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सरयू राय और मंत्री बन्ना गुप्ता का विवाद पहुंचा राजभवन, अश्लील प्रेमालाप के बाद उठा अवैध हथियार का मामला

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Published : May 2, 2023, 6:59 PM IST

सरयू राय और मंत्री बन्ना गुप्ता का विवाद अब राजभवन तक पहुंच गया है. इसमें कथिति तौर पर स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता का एक महिला के साथ अश्लील बातचीत और अवैध हथियार का मामला भी शामिल है.

Jharkhand Governor House
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रांची: निर्दलीय विधायक सरयू राय और स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता के बीच का विवाद राजभवन तक पहुंच चुका है. सरयू राय ने राज्यपाल से मिलकर मंत्री के तथाकथित अश्लील प्रेमालाप वाले वीडियो और अवैध हथियार रखने के मामले से अवगत कराया है. सरयू राय ने आरोप लगाया है कि राजनीतिक दबाव की वजह से सरकार कार्रवाई करने के बजाए मंत्री को संरक्षण दे रही है. उन्होंने दावा किया है कि उनकी बातों को सुनकर राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन अचंभित थे. उन्होंने पूरे मामले में सरकार से रिपोर्ट मांगने की बात कही है.

ये भी पढ़ें: Dhanbad News: सरयू का वार- कांग्रेस के कुछ मंत्री सीएम के नियंत्रण से बाहर, बन्ना का पलटवार- मुझ पर आरोप लगाने वाले विरासत की राजनीति करते हैं

सरयू राय के मुताबिक उन्होंने इस बात की जानकारी 30 अप्रैल को ही राज्य के मुख्य सचिव और डीजीपी को दे दी थी. जमशेदपुर की डीसी और एसपी को जानकारी दी जा चुकी है. सरयू राय का कहना है कि प्रतिबंधित पिस्टल रखने पर कम से कम 7 साल की सजा होती है. लेकिन प्रशासन की तरफ से आर्म्स एक्ट की धारा 25 ए के तहत कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है.

मंत्री बन्ना गुप्ता की पिस्टल क्यों है अवैध: विधायक सरयू राय ने भारत सरकार के गृह मंत्रालय द्वारा कोलकाता पुलिस को जनवरी 2023 को जारी पत्र लिखा था. इस पत्र के जरिए उन्होंने जिक्र किया है कि मेसर्स काउंटर्स मीजर्स टेक्नोलॉजीज प्रा.लि. द्वारा निर्मित और जे.विस्वास एंड कंपनी को वितरण के लिए भेजी गई जी-44 मॉडल पिस्टल निर्माण और वितरण लाइसेंस की शर्तों को आर्म्स एक्ट के अधीन पूरा नहीं करता है. लिहाजा, जिसने भी यह पिस्टल खरीदा है, उसे मालखाना में जमा कराया जाए. सरयू राय का दावा है कि इसी श्रेणी का पिस्टल मंत्री बन्ना गुप्ता के पास है, जिसे वह दिखाते फिरते हैं. उनके मुताबिक मंत्री ने पिस्टल को बाहर से खरीदकर जमशेदपुर लाने की विधि सम्मत प्रक्रिया भी पूरी नहीं की है.

इस मामले में पूर्वी सिंहभूम जिला प्रशासन के स्तर से क्या हुआ है, यह जानने के लिए ईटीवी भारत की टीम ने डीसी विजया जाधव से फोन पर संपर्क करने की कोशिश की. उनसे फोन नंबर 8986606951 पर दोपहर 1 बजे से 1 बजकर 44 मिनट के बीच तीन बार डायल किया गया, लेकिन उनसे बात नहीं हो पाई. वहीं कोल्हान प्रमंडल के आयुक्त मनोज कुमार से इस मसले पर फोन पर पूछा गया तो उन्होंने कहा वह इससे वाकिफ नहीं हैं, साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि इसपर उपायुक्त ही जानकारी दे सकती हैं. सबसे खास बात है कि इस मामले को लेकर स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता का भी पक्ष लेने की कोशिश की गई, लेकिन उनकी तरफ से भी इसको लेकर कुछ नहीं कहा गया. सरयू राय से भी आरोपों का आधार जानने के लिए संपर्क करने की कोशिश की गई लेकिन तब उनका फोन स्वीच ऑफ था.

आपको बता दें कि मंत्री बन्ना गुप्ता से जुड़ा तथाकथित वीडियो जारी होने के बाद सरयू राय उनपर ताबड़तोड़ हमले कर रहे हैं. इस दौरान मंत्री की तरफ से भी पिछले दिनों प्रेस कांफ्रेंस कर सरयू राय के निजी जीवन से जुड़े मामले उठाए गये थे. दरअसल, दोनों नेताओं के बीच का विवाद नया नहीं है. पूर्व में कोविड प्रोत्साहन राशि और ट्रांसफर पोस्टिंग को लेकर भी सरयू राय मंत्री बन्ना गुप्ता पर गंभीर आरोप लगा चुके हैं. कोविड प्रोत्साहन राशि वाले मामले में मंत्री बन्ना गुप्ता एफआईआर करा चुके हैं. तथाकथित अश्लील वीडियो मामले में भी एसएसपी को पत्र देकर जांच और एफआईआर करने को कह चुके हैं.

