घोषणा की गई थी वो भी दी जाए. कांग्रेस भी आदिवासियों के साथ खड़ी हो गई है. जयवर्द्धन सिंह ने मृतक आरक्षक की बेटी को अपनी गोद में बैठाया और परिजनों की मांग को सुना.
जयवर्द्धन ने उठाई मांग: जयवर्द्धन सिंह ने पिता दिग्विजय सिंह से पीड़ित परिवार की फोन पर बात कराई. जयवर्द्धन सिंह ने बताया कि खुमान सिंह भिलाला की मौत के बाद अब तक उन्हें शहीद का दर्जा नहीं दिया गया है और न ही नागालैंड सरकार और चुनाव आयोग द्वारा मुआवजा राशि दी गई है. बमोरी के सुआटोर गांव के निवासी SAF आरक्षक खुमान सिंह भिलाला की 27 फरवरी को नागालैंड में चुनाव ड्यूटी के दौरान मौत हो गई थी. खुमान सिंह भिलाला एसएएफ 26वीं बटालियन में पदस्थ थे.खुमान सिंह की मौत को शहीद का दर्जा देने की मांग पर आदिवासी समाज अड़ा हुआ है. बमोरी विधानसभा क्षेत्र में बड़े पैमाने पर आदिवासी मतदाता हैं. ऐसे में आदिवासियों की मांग पर प्रदेश सरकार भी गंभीरता से विचार कर रही है.
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सरकार का आश्वासन: मृतक खुमान सिंह भिलाला की मौत से आहत परिजनों ने स्थानीय प्रशासन और पंचायत मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया पर झूठे आश्वासन देने का आरोप लगाया है. परिजनों ने बताया कि जिस दिन खुमान सिंह भिलाला का अंतिम संस्कार हो रहा था उस दिन मृतक को शहीद का दर्जा देने की मांग भी चल रही थी. अंतिम संस्कार में मौजूद पंचायत मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया ने इशारा करते हुए बताया कि खुमान सिंह ऐसे थोड़ी खत्म हुआ है. पंचायत मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया ने गांव में खुमान सिंह भिलाला की प्रतिमा स्थापित करने का भी आश्वासन दिया था.