भोपाल। जनजाति गौरव दिवस पर राजधानी भोपाल में होने वाले कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शामिल होंगे. 15 नवंबर को होने वाले इस कार्यक्रम में प्रदेश भर से तकरीबन 2 लाख आदिवासियों को बुलाया जा रहा है. कार्यक्रम के लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गईं हैं. फाइनल प्रोग्राम से पहले खुद सीएम ने कार्यक्रम स्थल का दौरा किया और अधिकारियों को जरूरी निर्देश भी दिए. भारी सुरक्षा इंतजाम के बीच होने जा रहे पीएम के इस दौरे के लिए 5 हजार से ज्यादा पुलिस जवानों को तैनात किया गया है. एसपीजी की टीम भी भोपाल पहुंच चुकी है.
पीले चावल देकर दिया सम्मेलन में आने का न्यौता
शुक्रवार को बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने भोपाल के जनजाति संग्रहालय में आदिवासी समाज के प्रबुद्ध लोगों और नेताओं को बुलाकर सभा की. सभा के दौरान प्रदेश अध्यक्ष ने आदिवासी नेताओं को सम्मेलन में शामिल होने के लिए पीले चावल देकर न्योता दिया. इनमें जनजातीय कलाकारों और कारीगरों के अलावा समाज से जुड़े शिक्षाविद और पद्मश्री से सम्मानित खिलाड़ी भी शामिल हैं जिन्हें विशेष तौर पर आमंत्रित किया गया है. इस मौके पर खाद्य मंत्री जो कि आदिवासी हैं उन्होंने आदिवासियों के मन में उठ रहे सवालों के जवाब भी दिए उन्होंने बताया कि सम्मेलन में 2 लाख से ज्यादा आदिवासी समाज के लोग शामिल होंगे. कार्यक्रम का आयोजन 15 नवंबर सोमवार को राजधानी भोपाल के जम्बूरी मैदान में होना है.
आदिवासी संस्कृति के रंग में रंग रहा है भोपाल
पीएम के दौरे के लिए शहर को भी सजाया संवारा जा रहा है.दीवारों पर जहां आदिवासी संस्कृति से जुड़ी कलाकृतियों को उकेरा जा रहा है वहीं जगह जगह आदिवासी नायकों के बड़े बड़े कटआउट और पोस्टर लगाए गए हैं. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने जनजाती संग्रहालय में अधिकारियों से मीटिंग भी की है. उन्होंने बताया कि कार्यक्रम में लगभग 2 लाख आदिवासी शामिल होंगे. शर्मा ने बताया कि आदिवासी समाज के लोगों को पीले चावल भेज कर कार्यक्रम में शामिल होने का बुलावा भेजा जा रहा है. इसके अलावा कार्यक्रम स्थल के साथ ही पीएम जिस रास्ते से गुजरेंगे वहां आदिवासी समाज की संस्कृति को पेंटिंग्स के जरिए दीवारों पर उतारा जा रहा है. इसके लिए नगर निगम ने करीब डेढ़ सौ कलाकारों को काम सौंपा है. पीएम मोदी की मौजूदगी वाले आदिवासी सम्मेलन को मेगा शो बनाने के लिए कार्यक्रम स्थल पर आदिवासी नायकों के अलावा स्वतंत्रता संग्राम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले आदिवासी नायक टंट्या भील, मंशु ओझा, रानी दुर्गावती राजा शंकर शाह रघुनाथ शंकर शाह जैसे आदिवासी नायकों के पोस्टर उनके इतिहास को प्रदर्शित किया जा रहा है।
वनवासी रामायण का होगा मंचन
कार्यक्रम के दौरान आदिवासी समाज और हिंदू धर्म के बीच के रिश्तों को जोड़ती हुई वनवासी रामायण का भी मंचन किया जाएगा. कार्यक्रम के दौरान 400 जनजाति कलाकार एक साथ वनवासी रामायण का मंचन करेंगे. जिसमें भगवान राम के वनवासी जीवन और वनवासी समाज से उनके लगाव को प्रदर्शित किया जाएगा. दरअसल रामायण का एक बहुत बड़ा हिस्सा वन क्षेत्र से जुड़ा है, इसलिए इस प्रस्तुति को मेगा शो के रूप में पेश किया जाएगा इसके लिए कार्यक्रम स्थल पर सात स्टेज तैयार किए जा रहे हैं. पूरा कार्यक्रम आदिवासी थीम पर तैयार किया जा रहा है. कार्यक्रम स्थल के डोम, द्वार और मंच की डिजाइन भी आदिवासी संस्कृति पर ही आधारित है.
आदिवासी महिलाओं के बनाए उत्पादों के लगेगी प्रदर्शनी
सम्मेलन में आदिवासी महिलाओं के साथ आदिवासी सहायता समूह द्वारा तैयार किए गए उत्पादों को भी पेश किया जाएगा. इसमें कोदो (विशेष प्रकार के चावल) के बिस्किट, मक्का का आटा, जामुन का सिरका ,त्रिफला आंवला पाउडर ,महुआ कुकीज, मल्टीग्रेन आटा मक्का के टोस्ट जैसे तमाम प्रोडक्ट उपलब्ध कराए जाएंगे जो आदिवासी इलाकों की पहचान है. इनकी बिक्री के लिए प्रदर्शनी भी लगाई जाएगी.
सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम
पीएम के दौरे को देखते हुए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. मध्यप्रदेश पुलिस के 5 हजार जवानों को पीएम के रूट पर और कार्यक्रम स्थल पर तैनाज किया जाएगा. शनिवार सुबह से सुरक्षाबलों की तैनाती शुरू हो जाएगी. इसके अलावा 1500 जवानों को रिजर्व में रखा गया है. पीएम की सुरक्षा में लगे कुछ जवान सिविल ड्रेस में अलग-अलग जगहों एयरपोर्ट, जम्बूरी मैदान, बरकतउल्ला विश्वविद्यालय, हबीबगंज रेलवे स्टेशन जैसी जगहों पर तैनात रहेंगे. इसके साथ ही पीएम की सुरक्षा में लगी एसपीजी टीम के 40 जवान और कमांडोज भोपाल पहुंच चुके हैं. उन्होंने कार्यक्रम स्थल का जायजा लिया और जरूरी सुरक्षा इंतजामों की समीक्षा की. शुक्रवार को सीएम शिवराज सिंह चौहान भी कार्यक्रम स्थल पर पहुंचे और इंतजामों की समीक्षा की.
5 किलोमीटर रोड से सफर करेंगे पीएम
भोपाल में प्रधानमंत्री लगभग 5 किलोमीटर ही रोड से सफर किया करेंगे. बाकी पूरे समय पर प्रधानमंत्री शहर में हेलिकॉप्टर से ही उड़ान भरेंगे. जम्बूरी मैदान से जनजाति गौरव दिवस (Tribal Pride Day) के कार्यक्रम के बाद पीएम हेलिकॉप्टर से बरकतउल्ला विश्वविद्यालय पहुंचेंगे. वहां से लगभग 5 किलोमीटर आना जाना सड़क मार्ग से करेंगे. जिस रास्ते से पीएम का काफिला गुजरना है, वहां डामरीकरण से लेकर सायकल ट्रैक की रिपेयरिंग व सफाई, पुताई का काम तेजी से किया जा रहा है.