क्या है जी-44 मॉडल पिस्टल: जी का मतलब है ग्लॉक. इस सीरिज की पिस्टल का निर्माण ऑस्ट्रिया में हुआ है. यह सेमी ऑटोमेटिक पिस्टल है. इसका वजन बहुत कम होता है. इसकी इफेक्टिव फायरिंग रेंज 30 से 35 मीटर तक होती है. इसमें दस राउंड मैगजीन होती है. 1982 में ग्लॉक सीरिज की पिस्टल को आस्ट्रिया की सेना में शामिल किया गया. वर्तमान में 48 देशों के सशस्त्र बलों और पुलिस के लिए इसकी सप्लाई होती है. इसका निर्माण गेस्टल ग्लॉक ने किया था.

सरयू राय और बन्ना गुप्ता हैं एक दूसरे के प्रतिद्वंद्वी: दरअसल, दोनों नेता जमशेदपुर पश्चिम की विधानसभा सीट से चुनाव लड़ते रहे हैं. राज्य बनने के बाद झारखंड में अबतक चार चुनाव हो चुके हैं. 2019 के चुनाव के वक्त सरयू राय ने जमशेदपुर पश्चिम सीट के बजाए जमशेदपुर पूर्वी सीट से चुनाव लड़ा था और तत्कालीन मुख्यमंत्री रघुवर दास को हराकर सबको चौका दिया था. इस चुनाव में कांग्रेस की टिकट पर बन्ना गुप्ता ने भाजपा प्रत्याशी देवेंद्र नाथ सिंह को 22,582 वोट के अंतर से हराया था.

इससे पहले 2014 के चुनाव में भाजपा की टिकट पर सरयू राय ने बन्ना गुप्ता को 10517 वोट के अंतर से हराया था. जबकि 2009 के चुनाव में बन्ना गुप्ता ने भाजपा प्रत्याशी रहे सरयू राय को महज 3,297 वोट के अंतर से मात दी थी. इससे पहले 2005 में राज्य बनने के बाद पहली बार हुए विधानसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर सरयू राय ने सपा प्रत्याशी बनकर उतरे बन्ना गुप्ता को 12,695 वोट से हरा दिया था. खास बात है कि राज्य बनने से पहले एकीकृत बिहार में साल 2000 में हुए विधानसभा चुनाव में जमशेदपुर पश्चिम सीट पर भाजपा के मृगेंद्र प्रताप सिंह की जीत हुई थी. उन्होंने कांग्रेस के शमशुद्दीन खान को बड़े अंतर से हराया था. उस चुनाव में बन्ना गुप्ता सपा की टिकट पर तीसरे स्थान पर रहे थे.

रांची: निर्दलीय विधायक सरयू राय और स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता के बीच का विवाद राजभवन तक पहुंच चुका है. सरयू राय ने राज्यपाल से मिलकर मंत्री के तथाकथित अश्लील प्रेमालाप वाले वीडियो और अवैध हथियार रखने के मामले से अवगत कराया है. सरयू राय ने आरोप लगाया है कि राजनीतिक दबाव की वजह से सरकार कार्रवाई करने के बजाए मंत्री को संरक्षण दे रही है. उन्होंने दावा किया है कि उनकी बातों को सुनकर राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन अचंभित थे. उन्होंने पूरे मामले में सरकार से रिपोर्ट मांगने की बात कही है.

ये भी पढ़ें: Dhanbad News: सरयू का वार- कांग्रेस के कुछ मंत्री सीएम के नियंत्रण से बाहर, बन्ना का पलटवार- मुझ पर आरोप लगाने वाले विरासत की राजनीति करते हैं

सरयू राय के मुताबिक उन्होंने इस बात की जानकारी 30 अप्रैल को ही राज्य के मुख्य सचिव और डीजीपी को दे दी थी. जमशेदपुर की डीसी और एसपी को जानकारी दी जा चुकी है. सरयू राय का कहना है कि प्रतिबंधित पिस्टल रखने पर कम से कम 7 साल की सजा होती है. लेकिन प्रशासन की तरफ से आर्म्स एक्ट की धारा 25 ए के तहत कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है.

मंत्री बन्ना गुप्ता की पिस्टल क्यों है अवैध: विधायक सरयू राय ने भारत सरकार के गृह मंत्रालय द्वारा कोलकाता पुलिस को जनवरी 2023 को जारी पत्र लिखा था. इस पत्र के जरिए उन्होंने जिक्र किया है कि मेसर्स काउंटर्स मीजर्स टेक्नोलॉजीज प्रा.लि. द्वारा निर्मित और जे.विस्वास एंड कंपनी को वितरण के लिए भेजी गई जी-44 मॉडल पिस्टल निर्माण और वितरण लाइसेंस की शर्तों को आर्म्स एक्ट के अधीन पूरा नहीं करता है. लिहाजा, जिसने भी यह पिस्टल खरीदा है, उसे मालखाना में जमा कराया जाए. सरयू राय का दावा है कि इसी श्रेणी का पिस्टल मंत्री बन्ना गुप्ता के पास है, जिसे वह दिखाते फिरते हैं. उनके मुताबिक मंत्री ने पिस्टल को बाहर से खरीदकर जमशेदपुर लाने की विधि सम्मत प्रक्रिया भी पूरी नहीं की है.

