भोपाल। राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने भोपाल में बाल संरक्षण अधिकार विषयों पर चर्चा की. उनका कहना है कि राष्ट्रीय बाल आयोग बाल अपराधों के लिए एक ऐप तैयार कर रहा है, जिसका नाम मासी होगा. यह ऐप मां की तरह ही बच्चों की चिंता और सुरक्षा करेगा.
50 स्थानों का आयोग ने किया चयन
राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने कहा कि मध्य प्रदेश में कई स्थान धार्मिक टूरिज्म की दृष्टि से काफी महत्वपूर्ण है. इसलिए सांची, पितांबरा पीठ, खजुराहो, ओंकारेश्वर और ओरछा में बच्चों को बाल श्रम और शोषण से मुक्त करने का काम अब आयोग अपनी निगरानी में करने वाला है. यहां एक एसओपी तय की जाएगी कि कोई भी बच्चा भीख ना मांगे सिग्नल पर कुछ भेजता ना देखा जाए ऐसे 50 स्थानों का आयोग ने चयन किया है.
115 चाइल्ड केयर सेंटरों का बनाया गया रिपोर्ट कार्ड
राष्ट्रीय बाल आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने चर्चा करते हुए बताया कि पिछले दिनों आए मामलों के बाद देश के सभी चिल्ड्रन होम का इंस्पेक्शन करवाया गया है. एक एक चिल्ड्रन होम में जो कमियां पाई गई थी. उन से सरकार को अवगत कराया गया है. उनका कहना है कि 115 चाइल्ड केयर इंस्टीट्यूट का रिपोर्ट कार्ड भी बनाया गया है. इसमें सामने आया है कि यह रेगुलर मॉनिटरिंग का अभाव था. जिसके लिए सीडब्ल्यूसी और राज्य इंस्पेक्शन कमेटी को अवगत कराया गया है.
बाल अपराधों को रोकने के लिए तैयार किया जा रहा मासी ऐप
राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग बाल अपराधों को रोकने के लिए मासी ऐप तैयार कर रहा है. यह ऐप मां की तरह ही बच्चों की चिंता और सुरक्षा करेगा.
भोपाल। राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने भोपाल में बाल संरक्षण अधिकार विषयों पर चर्चा की. उनका कहना है कि राष्ट्रीय बाल आयोग बाल अपराधों के लिए एक ऐप तैयार कर रहा है, जिसका नाम मासी होगा. यह ऐप मां की तरह ही बच्चों की चिंता और सुरक्षा करेगा.
50 स्थानों का आयोग ने किया चयन
राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने कहा कि मध्य प्रदेश में कई स्थान धार्मिक टूरिज्म की दृष्टि से काफी महत्वपूर्ण है. इसलिए सांची, पितांबरा पीठ, खजुराहो, ओंकारेश्वर और ओरछा में बच्चों को बाल श्रम और शोषण से मुक्त करने का काम अब आयोग अपनी निगरानी में करने वाला है. यहां एक एसओपी तय की जाएगी कि कोई भी बच्चा भीख ना मांगे सिग्नल पर कुछ भेजता ना देखा जाए ऐसे 50 स्थानों का आयोग ने चयन किया है.
115 चाइल्ड केयर सेंटरों का बनाया गया रिपोर्ट कार्ड
राष्ट्रीय बाल आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने चर्चा करते हुए बताया कि पिछले दिनों आए मामलों के बाद देश के सभी चिल्ड्रन होम का इंस्पेक्शन करवाया गया है. एक एक चिल्ड्रन होम में जो कमियां पाई गई थी. उन से सरकार को अवगत कराया गया है. उनका कहना है कि 115 चाइल्ड केयर इंस्टीट्यूट का रिपोर्ट कार्ड भी बनाया गया है. इसमें सामने आया है कि यह रेगुलर मॉनिटरिंग का अभाव था. जिसके लिए सीडब्ल्यूसी और राज्य इंस्पेक्शन कमेटी को अवगत कराया गया है.