भोपाल। मुरैना में जहरीली शराब कांड से सबक लेते हुए राज्य सरकार ने एक अहम फैसला लिया है. अब मध्यप्रदेश में अवैध शराब की बिक्री को रोकने के लिए होमगार्ड के जवान मैदान में उतरेंगे. वाणिज्य कर विभाग की मांग पर गृह विभाग ने 400 होमगार्ड के जवान, आबकारी विभाग को देने पर अपनी सहमति दे दी है. विभाग के इस निर्णय से मैदानी अमले की कमी से जूझ रहे आबकारी विभाग को थोड़ी राहत मिलेगी. गौरतलब है कि विभाग में आबकारी आरक्षक के 1021 स्वीकृत पदों में से आते ही भरे हैं. जबकि 439 पद खाली है.
आबकारी विभाग में 50 फीसदी पद खाली
मुरैना में जहरीली शराब से 25 लोगों की मौत की घटना के बाद आबकारी विभाग द्वारा मैदानी अमले की कमी की बात जोर शोर से उठाई गई है. आबकारी विभाग में करीब 50 फीसदी स्वीकृत पद खाली है. इनमें सबसे ज्यादा कमी निचले स्टाफ की है.
घटना के बाद मांगे थे होमगार्ड के जवान
देखा जाए तो साल भर में करीब 9 लाख लीटर अवैध शराब जब्त की जाती है. जबकि बिक्री इससे कई गुना ज्यादा है. इसकी अपेक्षा विभाग में मैदानी अमले की काफी कमी है. मुरैना शराब कांड के बाद आबकारी विभाग ने होमगार्ड के 400 सैनिकों की मांग की थी. जिसे गृह विभाग ने शर्तों के साथ मंजूरी दे दी है. इसके तहत सबसे ज्यादा 31 जवान भोपाल संभागीय कार्यालय को दिए गए हैं. वही भोपाल जिला कार्यालय को 14, ग्वालियर इंदौर में 25-25 और जबलपुर जिले को 20, वहीं उज्जैन- छतरपुर को 15-15 जवान मिले हैं. बताया जाता है कि आबकारी विभाग में 8-9 साल से भर्तियां नहीं हुई है, जिसकी वजह से 29 जिलों में प्रभारी आबकारी अधिकारी पदस्थ किए गए हैं.
किन पदों पर कितनी भर्तियां-
- विभाग में आबकारी आरक्षक के 1021 पद स्वीकृत है जिसमें से सिर्फ 582 ही भरे हैं.
- आबकारी मुख्य आरक्षक के 316 में से 187 पद भरे हुए हैं जबकि 129 पद खाली है.
- आबकारी उपनिरीक्षक के 531 स्वीकृत पदों में से 205 पद खाली है
- सहायक जिला आबकारी अधिकारी के 262 स्वीकृत पदों में से 64 पद खाली है.
- जिला आबकारी अधिकारी के स्वीकृत 62 पदों में से 29 पद खाली है.
- सहायक आयुक्त आबकारी के 21 स्वीकृत पदों में से 3 पद खाली है.
- इसी तरह उपायुक्त आपकारी के स्वीकृत 11 पदों में से 4 पद खाली है.