भोपाल। शहर में ऑक्सीजन सप्लाई सामान्य करने के सभी प्रयास जिला प्रशासन द्वारा किए जा रहे है, लेकिन कोरोना मरीजों की संख्या दिन प्रतिदिन बढ़ती ही जा रही है. ऐसे में कल कुल 7200 टेस्ट किए गए, जिसमें 1802 नए कोरोना पॉजिटिव मरीजों की पुष्टि हुई, जबकि ठीक होने वाले मरीजों की संख्या केवल 1004 रही.
टॉस्क फोर्स गठित
भोपाल नगर निगम ने कोरोना अस्पतालों में ऑक्सीजन व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए सात ऑक्सीजन सप्लाई करने वाले प्लांटो पर तीन पारियों में अपने 21 अधिकारियों और कर्मचारियों की टॉस्क फोर्स गठित कर ड्यूटी लगाई है, जो अब प्लांटो से ऑक्सीजन वितरण का काम संभालेंगे. यह सुनिश्चित करेंगे कि सभी अस्पतालों को उनकी जरूरत के अनुसार ऑक्सीजन मिल सकें.
राजधानी में निर्वाध रूप से ऑक्सीजन सप्लाई हो सकें, इसके लिए जिला प्रशासन के साथ-साथ भोपाल नगर निगम ने भी अपने अधिकारियों की एक टॉस्क फोर्स का गठन कर दिया है, जो अब सतत रूप से ऑक्सीजन प्लांट पर आठ-आठ घंटे की ड्यूटी पर तैनात रहेंगे. इसके आदेश नगर निगम ने देर रात जारी कर दिए थे.
छतरपुर जिला अस्पताल में ऑक्सीजन सप्लाई ठप, मचा हाहाकार
ऐसा देखा गया है कि भोपाल में 24 घंटे ऑक्सीजन प्लांटो पर लगातार भीड़ बनी रहती थी. पुलिस को अपना कार्य छोड़कर बार-बार इन प्लांटो पर व्यवस्था बनाए रखने के लिए जाना पड़ता था. इसके अलावा जिला प्रशासन को भी समय-समय पर इस ओर ध्यान देना पड़ता था, लेकिन अब इस समस्या का हल निकल गया है.
फिलहाल प्रशासन ने अलग टीम का गठन किया है, जो ऑक्सीजन के अपव्यय को रोकेगी. नगर निगम ने अपने आदेश में साफ-साफ लिख दिया है कि अगर इनमें से कोई भी अधिकारी या कर्मचारी अपनी ड्यूटी पर नहीं पाया जाता है, तो कार्य के प्रति उदासीनता बरतने वाले कर्मचारी के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी.