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संपत्ति कर जमा करने के बावजूद सुरेंद्र कसेरा के घर वसूली के लिए पहुंचा नगर पालिका का अमला

आगर मालवा। शहर के सुरेंद्र कसेरा पिछले 18 सालों से नियमित नगर पालिका में  संपत्ति कर जमा कर रहे हैं, लेकिन जब निगम का अमला संपत्ति कर वसूलने उनके घर पहुंचा, तो वे भौचक रह गए. निगम ने उन्हें 1997 से आज तक का संपत्ति कर भरने का नोटिस थमा दिया.

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Published : Mar 29, 2019, 7:58 PM IST

आगर


आगर मालवा। शहर के सुरेंद्र कसेरा पिछले 18 सालों से नियमित नगर पालिका में संपत्ति कर जमा कर रहे हैं, लेकिन जब निगम का अमला संपत्ति कर वसूलने उनके घर पहुंचा, तो वे भौचक रह गए. निगम ने उन्हें 1997 से आज तक का संपत्ति कर भरने का नोटिस थमा दिया.

संपत्ति कर जमा करने के बाद भी निगम अमला लगा रहा हैा घरों मेें चक्कर

मामले में सुरेंद्र कसेरा का कहना है कि मैं 1997 से लेकर वर्तमान तक का संपत्ति कर जमा कर चुका हूं. लेकिन नपा कर्मचारियों ने उनकी बात का यकीन नहीं किया तो उन्होंने संपत्ति कर की जमा रसीदे दिखाई तो अमला उल्टे पांव वापस लौट गया. इस उन्होंने सूचना के अधिकार के तहत 18 वर्षो के अपने जमा किये गए कर की रसीदों की प्रमाणित प्रतिलिपि मांगी तो नगर पालिका यह जानकारी नहीं दे पाई. जब उन्हें नगर पालिका से कोई संतुष्ट जवाब नहीं मिला तो उन्होंने अपील करते हुए संभागीय स्तर पर जानकारी मांगी लेकिन उन्हें वहां से भी जब कोई जवाब नही मिला.

सुरेंद्र कसेरा ने राज्य सूचना आयोग भोपाल को भी अपील करते हुए मामले की जानकारी मांगी गई है. आयोग ने आगर नगर पालिका को पत्र लिखकर फरियादी सुरेंद्र कसेरा को तत्काल जवाब देने के लिए कहा है.


आगर मालवा। शहर के सुरेंद्र कसेरा पिछले 18 सालों से नियमित नगर पालिका में संपत्ति कर जमा कर रहे हैं, लेकिन जब निगम का अमला संपत्ति कर वसूलने उनके घर पहुंचा, तो वे भौचक रह गए. निगम ने उन्हें 1997 से आज तक का संपत्ति कर भरने का नोटिस थमा दिया.

संपत्ति कर जमा करने के बाद भी निगम अमला लगा रहा हैा घरों मेें चक्कर

मामले में सुरेंद्र कसेरा का कहना है कि मैं 1997 से लेकर वर्तमान तक का संपत्ति कर जमा कर चुका हूं. लेकिन नपा कर्मचारियों ने उनकी बात का यकीन नहीं किया तो उन्होंने संपत्ति कर की जमा रसीदे दिखाई तो अमला उल्टे पांव वापस लौट गया. इस उन्होंने सूचना के अधिकार के तहत 18 वर्षो के अपने जमा किये गए कर की रसीदों की प्रमाणित प्रतिलिपि मांगी तो नगर पालिका यह जानकारी नहीं दे पाई. जब उन्हें नगर पालिका से कोई संतुष्ट जवाब नहीं मिला तो उन्होंने अपील करते हुए संभागीय स्तर पर जानकारी मांगी लेकिन उन्हें वहां से भी जब कोई जवाब नही मिला.

