भिंड। सितंबर माह के पहले हफ्ते में भिंड में कार सवार बदमाशों ने एक व्यक्ति को शिकार बनाते हुए लूट की वारदात को अंजाम दिया था. महीने भर की मशक्कत के बाद पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है. पुलिस कंट्रोल रूम में प्रेस कॉन्फ़्रेन्स कर पुलिस ने पूरे मामले का खुलासा किया. पुलिस के मुताबिक 2 सितंबर को मुरैना जिले में बाहर से आए फरियादी राम नरेश तोमर ने जिले के बरोही थाना पुलिस में शिकायत की थी कि, भिंड के सुभाष तिराहे पर उन्होंने अम्बाह जाने के लिए एक कार में लिफ्ट ली थी. इस दौरान बदमाशों ने लिफ्ट देने के बहाने कार में बैठा लिया और रास्ते में पर्स और मोबाइल छीनकर भाग गए. (bhind crime news) (Bhind robbery accused arrested)(Interstate thief gang busted) (Bhind Loot Case)
ऐशो आराम के लिए दिया वारदात को अंजाम: आरोपियों का पता करने के लिए बरोही थाना पुलिस और साइबर सेल ने मुखबिर तंत्र सक्रिय किया जिसके द्वारा जानकारी मिली कि, तीनों आरोपी एक अन्य घटना को अंजाम देने के इरादे से भिंड आ रहे हैं. सूचना के आधार पर पुलिस ने रास्ते में ही आरोपियों को धर दबोचा. आरोपियों से पूछताछ में पता चला कि तीनो आरोपियों ने पूछताछ में बताया कि, वे ऐशो आराम के लिए अपराध घटित करते थे. आरोपियों ने मिलकर लूट, ठगी, चोरी के रुपयों से रिकू राजपूत के नाम से कार खरीदी थी. क्योंकि आरोपी का आपराधिक रिकॉड होने से उनके नाम से कोई भी बैंक गाडी फायनेंस करने के लिये तैयार नहीं था. आरोपियों द्वारा बताया कि वारदात करने के बाद मोटी रकम मिलने पर नैनीताल, लद्दाख, कुल्लू मनाली, जैसे पर्यटक स्थलों पर घूमने के लिये निकल जाते थे.
कार का दरवाजा पकड़वा कर गायब किया सामान: पुलिस ने बताया कि राम नरेश ने जिस कार में लिफ्ट ली उन लोगों ने अम्बाह जाने की बात कहते हुए उन्हें अपने साथ कार में बैठाया था. कुछ देर बाद उन्होंने पीड़ित राम नरेश से कार का दरवाजा ढीला होने की बात कहकर दरवाजा पकड़ के रखने की बात कही. पीड़ित कार का दरवाजा अपने दोनो हाथों से थाम कर बैठ गया, कुछ देर बाद उन्होंने दरवाजा काराब हो जाने की बात कहते हुए उसे तुरंत सुधरवाने भिंड लेजाने की कहते हुए लावन गांव के पास उतरने की बात कही. जैसे ही पीड़ित रामनरेश उतरा वाहन में सवार आरोपी संजीव और उसके दो साथी कार तेजी से निकल गए. जब उसने अपना सामान चेक किया तो जेब में रखा पैसा, पर्स, एटीएम गायब था. जिसके बाद पीड़ित बरोही थाने पहुंचा और मामले में एफआईआर दर्ज कराई.
दूसरे के नाम पर थी खरीदी गाड़ी: पुलिस ने यह भी बताया कि, इस एफआईआर के बाद विवेचना में पुलिस को कार के बारे में जानकारी मिली जब उस कार के रजिस्ट्रेशन नम्बर की जानकारी निकली गई तो वह उत्तरप्रदेश के मैनपुरी रहने वाले रिंकु राजावत के नाम पर थी. पुलिस ने जब उससे बात की तो पता चला की वह बेहद गरीब है. उसके पहचान के संजीव गिरार नाम के शख्स ने वह गाड़ी उसके नाम से उठाई थी. उसे कहा गया था कि, कार खुद के नाम से फाइनेंस नही हो रही है इस लिए रिंकु के नाम से ली थी. पड़ताल में पता चला कि लूट में शामिल कार का उपयोग संजीव उसका दोस्त मो. साजिद और जीजा किशन द्वारा लूट की वारदात की जाती थी.
कई राज्यों में दर्ज है प्रकरण: इस घटना के अलावा जिले के देहात, गोहद चौराहा, ग्वालियर, महाराजपुरा, मुरैना और राजस्थान के धौलपुर में भी वारदातों को अंजाम दिया है. गिरफ्तार आरोपियों पर उत्तर प्रदेश से कन्नोज, आगरा, मैनपुरी, फरुखाबाद में लूट डकैती हत्या का प्रयास, जहर खुरानी और आम्र्स एक्ट के 25 से अधिक मामले दर्ज है. इसके अलावा आरोपियों द्वारा दिल्ली एनसीआर क्षेत्र से अब तक 400 से अधिक मोबाइल फोन चोरी करना बताया है. जिन्हें तीन से पांच हजार रूपय में बेच देते थे. पुलिस और भी खुलासों की आशंका के तहत आरोपियों से पूछताछ कर रही है. (bhind crime news) (Bhind robbery accused arrested)(Interstate thief gang busted)