भोपाल। सीहोर जिले का नसरुल्लागंज गांव अब भैरूंदा कहलाएगा. मध्यप्रदेश सरकार के राजस्व विभाग ने संबंधित नोटिफिकेशन जारी कर दिया है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कुछ समय पहले नसरुल्लागंज का नाम बदलने का ऐलान किया था. उधर, स्थानों का नाम बदले जाने को लेकर कांग्रेस ने आपत्ति जताई है. कांग्रेस प्रवक्ता अजय यादव ने कहा है कि शिवराज सरकार सिर्फ धर्म को आधार बनाकर स्थानों के नाम बदलने में जुटी हुई है.
इस्लामनगर हो गया था जगदीशपुर: मध्यप्रदेश सरकार द्वारा जनप्रतिनिधियों और स्थानीय लोगों की मांग के आधार पर जिलों, शहरों और गांवों के नाम बदले जा रहे हैं. विपक्षी दल जहां इसे वोट बैंक की राजनीति कह रहे हैं, वहीं सरकार इसे स्थानीय लोगों की भावना का सम्मान बता रही है. मध्यप्रदेश में इससे पहले भी कई जगहों के नाम बदले जा चुके हैं. पिछले दिनों भोपाल जिले के इस्लामनगर गांव का नाम बदलकर जगदीशपुर कर दिया गया था. इस स्थान का नाम बदले जाने की मांग लंबे समय से की जा रही थी. बीजेपी नेताओं का कहना था कि पूर्व में इस्लाम नगर का नाम जगदीशपुर ही हुआ करता था लेकिन 1751 ईस्वी में दोस्त मोहम्मद खान ने इसका नाम बदलकर इस्लामनगर कर दिया था.
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पहले भी बदले जा चुके कई नाम: इससे पहले भोपाल के हबीबगंज रेलवे स्टेशन का नाम बदलकर रानी कमलापति रेलवे स्टेशन कर दिया गया था. जनवरी माह में टीकमगढ़ जिले के 2 गांवों के नाम बदल दिए गए थे. टीकमगढ़ जिले के शिवपुरी गांव का नाम कुंडेश्वर कर दिया गया है. यहां भगवान शिव का कुंडेश्वर धाम आस-पास के जिलों में भी प्रसिद्ध है और इसके नाम पर शिवपुरी गांव का नाम बदला गया है. इसके अलावा टीकमगढ़ जिले के अतर्रा गांव का नाम बदलकर आचार्य धाम किया गया है. इसके पूर्व मध्यप्रदेश के होशंगाबाद जिले का नाम बदलकर नर्मदापुरम किया गया था. होशंगाबाद संभाग का नाम भी बदलकर नर्मदा पुरम संभाग कर दिया गया था. इसी तरह बाबई शहर का नाम बदलकर माखन नगर कर दिया गया था.