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अशोकनगर जिला अस्पताल में कोरोना के अलावा भी है संक्रमण का बड़ा खतरा

अशोकनगर जिला अस्पताल में सफाई को लेकर बड़ी लापरवाही का मामला सामने आया है. अस्पताल में मरीजों के बेड की चादरों को शहर के गंदे सरोवर में धोया जा रहा है. मामला उजागर होने पर अब सिविल सर्जन ने कार्रवाई की बात कही है.

washing sheet in dirty water
गंदे सरोवर में चादरें धोते लोग
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Published : Apr 28, 2020, 1:31 PM IST

अशोकनगर। जिला अस्पताल में मरीजों के पलंग पर बिछाए जाने वाले चादर तुलसी सरोवर तालाब के गंदे पानी में धुले जा रहे हैं, जो बेहद खतरनाक साबित हो सकता है. हालांकि मामला सामने आने के बाद सिविल सर्जन हिमांशु शर्मा ने ठेकेदार को नोटिस देकर कार्रवाई की बात कही है.

जिला अस्पताल में संक्रमण

जिला अस्पताल में लगभग 200 से अधिक बेड हैं. चादरों की धुलाई का ठेका बल्ला रजक नाम के युवक को दिया गया है. यह ठेकेदार इन चादरों को शहर के तुलसी सरोवर तालाब में धुलाई करवाता है. जिसमें शहर भर के तीन गंदे नाले मिलते हैं. वाहनों की धुलाई सहित पशुओं को भी तालाब में नहलाया जाता है. जिससे यह पानी संक्रमित हो रहा है. ठेकेदार ने बताया कि, वह लगभग 14 सालों से जिला अस्पताल की चादर इसी तालाब में धो रहा है. ठेकेदार ने भी अपनी गलती मानी है,कि इससे मरीजों को संक्रमण का खतरा हो सकता है.

जिला अस्पताल के सिविल सर्जन हिमांशु शर्मा ने पूरे मामले से पल्ला झाड़ते हुए कहा कि, 'जब मैंने जिला अस्पताल का चार्ज संभाला था, उसके पहले ही यह ठेका जारी किया जा चुका था.' उन्होंने ठेकेदार को नोटिस जारी कर सही निर्देश देने की बात कही, साथ ही कहा कि, यदि इसमें लापरवाही की गई तो ठेका निरस्त करने की ठोस कार्रवाई भी की जाएगी.

अशोकनगर। जिला अस्पताल में मरीजों के पलंग पर बिछाए जाने वाले चादर तुलसी सरोवर तालाब के गंदे पानी में धुले जा रहे हैं, जो बेहद खतरनाक साबित हो सकता है. हालांकि मामला सामने आने के बाद सिविल सर्जन हिमांशु शर्मा ने ठेकेदार को नोटिस देकर कार्रवाई की बात कही है.

जिला अस्पताल में संक्रमण

जिला अस्पताल में लगभग 200 से अधिक बेड हैं. चादरों की धुलाई का ठेका बल्ला रजक नाम के युवक को दिया गया है. यह ठेकेदार इन चादरों को शहर के तुलसी सरोवर तालाब में धुलाई करवाता है. जिसमें शहर भर के तीन गंदे नाले मिलते हैं. वाहनों की धुलाई सहित पशुओं को भी तालाब में नहलाया जाता है. जिससे यह पानी संक्रमित हो रहा है. ठेकेदार ने बताया कि, वह लगभग 14 सालों से जिला अस्पताल की चादर इसी तालाब में धो रहा है. ठेकेदार ने भी अपनी गलती मानी है,कि इससे मरीजों को संक्रमण का खतरा हो सकता है.

जिला अस्पताल के सिविल सर्जन हिमांशु शर्मा ने पूरे मामले से पल्ला झाड़ते हुए कहा कि, 'जब मैंने जिला अस्पताल का चार्ज संभाला था, उसके पहले ही यह ठेका जारी किया जा चुका था.' उन्होंने ठेकेदार को नोटिस जारी कर सही निर्देश देने की बात कही, साथ ही कहा कि, यदि इसमें लापरवाही की गई तो ठेका निरस्त करने की ठोस कार्रवाई भी की जाएगी.

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