आगर मालवा। कलेक्टर अवधेश शर्मा की अध्यक्षता में 6 अगस्त यानी गुरुवार को कलेक्ट्रेट भवन के सभाकक्ष में किसान उत्पादक संगठनों का गठन और संवर्धन योजना के तहत बैठक का आयोजन किया गया. इस दौरान कलेक्टर ने निर्देश दिए कि, जिले भर में नाबार्ड की गतिविधियों को बढ़ावा दिया जाए. कृषक उत्पादक संगठनों को तैयार किया जाए. साथ ही कृषि विभाग से जुड़े संबंधित विभाग उन संगठनों को पर्याप्त सुविधा मुहैया करवाना सुनिश्चित करें.
कलेक्टर ने कहा कि, कृषि और पशु आधारित उद्योगों की अपार संभावना है, जिसके तहत किसान संगठन बनाकर छोटी-छोटी इकाइयां स्थापित कर लोगों की आय में वृद्धि के प्रयास करें. जिले भर में संतरे का बड़े पैमाने पर उत्पादन होता है. इसी को ध्यान में रखते हुए संतरा उत्पादक किसानों का संगठन बनाते हुए इकाइयां स्थापित की जाए.
कलेक्टर ने यह भी कहा कि, जिले के चारों विकासखण्ड में कम से कम एक किसान उत्पादक संगठन बनाया जाए. कृषि विभाग से जुड़े पशुपालन, उद्यानिकी, सहकारिता, मत्स्य विभाग को मिलकर कृषक संगठनों को तैयार किया जाए. उन्हें समुचित व्यवस्थाएं उपलब्ध कराई जाए, ताकि किसान संगठन आर्थिक रूप से मजबूत हो सके.
नाबार्ड के हेमंत लाम्भे ने बैठक में किसान उत्पादक संगठनों के गठन और संवर्धन योजना के तहत पॉवर पॉइंट प्रेजेंटेशन दिया, जिसमें अनेक जानकारियां दी गईं. इस दौरान बताया गया कि, योजना के अन्तर्गत वित्तीय सहायता अधिकतम 18 लाख रुपए प्रति किसान उत्पादक संगठन को होगी, जो प्रत्येक संगठन के निर्माण से 3 वर्ष की अवधि के लिए रहेगी. नए कृषक उत्पादक संगठनों को बनने की तिथि से 5 वर्ष तक हैंडहोल्डिंग सपोर्ट प्रदान किया जाएगा. नए संगठन को अधिनियम-9 ए और राज्य सहकारी समिति अधिनियम के तहत पंजीकृत किया जाएगा. संगठन में कम से 300 सदस्यों के साथ किसान उत्पादक संगठन बनाया जाएगा. संगठन को आर्थिक स्थिरता और लाभ के लिए योग्य बनाने का प्रयास किया जाएगा.
बैठक में एलडीएम ऋषि शुक्ला, उप संचालक कृषि आरपी कनेरिया, कृषि वैज्ञानिक शक्तावत, प्रोजेक्ट मैनेजर महमूद खान, समर्थ्य कंपनी के राम सिंह ठाकूर सहित सभी संबंधित अधिकारी मौजूद रहे.