सागर। डॉ. हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह में स्थानीय सांसद राज बहादुर सिंह को आमंत्रण नहीं मिला. इसकी वजह से सांसद इतने नाराज हो गए हैं कि वह संगठन, केंद्र और राज्य सरकार स्तर पर इसकी शिकायत कर रहे हैं. इतना ही नहीं उनका कहना है कि इस मामले में वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी शिकायत करेंगे. वहीं, दूसरी तरफ विश्वविद्यालय प्रशासन का कहना है कि विश्वविद्यालय प्रशासन ने उनसे संपर्क किया था, लेकिन उन्होंने ही समय नहीं दिया. कुल मिलाकर अपनी उपेक्षा से भाजपा सांसद राज बहादुर सिंह जमकर नाराज हैं और हर मोर्चे पर विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ शिकायत दर्ज कराते हैं.
उपेक्षा की शिकायत प्रधानमंत्री मोदी से करेंगे: भाजपा सांसद राज बहादुर सिंह का कहना है कि- " दीक्षांत समारोह में व्यक्तिगत रूप से मेरी भी इच्छा थी कि मैं भी जाऊं. लेकिन, अपने प्रोटोकॉल का पालन करना हम लोगों की भी जिम्मेदारी होती है. सागर विश्वविद्यालय की तरफ से मेरे लिए कोई सूचना नहीं थी. इसलिए मुझे जाने में हिचक हो रही थी कि कोई संस्था जब बुला नहीं रही है, तो कैसे जाना होगा. जबकि विश्वविद्यालय के कुलपति द्वारा कहा गया है कि मेरे द्वारा समय नहीं दिया गया. यह संस्था पूरी तरह से झूठ बोल रही है. इसकी शिकायत मैंने दिल्ली में भी की है और मुझे अभी समय नहीं मिला है, मैं इस मामले में एचआरडी मंत्री से भी बात करूंगा. इस प्रकार से जनप्रतिनिधियों की उपेक्षा कोई भी संस्था करेगी, तो काम करना बड़ा मुश्किल होगा. इस बात को हम प्रधानमंत्री तक भी ले जाएंगे. यदि अन्य संस्थाओं में ऐसी स्थिति बनती है, तो प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह चौहान तक जरूर ले जाएंगे".
सांसद राज बहादुर सिंह की बॉलिंग पर बल्लेबाजी करते दिखे वीडी शर्मा
इसके पहले भी की गई उपेक्षा: सांसद राज बहादुर सिंह का कहना है कि - "इसके पहले केंद्रीय मंत्री वीरेंद्र खटीक एक कार्यक्रम में विश्वविद्यालय में आए थे. उस कार्यक्रम में भी मुझे आमंत्रण नहीं मिला था. मैंने सोचा हर कार्यक्रम में हर व्यक्ति को नहीं बुलाया जा सकता. लेकिन यह दीक्षांत समारोह था, मैं भी विश्वविद्यालय का पढ़ा लिखा व्यक्ति हूं. मैं लगातार चाहता हूं कि डॉ. गौर को भारत रत्न मिले, इसके लिए प्रयास कर रहा हूं. यदि इस प्रकार से जनप्रतिनिधि की उपेक्षा होगी, तो ठीक विषय नहीं है. गंभीरता से इस बात को भाजपा संगठन ने लिया है". (raj bahadur singh angry for not inviting in central university convocation)