रांची: झारखंड में निवेश को बढ़ावा देने के उद्देश्य से राज्य सरकार दिल्ली में औद्योगिक घरानों के साथ समिट करने जा रही है. 27 और 28 अगस्त को दिल्ली में संभावित इस औद्योगिक समिट में राज्य सरकार द्वारा हाल ही में लाई गई नई औद्योगिक नीति से उद्योगपतियों को अवगत कराया जाएगा.
यह भी पढ़ें: झारखंड में निवेश करने से कन्नी काटते इंवेस्टर्स, जानिए इसके पीछे क्या है वजह
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने इस समिट से उम्मीद जताते हुए कहा है कि राज्य में इसके जरिए निवेश को बढ़ावा मिलेगा. प्रोजेक्ट भवन में मीडियाकर्मियों से बात करते हुए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि जो उद्योग चलने लायक हैं, उन्हें चलाया जाएगा लेकिन जो पूरी तरह से चलने लायक नहीं है वे बंद होंगे.
नई औद्योगिक नीति में 5 सेक्टर पर फोकस
नई औद्योगिक नीति में पांच सेक्टर टेक्सटाइल एंड अपेरल, ऑटोमोबाइल्स, ऑटो कंपोनेंट्स एंड इलेक्ट्रिक व्हीकल, एग्रोफूड प्रोसेसिंग एंड मीट प्रोसेसिंग इंडस्ट्री, फार्माक्यूटिकल्स और इलेक्ट्रॉनिक सिस्टम डिजाइन एंड मैन्युफैक्चरिंग पर सर्वाधिक फोकस किया गया है. नई औद्योगिक नीति के तहत आठ सेक्टर स्टार्टअप एंड इक्यूबेसन सेंटर्स, शिक्षा एवं तकनीकी संस्थान, हेल्थकेयर, पर्यटन, सूचना प्रौद्योगिकी, ब्रुअरी एंड डिस्टीलरी पर खास ध्यान रखा गया है.
इसके अलावा नई औद्योगिक और निवेश प्रोत्साहन नीति में पहली बार जल्द भौतिक रूप से काम शुरू करने के लिए यूनिट को पांच प्रतिशत की अतिरिक्त कैपिटल सब्सिडी दी जाएगी. इसी प्रकार निजी विश्वविद्यालय, मेडिकल एजुकेशन एंड हेल्थ केयर फैसिलिटी को इनसेंटिव का प्रावधान किया गया है. इसके साथ ही कोप्रिहेंसिव प्रोजेक्ट इंसेंटिव, स्टांप ड्यूटी रिम्बर्समेंट, क्वालिटी सर्टिफिकेशन एंड रजिस्ट्रेशन में मदद सरकार की ओर से उपलब्ध होगी.
राज्य में 2015 एकड़ है उद्योग के लिए उपलब्ध जमीन
राज्य में उद्योग लगाने के लिए राज्य सरकार के पास 2015 एकड़ जमीन उपलब्ध है जो निवेशकों को दी जाएगी. सरकार को उम्मीद है कि इससे भारी भरकम निवेश होगा और उद्योगपतियों को व्यापार करने का समुचित माहौल मिलेगा.