साहिबगंज: गंगा को स्वच्छ और निर्मल रखने को लेकर जिला प्रशासन ने एक अहम आदेश देते हुए सभी प्रकार के शवों को गंगा में प्रवाहित करने पर रोक लगा दी है. इसके बाद साहिबगंज नगर परिषद और राजमहल नगर पंचायत के ईओ को जिले के सभी गंगा घाटों निरीक्षण कर रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया गया है.
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राष्ट्रीय गंगा स्वच्छ मिशन का निर्देश
उपायुक्त के मुताबिक राष्ट्रीय गंगा स्वच्छ मिशन ने गंगा नदी में शव को सीधे प्रवाहित करने पर रोक लगाने का निर्देश सभी जिला पदाधिकारी को दिया है, जिसके बाद ये कार्रवाई की जा रही है. अब सभी गंगा घाटों का अधिकारियों द्वारा निरीक्षण किया जाएगा ताकी लोग पूरे या अधजले शव को गंगा में प्रवाहित नहीं कर सकें.
83 किलोमीटर के दायरे में बहती है गंगा
साहिबगंज में 83 किलोमीटर के दायरे में गंगा नदी का प्रवाह होता है. जिसके किनारे पर कई शमशान घाटों पर शवों का अंतिम संस्कार किया जाता है. इस दौरान घाटों पर पहुंचे लोग कई बार तो अधजले और कई बार पूरे शव को गंगा नदी में प्रवाहित कर देते हैं जिससे नदी के प्रदूषित होने का खतरा बना रहता है. कोरोना काल में जिले में अब तक संक्रमण से 40 लोगों की मौत हो चुकी है. जिससे शवों को प्रवाहित करने की घटना में वृद्धि होने का खतरा बना हुआ है. प्रशासन ने शवों को नदी में फेंकने पर रोक लगाते हुए दोषियों पर कार्रवाई करने का आदेश दिया है.
बिहार और यूपी में गंगा नदी में मिले थे शव
इससे पहले बिहार के बक्सर और यूपी के गाजीपुर में गंगा नदी में एक साथ साथ कई शव मिले थे. बक्सर में 48 से ज्यादा शव और गाजीपुर में 100 से ज्यादा शव मिलने के बाद सनसनी फैल गई थी. आशंका है कि जिन लोगों की कौरोना मौत हो रही है उनके शव को सीधे गंगा नदी में फेंक दिया जा रहा है.