भोपाल। प्रदेश को कुछ समय पहले ही टाइगर स्टेट का दर्जा मिला है. लेकिन प्रदेश के कई क्षेत्रों में बाघों की लगातार मौत भी हो रही है, जो चिंता का विषय है. एक दिन पहले ही पन्ना टाइगर रिजर्व में भी एक 5 साल के नर बाघ की मौत हुई है. हालांकि अभी मौत के स्पष्ट कारण सामने नहीं आए हैं. बाघों की हो रही मौत को लेकर बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बीडी शर्मा ने चिंता जाहिर की है और सरकार से मांग की है कि इस मामले में जो लोग भी दोषी हैं, उन पर कड़ी कार्रवाई की जाए.
बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद वीडी शर्मा ने ट्वीट करते हुए कहा है कि मध्य प्रदेश की पहचान पन्ना टाइगर रिजर्व में पिछले कुछ दिनों में दो बाघों की मौत बेहद चिंता का विषय है. यूनेस्को की विश्व धरोहर में से एक खजुराहो से कुछ ही दूरी पर होने के कारण पन्ना टाइगर रिजर्व भारतीय और विदेशियों पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है. बाघों के मरने की इस तरह की घटनाओं से पर्यटन पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा. उन्होंने सरकार से आग्रह किया है कि दोषियों पर तुरंत कार्रवाई की जाए और ये सुनिश्चित किया जाए कि भविष्य में इस तरह की घटना की पुनरावृत्ति न हो.
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बाघों के मरने की इस तरह की घटनाओं से पर्यटन पर भी नाकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।
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मेरा सरकार से आग्रह है कि दोषियों पर तुरंत कार्यवाही की जाए एवं यह सुनिश्चित किया जाए कि भविष्य में इस तरह की घटनाएं ना हों।
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— VD SHARMA (@vdsharmabjp) July 27, 2020
मेरा सरकार से आग्रह है कि दोषियों पर तुरंत कार्यवाही की जाए एवं यह सुनिश्चित किया जाए कि भविष्य में इस तरह की घटनाएं ना हों।बाघों के मरने की इस तरह की घटनाओं से पर्यटन पर भी नाकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।
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मेरा सरकार से आग्रह है कि दोषियों पर तुरंत कार्यवाही की जाए एवं यह सुनिश्चित किया जाए कि भविष्य में इस तरह की घटनाएं ना हों।
दरअसल पन्ना टाइगर रिजर्व में एक दिन पहले ही 5 साल के नर बाघ की मौत हो गई थी. बताया जा रहा है कि आपसी संघर्ष के दौरान बाघ की मौत हुई है. पन्ना टाइगर रिजर्व के कोर एरिया क्षेत्र में मझौली के पास बाघ का शव बरामद किया गया है. ये शव 5 से 6 दिन पुराना बताया जा रहा है. हालांकि पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन ने इस मामले की जांच शुरू कर दी है.
ये पहला मामला नहीं है जब बाघ की मौत हुई है. इससे पहले भी टाइगर रिजर्व एरिया और अन्य जंगलों में भी बाघों की मौत हो चुकी है. कई बार शिकारियों द्वारा लगाए गए कांटेदार जाल में फंस कर भी बाघों की मौत हुई है. हालांकि अभी तक किसी भी आरोपी की गिरफ्तारी इस मामले में नहीं हो पाई है. सरकार द्वारा हर बार दावा किया गया है कि मध्य प्रदेश में बाघों को बेहतर व्यवस्थाएं वन विभाग के माध्यम से दी जा रही हैं. लेकिन जिस तरह से बाघों की मौत हो रही है, उसकी वजह से इन व्यवस्थाओं पर भी कई तरह के सवालिया निशान खड़े हो रहे हैं.