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JU में CCTV की निगरानी में चल रही नर्सिंग की परीक्षा, कॉलेज संचालक परेशान

जीवाजी विश्वविद्यालय में जीएनएम और एएनएम नर्सिंग कोर्स की वार्षिक परीक्षाएं आयोजित करवाई जा रही हैं. पूर्व में आयोजित इन परीक्षाओं में लगातार नकल के मामले सामने आ रहे थे. जिसके चलते इन परीक्षाओं की जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी गई है.

जीवाजी विश्वविद्यालय में शुरु हुई नर्सिंग परीक्षाएं
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Published : Aug 19, 2019, 9:04 PM IST

ग्वालियर। जीएनएम और एएनएम नर्सिंग कोर्स की वार्षिक परीक्षाएं इस बार जीवाजी विश्वविद्यालय में करवाई जा रही है. जिसके लिए विश्वविद्यालय कैंपस में चार सेंटर बनाए गए हैं, जिनमें लगभग पचास हजार परीक्षार्थी परीक्षा दे रहे हैं. जीवाजी विश्वविद्यालय में इन परीक्षाओं को आयोजित करवाए जाने की सबसे बड़ी वजह नकल प्रकरण बताया जा रहा है क्योंकि नर्सिंग कोर्स की ये परीक्षाएं नकल प्रकरणों के लिए बदनाम रही हैं.

जीवाजी विश्वविद्यालय में शुरु हुई नर्सिंग परीक्षाएं

ग्वालियर-चंबल संभाग में 100 से अधिक प्राइवेट नर्सिंग कॉलेज हैं. परीक्षा में नकल रोकने के लिए इंडियन नर्सिंग काउंसलिंग ने परीक्षा कराने की जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी है. जिसके लिए जीवाजी विश्वविद्यालय में सुरक्षा के तमाम इंतजाम किए गए हैं. तीसरी आंख की जद में परीक्षा कराई जा रही है.

जीएनएम और एएनएम नर्सिंग कोर्स की परीक्षाओं में किस हद तक गड़बड़ी होती है. इसका एक उदाहरण तब देखने को मिला, जब परीक्षा में बैठने वाले एक छात्र को अपने विषय से संबंधित जानकारी तक नहीं थी. नर्सिंग परीक्षा के प्रभारी डॉक्टर शांतिदेव सिसोदिया का कहना है कि ये बात सही है कि परीक्षाओं में बड़े स्तर पर नकल होती थी और तमाम तरह की अनियमितताएं की जाती थी. इसी के चलते ये जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी गई है.

ग्वालियर-चंबल संभाग में 100 से अधिक नर्सिंग कॉलेज हैं. जिनमें बड़ी संख्या में उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा, दिल्ली के छात्र दलालों के माध्यम से दाखिला लेते हैं और क्लास अटेंड नहीं करते, बल्कि सीधे परीक्षा देने ही पहुंचते हैं. इतना ही नहीं पहले ये कॉलेज संचालक अपने ही कॉलेज में परीक्षा आयोजित कराते थे. इन्हीं सब मामलों के बाद अब इन परीक्षाओं की जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी गई है.

ग्वालियर। जीएनएम और एएनएम नर्सिंग कोर्स की वार्षिक परीक्षाएं इस बार जीवाजी विश्वविद्यालय में करवाई जा रही है. जिसके लिए विश्वविद्यालय कैंपस में चार सेंटर बनाए गए हैं, जिनमें लगभग पचास हजार परीक्षार्थी परीक्षा दे रहे हैं. जीवाजी विश्वविद्यालय में इन परीक्षाओं को आयोजित करवाए जाने की सबसे बड़ी वजह नकल प्रकरण बताया जा रहा है क्योंकि नर्सिंग कोर्स की ये परीक्षाएं नकल प्रकरणों के लिए बदनाम रही हैं.

जीवाजी विश्वविद्यालय में शुरु हुई नर्सिंग परीक्षाएं

ग्वालियर-चंबल संभाग में 100 से अधिक प्राइवेट नर्सिंग कॉलेज हैं. परीक्षा में नकल रोकने के लिए इंडियन नर्सिंग काउंसलिंग ने परीक्षा कराने की जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी है. जिसके लिए जीवाजी विश्वविद्यालय में सुरक्षा के तमाम इंतजाम किए गए हैं. तीसरी आंख की जद में परीक्षा कराई जा रही है.

