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अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का आयोजन, राहत इंदौरी, कुमार विश्वास ने बांधा समां

रविंद्र भवन में अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया, इसमें मुख्यमंत्री कमलनाथ, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, संस्कृति मंत्री डॉक्टर विजयलक्ष्मी साधौ, मंत्री आरिफ अकील, जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा मौजूद रहे.

All India Kavi Sammelan organized
अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का आयोजन
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Published : Dec 17, 2019, 3:32 PM IST

भोपाल। रविंद्र भवन में संस्कृति और जनसंपर्क विभाग की ओर से 'आवाज दो हम एक हैं' अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया. इस दौरान डॉक्टर राहत इंदौरी, डॉक्टर कुमार विश्वास, डॉक्टर संपत सरल, रासबिहारी रमेश मुस्कान, कविता तिवारी, दिनेश बावरा और कर्नल वीपी सिंह ने अपनी-अपनी रचनाएं पेश की. इस दौरान मुख्यमंत्री कमलनाथ, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, संस्कृति मंत्री डॉक्टर विजयलक्ष्मी साधौ, मंत्री आरिफ अकील, जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा उपस्थित रहे.

डॉक्टर राहत इंदौरी के शेर पर दर्शकों ने जमकर तालियां बजाईं. उनका शेर 'यकीन हो या ना हो बात तो यकीन की है, हमारे जिस्म की मिट्टी इसी जमीन की है', 'हमारे मुल्क के सब लोग भाई-भाई हैं', यह दूरियों की सियासत किस जमीन की है', वहीं दूसरा शेर 'मैं जब मर जाऊं, तो मेरी अलग पहचान लिख देना, लहू से मेरी पेशानी पर हिंदुस्तान लिख देना' पर दर्शक वाह-वाह कर उठे. कुमार विश्वास की रचना नमन उनको जो कि इस देह को अमृत देकर इस जगत में शौर्य की जीवित कहानी हो गए हैं, नमन उनको जिनके सामने बौना हिमालय जो धरा पर गिर पड़े पर आसमानी हो गए हैं, पर भी लोगों ने जमकर तालियां बजाईं.

भोपाल। रविंद्र भवन में संस्कृति और जनसंपर्क विभाग की ओर से 'आवाज दो हम एक हैं' अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया. इस दौरान डॉक्टर राहत इंदौरी, डॉक्टर कुमार विश्वास, डॉक्टर संपत सरल, रासबिहारी रमेश मुस्कान, कविता तिवारी, दिनेश बावरा और कर्नल वीपी सिंह ने अपनी-अपनी रचनाएं पेश की. इस दौरान मुख्यमंत्री कमलनाथ, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, संस्कृति मंत्री डॉक्टर विजयलक्ष्मी साधौ, मंत्री आरिफ अकील, जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा उपस्थित रहे.

डॉक्टर राहत इंदौरी के शेर पर दर्शकों ने जमकर तालियां बजाईं. उनका शेर 'यकीन हो या ना हो बात तो यकीन की है, हमारे जिस्म की मिट्टी इसी जमीन की है', 'हमारे मुल्क के सब लोग भाई-भाई हैं', यह दूरियों की सियासत किस जमीन की है', वहीं दूसरा शेर 'मैं जब मर जाऊं, तो मेरी अलग पहचान लिख देना, लहू से मेरी पेशानी पर हिंदुस्तान लिख देना' पर दर्शक वाह-वाह कर उठे. कुमार विश्वास की रचना नमन उनको जो कि इस देह को अमृत देकर इस जगत में शौर्य की जीवित कहानी हो गए हैं, नमन उनको जिनके सामने बौना हिमालय जो धरा पर गिर पड़े पर आसमानी हो गए हैं, पर भी लोगों ने जमकर तालियां बजाईं.

Intro:रविंद्र भवन भोपाल में संस्कृति और जनसंपर्क विभाग की ओर से 'आवाज दो हम एक हैं' अखिल भारतीय कवि सम्मेलन आयोजित किया गया इस दौरान डॉ राहत इंदौरी सहित डॉ कुमार विश्वास डॉक्टर संपत सरल रासबिहारी रमेश मुस्कान कविता तिवारी दिनेश बावरा और कर्नल वी पी सिंह ने अपनी अपनी रचनाएं पेश की


Body:डॉ राहत इंदौरी में जब अपने शेर पेश किए तो पूरा रविंद्र भवन तालियों से गूंज उठा उन्होंने कहा कि यकीन हो या ना हो बात तो यकीन की है हमारे जिस्म की मिट्टी इसी जमीन की है हमारे मुल्क के सब लोग भाई भाई हैं यह दूरियों की सियासत किस कमीन की है और उन्हीं का दूसरा शेर मैं जब मर जाऊं तो मेरी अलग पहचान लिख देना लहू से मेरी पेशानी पर हिंदुस्तान लिख देना कुमार विश्वास की रचना नमन उनको जो कि इस देह को अमृत देकर इस जगत में शौर्य की जीवित कहानी हो गए है नमन उनको जिनके सामने बौना हिमालय जो धरा पर गिर पड़े पर आसमानी हो गए


Conclusion:आवाज दो हम एक हैं अखिल भारतीय कवि सम्मेलन के दौरान मुख्यमंत्री श्री कमलनाथ दिग्विजय सिंह संस्कृति मंत्री डॉक्टर विजय लक्ष्मी साधो मंत्री आरिफ अकील पीसी शर्मा सहित अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित थे
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