देवास। खातेगांव न्यायालय में नाबालिग के साथ दुष्कर्म कर हत्या करने का केस विचाराधीन था. इसमें विशेष न्यायाधीश पोक्सो अधिनियम खातेगांव न्यायधीश सरिता माधवानी द्वारा आरोपी नरेंद्र उर्फ गोलू पिता भेरु सिंह को फांसी की सजा सुनाई गई है.
पुलिस टीम को नगद पुरस्कार की घोषणा : देवास ग्रामीण अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सूर्यकांत शर्मा ने बताया कि प्रकरण की विवेचना तत्कालीन टीआई महेंद्र परमार द्वारा की गई थी. पुलिस अधीक्षक डॉ. शिवदयाल सिंह द्वारा प्रकरण की विवेचना की लगातार मॉनीटरिग कर अभियोजन अधिकारियों से सलाह मशविरा कर प्रकरण की प्रत्येक बिंदुओं की बारीकी से विवेचना कर पर्याप्त साक्ष्य जुटाकर न्यायालय में चालान प्रस्तुत किया गया. पुलिस अधीक्षक डॉ. शिवदयाल सिंह द्वारा संपूर्ण खातेगांव पुलिस टीम को नगद इनाम से पुरस्कृत करने की घोषणा की है.
ये है पूरा मामला : खातेगांव की बागड़ी कॉलोनी में एक निर्माणाधीन मकान में नाबालिग का शव संदिग्ध हालत में मिला था. सूचना मिलते ही मौके पर पहुंची खातेगांव पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच पड़ताल शुरू की. नाबालिग की गमछे से गला घोंटकर हत्या करने के बाद शव को सीमेंट की बोरी में ढंककर छुपाया गया था. वहीं एडिशनल एसपी सूर्यकांत शर्मा ने खातेगांव में मामले का खुलासा कर बताया कि मुखबिर से मिली सूचना पर पुलिस ने घटनास्थल के आसपास देखे गए गोलू उर्फ नरेंद्र से जब सख्ती से पूछताछ की तो उसने नाबालिग का गला घोंटकर शव को सीमेंट की बोरी से ढकने की घटना कबूल की थी.
आरोपी मकान में मिस्त्री का कामकाज करता था. उसने नाबालिग पर बुरी नियत रखकर बहला-फुसलाकर बुलाया. जबरदस्ती करने के दौरान उसने नाबालिग की गला घोंटकर हत्या कर दी.
- सूर्यकांत शर्मा, एडिशनल एसपी, देवास
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