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हेमंत सोरेन खनन पट्टा मामला: Petition रद्द करने के लिए सुप्रीम कोर्ट में हस्तक्षेप याचिका

Chief Minister Hemant Soren के खिलाफ झारखंड हाई कोर्ट में दायर जनहित याचिका को खारिज करने की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की गई है. Advocate Rajiv Kumar की गिरफ्तारी का हवाला दिया गया है.

Supreme Court
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Published : Aug 11, 2022, 8:31 PM IST

Updated : Aug 11, 2022, 10:07 PM IST

रांची: झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Chief Minister Hemant Soren) के खिलाफ खनन पट्टा और शेल कंपनियों से जुड़े मामले में दायर जनहित याचिका को खारिज करने की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में हस्तक्षेप याचिका दायर की गई है. प्रार्थी मस्तराम मीणा ने याचिका दायर की है. दायर याचिका में उन्होंने कहा है कि शिव शंकर शर्मा की दो याचिकाएं जिसकी संख्या 4290 ऑफ 2021 और 727 ऑफ 2022 की मेंटेनेबिलिटी मामले पर 12 अगस्त को शीर्ष अदालत में सुनवाई होनी है.

ये भी पढ़ें- सीएम हेमंत सोरेन के खनन पट्टा और शेल कंपनी से जुड़ा मामलाः झारखंड हाई कोर्ट में 26 अगस्त को होगी सुनवाई

याचिका के माध्यम से अदालत को जानकारी दी है कि याचिकाकर्ता के अधिवक्ता राजीव कुमार (Advocate Rajiv Kumar) को कोलकाता पुलिस ने 31 जुलाई की शाम को गिरफ्तार किया है. याचिकाकर्ता के वकील पर कोलकाता के व्यवसायी अमित अग्रवाल को पीआईएल 4290 ऑफ 2021 में राहत दिलाने के नाम पर पैसे की मांग की गयी थी.इसका ऑडियो भी वायरल हुआ था. चुंकि झारखंड हाई कोर्ट में दोनों याचिकाओं पर बहस जारी है. इसलिए शीर्ष अदालत की तरफ से दोनों याचिकाओं को रद्द करने की मांग की गयी है.

ये दोनों याचिकाएं झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से जुड़ी हैं. हस्तक्षेप याचिका में अधिवक्ता राजीव कुमार के खिलाफ दर्ज की गयी प्राथमिकी की कापी और 50 लाख रुपये की नगद बरामदगी का जिक्र किया गया है. ऐसे में एडवोकेट राजीव कुमार की कोई विश्वसनीयता नहीं रह गयी है. उनके द्वारा आम लोगों को डराने-धमकाने के लिए रिट याचिकाएं दायर की जाती रही है, जिसका यह स्पष्ट प्रमाण है.

रांची: झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Chief Minister Hemant Soren) के खिलाफ खनन पट्टा और शेल कंपनियों से जुड़े मामले में दायर जनहित याचिका को खारिज करने की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में हस्तक्षेप याचिका दायर की गई है. प्रार्थी मस्तराम मीणा ने याचिका दायर की है. दायर याचिका में उन्होंने कहा है कि शिव शंकर शर्मा की दो याचिकाएं जिसकी संख्या 4290 ऑफ 2021 और 727 ऑफ 2022 की मेंटेनेबिलिटी मामले पर 12 अगस्त को शीर्ष अदालत में सुनवाई होनी है.

ये भी पढ़ें- सीएम हेमंत सोरेन के खनन पट्टा और शेल कंपनी से जुड़ा मामलाः झारखंड हाई कोर्ट में 26 अगस्त को होगी सुनवाई

याचिका के माध्यम से अदालत को जानकारी दी है कि याचिकाकर्ता के अधिवक्ता राजीव कुमार (Advocate Rajiv Kumar) को कोलकाता पुलिस ने 31 जुलाई की शाम को गिरफ्तार किया है. याचिकाकर्ता के वकील पर कोलकाता के व्यवसायी अमित अग्रवाल को पीआईएल 4290 ऑफ 2021 में राहत दिलाने के नाम पर पैसे की मांग की गयी थी.इसका ऑडियो भी वायरल हुआ था. चुंकि झारखंड हाई कोर्ट में दोनों याचिकाओं पर बहस जारी है. इसलिए शीर्ष अदालत की तरफ से दोनों याचिकाओं को रद्द करने की मांग की गयी है.

ये दोनों याचिकाएं झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से जुड़ी हैं. हस्तक्षेप याचिका में अधिवक्ता राजीव कुमार के खिलाफ दर्ज की गयी प्राथमिकी की कापी और 50 लाख रुपये की नगद बरामदगी का जिक्र किया गया है. ऐसे में एडवोकेट राजीव कुमार की कोई विश्वसनीयता नहीं रह गयी है. उनके द्वारा आम लोगों को डराने-धमकाने के लिए रिट याचिकाएं दायर की जाती रही है, जिसका यह स्पष्ट प्रमाण है.

Last Updated : Aug 11, 2022, 10:07 PM IST
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