सुरेंद्र कसेरा ने राज्य सूचना आयोग भोपाल को भी अपील करते हुए मामले की जानकारी मांगी गई है. आयोग ने आगर नगर पालिका को पत्र लिखकर फरियादी सुरेंद्र कसेरा को तत्काल जवाब देने के लिए कहा है.

Intro:पिछले कुछ माह से नगर पालिका द्वारा संपत्ति कर वसूलने के लिए शहर में घर-घर जाकर लोगो से कर वसूला जा रहा है लेकिन इन सबके बीच कई जगह अलग प्रकार की स्थिति निर्मित हो रही है। जिन लोगों ने नियमित रूप से प्रतिवर्ष कर जमा किया है उनके घर पर भी नगर पालिका अमल कर वसूलने पहुच रहा है। इस दौरान नपा अमला शहर निवासी सुरेंद्र कसेरा के घर भी पहुंचे जिसने वर्ष 1997 से लेकर वर्तमान तक का अपना संपत्ति के साथ ही अन्य कर जमा कर दिया है। जब नपा इस व्यक्ति के यहाँ पहुंचे और 21 वर्षो का कर जमा करने की बात कही तो सुरेंद्र कसेरा अचंभित हो गए उन्होंने नपा अमले से कहा कि वे तो पहले ही सारा कर जमा कर चुके है लेकिन नपा कर्मचारियों ने उनकी बात का यकीन नही किया जैसे ही सुरेंद्र कसेरा ने इतने सालों के कर की जमा रसीदे बताई तो नपा अमला उल्टे पांव वापस लौट गया। इस बात से खफा हुवे इस व्यक्ति ने सूचना के अधिकार के तहत आवेदन कर करीब 21 वर्षो तक के अपने जमा किये गए कर की रसीदों की प्रमाणित प्रतिलिपि माँगी तो नपा उसे जानकारी तक नही दे पाई। सुरेंद्र कुमार को आशंका हुई कि नपा के पास पुराना कोई रिकॉर्ड नही है। उसने अपील करते हुवे संभागीय स्तर पर जानकारी मांगी वहां से भी जब कोई जवाब नही आया तो सुरेन्द कसेरा ने राज्य सूचना आयोग को भी अपील करते हुवे जानकारी मांगी गई। आयोग द्वारा आगर नगर पालिका को पत्र जारी कर सुरेन्द कसेरा को तत्काल जवाब देने के लिए कहा गया उसके बावजूद भी सुरेंद्र कसेरा अभी तक जमा किये गए कर की जानकारी नही दी गई।


Body:इसी प्रकार विवेकानंद नगर निवासी दुर्गाशंकर पाठक के साथ भी कुछ इसी प्रकार की स्थिति निर्मित हुई दुर्गाशंकर ने वर्ष 2018-19 का अपना संपत्ति तथा अन्य कर 12 दिसंबर 2018 को जमा कर दिया था लेकिन नपा अमला दौबारा उनके घर पहुंच गया और उनके पुत्र से कर की राशि वसूल करके आ गए। जब दुर्गाशंकर को यह बात पता चली तो वे सीधे नगर पालिका पहुंच गए और नपा अधिकारियों को एक वर्ष का दो-दो बार कर वसूलने की रसीद बताई तो अधिकारी भी बगले झांकने लगे कोई भी उन्हें संतोषजनक जवाब नही दे पाया। उन्होंने जब वरिष्ठ अधिकारियों से शिकायत किये जाने की बात कही तो नपा अधिकारियों ने उन्हें राशि वापस लौटाने की बात कह डाली।


Conclusion:जब इस संबंध में नगर पालिका सीएमओ सीएस जाट से बात की गई तो उन्होंने बताया कि राज्य सूचना आयोग से सुरेन्द्र कसेरा को जानकारी देने के लिए पत्र आया है। जानकारी बनाकर उन्हें दे दी जाएगी। वही जिनसे एक वर्ष की दो बार कर की राशि वसूली गई है उनकी राशि वापस कर दी जाएगी।

बाइट- सीएस जाट, सीएमओ नगर पालिका आगर मालवा
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