भोपाल। मध्यप्रदेश में 19000 पटवारी एक बार फिर से दो दिवसीय सामूहिक अवकाश (patwari protesting in mp) पर चले गए हैं. मध्यप्रदेश पटवारी संघ मोबाइल एप के जरिए नुकसान हुए फसलों के सर्वे का विरोध कर रहा है. पटवारियों का कहना है कि इतने कम समय में फसलों के नुकसान के सर्वे का ऑनलाइन आकलन करना संभव नहीं है. इसे ऑफलाइन तरीके से ही करवाना चाहिए. पहले भी पटवारी हड़ताल पर गए थे, तो उच्च न्यायलय ने हड़ताल को अमान्य घोषित कर दिया था.
मोबाइल एप सर्वे को नामुमकिन बता रहे पटवारी
मध्य प्रदेश में बीते दिनों हुई ओलावृष्टि के कारण फसलों (mp crop damaged in rain) को काफी क्षति पहुंची थी. इसके बाद शिवराज सरकार द्वारा फसलों का सर्वे कराया जा रहा था. फसलों का सर्वे के लिए पटवारियों को मोबाइल एप के माध्यम से आकलन तैयार कर राज्य शासन को सौंपना था. अब पटवारी सरकार के इस फैसले का विरोध कर रहे हैं. पटवारियों का कहना है कि बेहद कम समय दिया गया है. ऐसे में मोबाइल एप के जरिए फसलों के नुकसान का सर्वे नामुमकिन है.
क्या है सरकार का आदेश
राज्य शासन के आदेश अनुसार पटवारी खेतों पर जाएंगे. जहां पर फसलों के नुकसान के फोटो क्लिक करने के साथ ही साथ बर्बाद हुई फसलों का आकलन भी करेंगे. (mobile app survey in mp)
ऑनलाइन गिरदावरी को लेकर एकजुट पटवारी
पटवारियों द्वारा दावा किया गया कि पूरे मध्यप्रदेश में पटवारी इस मामले में एकजुट हैं. ऑनलाइन गिरदावरी नहीं करेंगे. इस मामले में मध्य प्रदेश पटवारी संघ तीन बार ज्ञापन सौंप चुका है. पत्रों के माध्यम से संसाधन के अभाव में जिओ फैंस गिरदावरी हटाने की मांग की गई है.
इससे पहले मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आदेश जारी किया था. इसके मुताबिक ओला पीड़ित किसानों के नुकसान का सर्वे ऑनलाइन किया जाए. संभव हो तो कैमरे का भी उपयोग किया जाए. ताकि समय की बचत हो और किसानों को 1 सप्ताह के भीतर उनके फसलों के नुकसान की मुआवजा राशि उपलब्ध कराई जा सके.