इस मामले में पूर्वी सिंहभूम जिला प्रशासन के स्तर से क्या हुआ है, यह जानने के लिए ईटीवी भारत की टीम ने डीसी विजया जाधव से फोन पर संपर्क करने की कोशिश की. उनसे फोन नंबर 8986606951 पर दोपहर 1 बजे से 1 बजकर 44 मिनट के बीच तीन बार डायल किया गया, लेकिन उनसे बात नहीं हो पाई. वहीं कोल्हान प्रमंडल के आयुक्त मनोज कुमार से इस मसले पर फोन पर पूछा गया तो उन्होंने कहा वह इससे वाकिफ नहीं हैं, साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि इसपर उपायुक्त ही जानकारी दे सकती हैं. सबसे खास बात है कि इस मामले को लेकर स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता का भी पक्ष लेने की कोशिश की गई, लेकिन उनकी तरफ से भी इसको लेकर कुछ नहीं कहा गया. सरयू राय से भी आरोपों का आधार जानने के लिए संपर्क करने की कोशिश की गई लेकिन तब उनका फोन स्वीच ऑफ था.

आपको बता दें कि मंत्री बन्ना गुप्ता से जुड़ा तथाकथित वीडियो जारी होने के बाद सरयू राय उनपर ताबड़तोड़ हमले कर रहे हैं. इस दौरान मंत्री की तरफ से भी पिछले दिनों प्रेस कांफ्रेंस कर सरयू राय के निजी जीवन से जुड़े मामले उठाए गये थे. दरअसल, दोनों नेताओं के बीच का विवाद नया नहीं है. पूर्व में कोविड प्रोत्साहन राशि और ट्रांसफर पोस्टिंग को लेकर भी सरयू राय मंत्री बन्ना गुप्ता पर गंभीर आरोप लगा चुके हैं. कोविड प्रोत्साहन राशि वाले मामले में मंत्री बन्ना गुप्ता एफआईआर करा चुके हैं. तथाकथित अश्लील वीडियो मामले में भी एसएसपी को पत्र देकर जांच और एफआईआर करने को कह चुके हैं.

क्या है जी-44 मॉडल पिस्टल: जी का मतलब है ग्लॉक. इस सीरिज की पिस्टल का निर्माण ऑस्ट्रिया में हुआ है. यह सेमी ऑटोमेटिक पिस्टल है. इसका वजन बहुत कम होता है. इसकी इफेक्टिव फायरिंग रेंज 30 से 35 मीटर तक होती है. इसमें दस राउंड मैगजीन होती है. 1982 में ग्लॉक सीरिज की पिस्टल को आस्ट्रिया की सेना में शामिल किया गया. वर्तमान में 48 देशों के सशस्त्र बलों और पुलिस के लिए इसकी सप्लाई होती है. इसका निर्माण गेस्टल ग्लॉक ने किया था.

सरयू राय और बन्ना गुप्ता हैं एक दूसरे के प्रतिद्वंद्वी: दरअसल, दोनों नेता जमशेदपुर पश्चिम की विधानसभा सीट से चुनाव लड़ते रहे हैं. राज्य बनने के बाद झारखंड में अबतक चार चुनाव हो चुके हैं. 2019 के चुनाव के वक्त सरयू राय ने जमशेदपुर पश्चिम सीट के बजाए जमशेदपुर पूर्वी सीट से चुनाव लड़ा था और तत्कालीन मुख्यमंत्री रघुवर दास को हराकर सबको चौका दिया था. इस चुनाव में कांग्रेस की टिकट पर बन्ना गुप्ता ने भाजपा प्रत्याशी देवेंद्र नाथ सिंह को 22,582 वोट के अंतर से हराया था.

इससे पहले 2014 के चुनाव में भाजपा की टिकट पर सरयू राय ने बन्ना गुप्ता को 10517 वोट के अंतर से हराया था. जबकि 2009 के चुनाव में बन्ना गुप्ता ने भाजपा प्रत्याशी रहे सरयू राय को महज 3,297 वोट के अंतर से मात दी थी. इससे पहले 2005 में राज्य बनने के बाद पहली बार हुए विधानसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर सरयू राय ने सपा प्रत्याशी बनकर उतरे बन्ना गुप्ता को 12,695 वोट से हरा दिया था. खास बात है कि राज्य बनने से पहले एकीकृत बिहार में साल 2000 में हुए विधानसभा चुनाव में जमशेदपुर पश्चिम सीट पर भाजपा के मृगेंद्र प्रताप सिंह की जीत हुई थी. उन्होंने कांग्रेस के शमशुद्दीन खान को बड़े अंतर से हराया था. उस चुनाव में बन्ना गुप्ता सपा की टिकट पर तीसरे स्थान पर रहे थे.

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