जीएनएम और एएनएम नर्सिंग कोर्स की परीक्षाओं में किस हद तक गड़बड़ी होती है. इसका एक उदाहरण तब देखने को मिला, जब परीक्षा में बैठने वाले एक छात्र को अपने विषय से संबंधित जानकारी तक नहीं थी. नर्सिंग परीक्षा के प्रभारी डॉक्टर शांतिदेव सिसोदिया का कहना है कि ये बात सही है कि परीक्षाओं में बड़े स्तर पर नकल होती थी और तमाम तरह की अनियमितताएं की जाती थी. इसी के चलते ये जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी गई है.

ग्वालियर-चंबल संभाग में 100 से अधिक नर्सिंग कॉलेज हैं. जिनमें बड़ी संख्या में उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा, दिल्ली के छात्र दलालों के माध्यम से दाखिला लेते हैं और क्लास अटेंड नहीं करते, बल्कि सीधे परीक्षा देने ही पहुंचते हैं. इतना ही नहीं पहले ये कॉलेज संचालक अपने ही कॉलेज में परीक्षा आयोजित कराते थे. इन्हीं सब मामलों के बाद अब इन परीक्षाओं की जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी गई है.

Intro:ग्वालियर- आज से नर्सिंग की परीक्षाएं शुरू हो गई है ग्वालियर में नर्सिंग परीक्षाओं की जीवाजी विश्वविद्यालय के कैंपस में चार सेंटर बनाए गए हैं जिनमें लगभग 5000 परीक्षार्थी शामिल होंगे। सुबह की शिफ्ट में आयोजित परीक्षा में लगभग 2800 परीक्षार्थी शामिल हुए। एक समय नर्सिंग परीक्षा में होने वाली नकल के लिए बदनाम ग्वालियर चंबल संभाग में 1 सैकड़ा से अधिक नर्सिंग कॉलेज है इन कॉलेजों में नकल रोकने के लिए इंडियन नर्सिंग काउंसलिंग परीक्षा को आयोजित करने की जिम्मेदारी जीवाजी विश्वविद्यालय को सौंपी है। यही कारण है कि पिछले 2 सालों से जीवाजी विश्वविद्यालय परिसर में कैमरा की निगरानी में आयोजित की जा रही हैं


Body:नर्सिंग परीक्षा में नकल ना चलने से परीक्षाएं परीक्षार्थी हतास नजर आ रहे हैं परीक्षा देने आए एक छात्र से जब हमने उसके कॉलेज का नाम पूछा तो नाम नही बता पाया लेकिन वह कहां स्थित है जीएनएम में उसने क्या क्या सब्जेक्ट पढ़े जो उसको खुद ही नहीं पता ।इसको लेकर नर्सिंग परीक्षा की प्रभारी डॉ सांतिदेव सिसोदिया का कहना है कि यह बात सही है कि परीक्षाओं में बड़े स्तर पर नकल होती थी और तमाम तरह की अनियमितताएं थी इसी के चलते उन्हें परीक्षा की जिम्मेदारी सौंपी गई है। वर्तमान में जो परीक्षा आयोजित की जा रही है तब नर्सिंग काउंसिल काउंसलिंग की ओर से आब्जर्वर भी यहां तैनात किए गए हैं इस तरह की गड़बड़ियों को देख रहे हैं। वह निश्चित तौर पर अपनी मां को इस बारे में अवगत कराएंगे ताकि ऐसी कॉलेजों पर कार्रवाई हो सके।


Conclusion:गौरतलब है कि ग्वालियर चंबल संभाग की एक सैकड़ा अघिक नर्सिंग कॉलेज है जिनमें बड़ी संख्या में उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा ,दिल्ली आदि के छात्र दलालों के माध्यम से एडमिशन लेते हैं और क्लास अटेंड नहीं करने आते। बल्कि सीधा परीक्षा देनी पहुंचते हैं इतना ही नहीं पहले यह कॉलेज संचालक अपने ही कॉलेज में परीक्षा आयोजित कराते थे जिससे इन छात्रों को खुलेआम नकल कराते थे। इस तरह की शिकायतें जब बड़े स्तर पर नर्सिंग काउंसलिंग को मिली तो उसने इन परीक्षाओं में नकल रोकने के लिए यह कदम उठाया।

बाईट- मनोज कुमार सिंह, नर्सिंग छात्र

बाइट - सांतिदेव सिसोदिया, पीआरओ जीवाजी
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