भोपाल। सीधी में आदिवासी युवक पर पेशाब करने के मामले में हांलाकि विधायक केदार शुक्ला साफ कर चुके हैं कि आरोपी प्रवेश शुक्ला उनका विधायक प्रतिनिधि नहीं है. लेकिन अब इस मामले के तूल पकड़ने के साथ सीधी थाने में पत्रकारों की अर्धनग्न तस्वीरें और वाकया भी री कॉल किया जा रहा है. सीधी से बीजेपी विधायक ये वही केदार शुक्ला हैं जिनके खिलाफ खबर लिखने पर थाने में पत्रकारों के कपड़े उतरवा लिए गए थे. कांग्रेस मुद्दा बना रही है कि क्या वजह है कि पूरे प्रदेश को शर्मनाक करने वाला आरोपी इस करतूत के बाद अकड़ में थाने आ रहा है. कहीं विधायक का दबाव तो नहीं क्योंकि इसी सीधी पुलिस ने विधायक के खिलाफ खबर लिखने पर पत्रकारो के थाने में कपड़े उतरवाए दिए थे.
कांग्रेस का सवाल किसकी दम पर अकड़ रहा है आरोपी: सीधी में आदिवासी युवक पर पेशाब करने के मामले में आरोपी बीजेपी नेता प्रवेश शुक्ला की गिरफ्तारी को लेकर भी सीधी पुलिस पर सवाल उठाए हैं. कांग्रेस के मीडिया विभाग के अध्यक्ष के के मिश्रा ने सवाल उठाया है कि सीएम शिवराज और गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा के इस मामले में कठोर कार्रवाई के राजनीतिक निर्देश के बावजूद आदिवासी पर पेशाब करने वाले आरोपी की पुलिस गिरफ्तर में अकड़ तो देखिए. मिश्रा ने पूछा है कि खाकी वर्दी का खौफ नहीं है या राजनीतिक संरक्षण में ये बेफिक्री है. ETV Bharat से बातचीत में केके मिश्रा ने कहा कि यही सीधी पुलिस थी जिसने इस विधायक प्रतिनिधि के आका विधायक केदार शुक्ला के खिलाफ खबर लिखने पर पत्रकारों के कपड़े उरवाए थे. अब पूरे प्रदेश को शर्मसार कर देने वाली करतूत के बाद भी आरोपी इस रौब के साथ थाने आ रहा है. मैं उम्मीद करता हूं कि शिवराज जी ये सब देख रहे होंगे.
सीधी से पहले भी आईं शर्मसार करने वाली तस्वीरें: इस बार मानवता को शर्मसार करती तस्वीरें सामने आई हैं लेकिन इसके पहले भी सीधी के थाने से निकली तस्वीरें उस समय सुर्खियों में आई थी जब यहां थाने में पत्रकारों के कपड़े उतरवाए गए थे. अर्धनग्न अवस्था में पत्रकारों की तस्वीरें पूरे देश की में चर्चा का विषय बनी थी. सीधी जिले में तब पत्रकार और रंगकर्मी समेत आठ लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था और उनके अर्धनग्न अवस्था के फोटो वायरल किए गए थे. पत्रकारों का आरोप था कि विधायक केदार शुक्ला के खिलाफ खबर लिखने पर उन पर ये कार्रवाई की गई है.