भोपाल: पूरा देश हर साल 27 सितंबर को विश्व पर्यटन दिवस (World Tourism Day) मनाता है. ऐसे में पर्यटन के क्षेत्र में मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) को अग्रणी राज्य बनाने के लिए बेहतर प्रयास किए जा रहे हैं. अब मनचलों से निपटने के लिए टूरिज्म विभाग (MP Tourism Department) महिला कर्मचारियों और अधिकारियों को मार्शल आर्ट्स (Marshal Arts) के गुर सिखाएगा. पर्यटन विभाग के पीएस शिव शेखर शुक्ला ने इस संबंध में जानकारी दी है.
शिव शेखर ने बताया कि महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए मध्य प्रदेश टूरिज्म नई पहल करने जा रहा है. जिसके तहत हर टूरिस्ट पॉइंट पर ज्यादा से ज्यादा संख्या में महिला कर्मचारी और अधिकारी तैनात रहेंगी.
महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के प्रयास
मध्य प्रदेश पर्यटन विभाग महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के प्रयास कर रहा है. इसके लिए पर्यटन विभाग ने नई रणनीति बनाई है. पर्यटन विभाग के पीएस शिव शेखर शुक्ला कहते हैं कि आने वाले दिनों में हर पर्यटन स्थल पर अधिक से अधिक संख्या में महिला कर्मचारी-अधिकारियों की नियुक्ति और तैनाती होगी. इसके माध्यम से महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा मिलेगा. वहीं, सुरक्षा को लेकर पर्यटन विभाग के पीएस शिव शेखर शुक्ला का कहना है कि कई बार ऐसी शिकायतें मिलती हैं कि पर्यटक, महिला कर्मचारियों से छेड़छाड़ करते हैं. ऐसे मनचले पर्यटकों से निपटने के लिए मध्यप्रदेश पर्यटन विभाग अपनी सभी महिला कर्मचारी अधिकारियों को मार्शल आर्ट्स की ट्रेनिंग भी देगा.
पर्यटन स्थल को और बेहतर बनाने की कोशिश
दुनियाभर से टूरिस्ट मध्यप्रदेश आते हैं. यहां के पहाड़, जंगल, पानी के साथ ही प्राकृतिक और पौराणिक स्थल काफी मशहूर हैं. जिनको देखना सभी के लिए बेहद सुकून भरा होता है. मध्य प्रदेश टूरिज्म भी जंगलों में कई इवेंट आयोजित कर रहा है. जिसके माध्यम से जंगल के रहन-सहन और लोगों को इसके बारे में जानकारी मिल सकेगी. ऐसा ही प्रयास कान्हा नेशनल पार्क में भी किया गया है. मध्य प्रदेश टूरिज्म के पीएस शिव शेखर शुक्ला बताते हैं कि आने वाले दिनों में इन स्थानों को और बेहतर किया जा रहा है.
हैरिटेज की दृष्टि से भी कार्य जारी
पर्यटन विभाग के पीएस शिव शेखर शुक्ला कहते हैं कि हैरिटेज की दृष्टि से भी मध्य प्रदेश को काफी रिस्पॉन्स मिल रहा है. प्रयास है कि ज्यादा से ज्यादा जगह हैरिटेज में शामिल हो, क्योंकि मध्यप्रदेश में तमाम ऐसे किले और धरोहर हैं, जो इतिहास से जुड़े हुए हैं और हेरिटेज में शामिल हो सकते हैं. इसके लिए भोपाल में ही मोती मस्जिद और नगर निगम के पुराने मुख्यालय सदर मंदिर को भी चिन्हित किया गया है. साथ ही ओरछा, मांडू, जबलपुर के भेड़ाघाट को भी हैरिटेज के हिसाब से पूर्ण रूप से विकसित किया जा रहा है.