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झारखंड में बन रहा 'कभी खुशी कभी गम' से लेकर 'यहां से वहां तक' का ई-पास, बीजेपी विधायक ने सरकार पर कसा तंज

कोरोना की रोकथाम के लिए सरकार ने झारखंड में स्वास्थ्य सुरक्षा सप्ताह अभियान चलाया जा है. इस दौरान सड़कों पर निकलने वाले वाहनों के लिए ई-पास बहुत आवश्यक है, लेकिन ई-पास बनवाना अब लोगों के लिए मजाक बन गया है. लोग फर्जी जानकारी देकर ई-पास बनवा रहे हैं.

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Published : May 19, 2021, 4:53 PM IST

Updated : May 19, 2021, 6:34 PM IST

e-pass being made by giving fake data in ranchi
ई-पास पोर्टल

रांची: झारखंड में स्वास्थ्य सुरक्षा सप्ताह के दौरान घरों से बाहर निकलने के लिए हर व्यक्ति को ई - पास बनवाना जरूरी है, लेकिन ई-पास अब लोगों के लिए मजाक बन गया है. बिना जगह, स्थान, टेलीफोन नंबर और वाहन नंबर के भी ई- पास आसानी से बन जा रहा है. सब कुछ फर्जी डालने के बाद भी झारखंड में आसानी से ही पास जारी हो रहे हैं.

e-pass being made by giving fake data in ranchi
ई-पास में गलत डाटा

इसे भी पढे़ं: जमशेदपुर में ब्लैक फंगस से एक की मौत, स्वास्थ्य विभाग हुआ अलर्ट


बीजेपी विधायक नीलकंठ ने दिखाया विभाग को आइना
झारखंड सरकार के पूर्व मंत्री और खूंटी से बीजेपी के विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा ने परिवहन विभाग को निशाने पर लेते हुए एक ट्वीट किया है. ट्वीट के माध्यम से बीजेपी विधायक ने जो जानकारियां शेयर कि है, वह बड़े चौकाने वाले हैं. झारखंड में ई-पास बगैर फोन नंबर के भी बन जा रहा है. ई-पास वेबसाइट में ओटीपी की व्यवस्था ही नहीं है, जिसके कारण कोई भी किसी का नंबर उपयोग कर ई-पास बनवा रहा है. हैरत तो यह है कि 100 खामियों के बावजूद कैसे सरकार ने इस वेबसाइट को मान्यता दिया है, वर्तमान में तो ई-पास पोर्टल तो एक मजाक बनकर रह गया है.

e-pass being made by giving fake data in ranchi
बीजेपी विधायक का ट्वीट


पास में जो मन सो भरा जा रहा है
हम कुछ ऐसे ही पास की तस्वीरें दिखा रहे हैं, जिन्हें देखकर आप हंसे बगैर नहीं रह पाएंगे. जैसे एक व्यक्ति ने पास (परमिट का क्रमांक e-PASSJH/756714/2021) बनाने के दौरान मोबाइल नंबर की जगह पर लिखा-1234567899, जबकि वाहन संख्या की जगह Aby27290 लिखा है. वहीं स्थान की वैधता में लिखा है- कभी खुशी कभी गम, गिरिडीह झारखंड से बाबा का ढ़ाबा, नई दिल्ली. यात्रा के प्रयोजन में शादी और पहचान पत्र संख्या में में गलत नम्बर डाला हुआ है, लेकिन इसके बावजूद ई-पास बन कर तैयार हो जा रहा है.

e-pass being made by giving fake data in ranchi
ई-पास में फेक डाटा



ई-पास में नाम भी लिखा जा रहा उल्टा पुल्टा
एक ई- पास बनाने वाले ने तो हद ही कर दिया है. उसने पास में अपना नाम पटेल बाबू लिखा है. जबकि अपने वाहन का नंबर AB01CD2345 डाला है. सबसे हैरत भरा तो पटेल बाबू का मोबाइल नम्बर है. उसने मोबाइल नंबर की जगह 1234567890 लिख दिया है. वहीं किस स्थान तक जाना है वहां लिखा है - यहां वहां जहां तहां, रांची से वहां, देहरादुन. इन सब के बावजूद इस व्यक्ति का ई-पास जारी कर दिया गया है. जिसका क्रमांक e-PASSJH/740440/2021 है.

इसे भी पढे़ं: रांची में मंडा पूजा का आयोजन, दहकते अंगारे पर चलकर कोरोना महामारी से निजात दिलाने की प्रार्थना



बड़ी संख्या में बन रहे ई-पास
झारखंड में 16 मई से लेकर 19 मई यानी बुधवार को दोपहर तक 18 लाख के करीब लोगों ने ई-पास को लेकर रजिस्ट्रेशन करवाया, जिसमें से 15 लाख 30 हजार 455 लोगों ने इसका फायदा उठाया. राज्य पुलिस के अधिकारियों के मुताबिक, सड़क पर निकलने वाले अधिकांश लोगों के पास ई-पास था. वहीं परिवहन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, रविवार को ही सिर्फ ई-पास बनाने को लेकर काफी परेशानी हुई थी. सर्वर पर ट्रैफिक लोड बढ़ने के कारण कई बार वेबसाइट क्रैश कर गई थी, लेकिन ई-पास बनाने में कोई परेशानी न हो, इसलिए परिवहन विभाग ने तीन अलग-अलग सर्वर बनाए हैं, लेकिन अब इन सर्वर का लोग गलत प्रयोग कर रहे हैं. एक तरफ से कहा जाए तो झारखंड में ही पास के एक मजाक बन गया है. जिसे मन कर रहा है वही पास बनाकर सड़कों पर निकल जा रहा है. उसके पीछे की वजह यही है कि ई-पास आप बिना फोन नम्बर या फिर गलत जानकारी देकर भी बनवा सकते हैं.

