भिंड। पिछले 7 दिनों में जहरीली शराब से 4 लोगों की मौत हो गई है. इस शराब कांड मामले में किरकिरी के बाद आखिरकार जिला प्रशासन हरकत में आया है. कलेक्टर के पत्र लिखने के बाद भिंड मुरैना और ग्वालियर की संयुक्त आबकारी टीम ने डिड़ी गांव में स्थित ग्वालियर डिस्टलरी पहुंच कर जांच पड़ताल की और वहां तैयार की जा रही शराब के सैम्पल भी लिए हैं. लेकिन बड़ा सवाल यह है कि इंदुर्खी में शराब बनाने के लिए ओपी (ओवरप्रूफ) आरोपियों के पास कहां से आई थी.
कलेक्टर के पत्र के बाद शुरू हुई जांच
जिले के रौन थाना क्षेत्र के इंदुर्खी गांव में ज़हरीली शराब से 4 लोगों की मौत हो गई थी, जिसके बाद से जिला और पुलिस प्रशासन जागा. रत्नुपुरा गांव से भी कुएं ने अवैध शराब के क्वार्टर उगल दिए हैं. दरअसल लोगों की मौत के बाद घबराए आरोपियों ने शराब को कुएं में फेंक दिया था. जिसके बाद प्रशासन ने कार्रवाई की. फोरेंसिक रिपोर्ट आने के बाद पुलिस कार्रवाई को आगे बढ़ाएगी. इस मामले पर सीएम शिवराज सिंह चौहान ने भी नाराजगी जाहिर की थी. उन्होंने एसपी शैलेंद्र सिंह को फटकार लगाई तो एडीजी से पूछा कि इतनी बड़ी घटना हो गई तो वे क्या कर रहे थे.
लापरवाह अधिकारियों की छुट्टी
इस मामले में वहां देख रेख करने वाले अधिकारी को हटा दिया गया है. टीम द्वारा लिए गए सैम्पल की रिपोर्ट के साथ ही रत्नुपुरा के कुएं से बरामद शराब के सैम्पल की रिपोर्ट का भी इंतज़ार किया जा रहा है, जिससे यह स्पष्ट हो सके कि इंदुर्खी में हुईं मौत इनमें से किस शराब से हुई.
फोरेंसिक जांच रिपोर्ट पर पुलिस को नहीं भरोसा
पुलिस इंदुर्खी में हुई मौतों को शराब की वजह से होने की बात स्वीकार नहीं कर रही थी. लेकिन मीडिया के दवाब में दो मृतकों के सैम्पल जांच के लिए भेजे गए थे जिनकी फोरेंसिक रिपोर्ट में भी इथाइल और मिथाइल एल्कोहल होना पाया गया है. लेकिन पुलिस ने इन दोनों एल्कोहल की मात्रा बताए जाने के लिखित सवाल के साथ रिपोर्ट लौटा दी है. रिपोर्ट आने के बाद स्थिति साफ हो सकेगी.