रांची: झारखंड में स्वास्थ्य सुरक्षा सप्ताह के दौरान घरों से बाहर निकलने के लिए हर व्यक्ति को ई - पास बनवाना जरूरी है, लेकिन ई-पास अब लोगों के लिए मजाक बन गया है. बिना जगह, स्थान, टेलीफोन नंबर और वाहन नंबर के भी ई- पास आसानी से बन जा रहा है. सब कुछ फर्जी डालने के बाद भी झारखंड में आसानी से ही पास जारी हो रहे हैं.

e-pass being made by giving fake data in ranchi
ई-पास में गलत डाटा

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बीजेपी विधायक नीलकंठ ने दिखाया विभाग को आइना
झारखंड सरकार के पूर्व मंत्री और खूंटी से बीजेपी के विधायक नीलकंठ सिंह मुंडा ने परिवहन विभाग को निशाने पर लेते हुए एक ट्वीट किया है. ट्वीट के माध्यम से बीजेपी विधायक ने जो जानकारियां शेयर कि है, वह बड़े चौकाने वाले हैं. झारखंड में ई-पास बगैर फोन नंबर के भी बन जा रहा है. ई-पास वेबसाइट में ओटीपी की व्यवस्था ही नहीं है, जिसके कारण कोई भी किसी का नंबर उपयोग कर ई-पास बनवा रहा है. हैरत तो यह है कि 100 खामियों के बावजूद कैसे सरकार ने इस वेबसाइट को मान्यता दिया है, वर्तमान में तो ई-पास पोर्टल तो एक मजाक बनकर रह गया है.

e-pass being made by giving fake data in ranchi
बीजेपी विधायक का ट्वीट


पास में जो मन सो भरा जा रहा है
हम कुछ ऐसे ही पास की तस्वीरें दिखा रहे हैं, जिन्हें देखकर आप हंसे बगैर नहीं रह पाएंगे. जैसे एक व्यक्ति ने पास (परमिट का क्रमांक e-PASSJH/756714/2021) बनाने के दौरान मोबाइल नंबर की जगह पर लिखा-1234567899, जबकि वाहन संख्या की जगह Aby27290 लिखा है. वहीं स्थान की वैधता में लिखा है- कभी खुशी कभी गम, गिरिडीह झारखंड से बाबा का ढ़ाबा, नई दिल्ली. यात्रा के प्रयोजन में शादी और पहचान पत्र संख्या में में गलत नम्बर डाला हुआ है, लेकिन इसके बावजूद ई-पास बन कर तैयार हो जा रहा है.

e-pass being made by giving fake data in ranchi
ई-पास में फेक डाटा



ई-पास में नाम भी लिखा जा रहा उल्टा पुल्टा
एक ई- पास बनाने वाले ने तो हद ही कर दिया है. उसने पास में अपना नाम पटेल बाबू लिखा है. जबकि अपने वाहन का नंबर AB01CD2345 डाला है. सबसे हैरत भरा तो पटेल बाबू का मोबाइल नम्बर है. उसने मोबाइल नंबर की जगह 1234567890 लिख दिया है. वहीं किस स्थान तक जाना है वहां लिखा है - यहां वहां जहां तहां, रांची से वहां, देहरादुन. इन सब के बावजूद इस व्यक्ति का ई-पास जारी कर दिया गया है. जिसका क्रमांक e-PASSJH/740440/2021 है.

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बड़ी संख्या में बन रहे ई-पास
झारखंड में 16 मई से लेकर 19 मई यानी बुधवार को दोपहर तक 18 लाख के करीब लोगों ने ई-पास को लेकर रजिस्ट्रेशन करवाया, जिसमें से 15 लाख 30 हजार 455 लोगों ने इसका फायदा उठाया. राज्य पुलिस के अधिकारियों के मुताबिक, सड़क पर निकलने वाले अधिकांश लोगों के पास ई-पास था. वहीं परिवहन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, रविवार को ही सिर्फ ई-पास बनाने को लेकर काफी परेशानी हुई थी. सर्वर पर ट्रैफिक लोड बढ़ने के कारण कई बार वेबसाइट क्रैश कर गई थी, लेकिन ई-पास बनाने में कोई परेशानी न हो, इसलिए परिवहन विभाग ने तीन अलग-अलग सर्वर बनाए हैं, लेकिन अब इन सर्वर का लोग गलत प्रयोग कर रहे हैं. एक तरफ से कहा जाए तो झारखंड में ही पास के एक मजाक बन गया है. जिसे मन कर रहा है वही पास बनाकर सड़कों पर निकल जा रहा है. उसके पीछे की वजह यही है कि ई-पास आप बिना फोन नम्बर या फिर गलत जानकारी देकर भी बनवा सकते हैं.

Last Updated : May 19, 2021, 6:34 PM IST
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