रांची: भगवान श्रीराम की नगरी अयोध्या की तर्ज पर रांची में भी लोगों ने दिवाली के मौके पर एक साथ हजारों दीपक जलाकर रिकॉर्ड बनाया है. दिवाली के अवसर पर रांची के एक सोसाइटी में 7121 दीपक जलाकर दीपोत्सव मनाया गया. रंग-बिरंगे बिजली के बल्बों के बीच भगवान श्री राम का नाम लिखे पारंपरिक दीपक ने रांची के इस परिसर को अयोध्या नगरी जैसा बना दिया. इस दौरान खास बात यह रही कि इन दीयों में प्रदूषण रहित तेल का इस्तेमाल किया गया ताकि किसी भी तरह का पर्यावरण प्रदूषण न हो.
यह भी पढ़ें: Kali Puja 2023: दीपोत्सव के साथ काली पूजा की धूम, देर रात तक होती रही मां की आराधना
इस सोसाइटी के परिसर में पहले से स्थापित भगवान श्रीराम का भव्य मंदिर यहां आने वाले लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बना रहा और हर कोई यही कह रहा था कि ऐसा लग रहा है मानो अयोध्या नगरी रांची में आ गई हो.
गौरतलब है कि यहां के लोगों ने भी इसे अयोध्या में मनाए जाने वाले महादीपोत्सव की तर्ज पर मनाने का फैसला किया. स्थानीय प्रदीप वर्मा का कहना है कि पहली बार इतने भव्य तरीके से भगवान श्री राम का नाम लिखकर और एक साथ इतनी बड़ी संख्या में दीप जलाकर ऐसा आयोजन किया गया है, जो भगवान राम के प्रति हमारी आस्था को प्रमाणित करता है. गौरतलब है कि राम की नगरी अयोध्या में लोगों ने दीपोत्सव के दौरान एक साथ 24 लाख से ज्यादा दीपक जलाकर रिकॉर्ड बनाया है.
श्रीराम मंदिर के उद्घाटन का इंतजार: दीपोत्सव के बाद अब भक्तों को भगवान श्रीराम के नवनिर्मित भव्य मंदिर के उद्घाटन का इंतजार है. देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 जनवरी को अयोध्या श्रीराम मंदिर का उद्घाटन करने जा रहे हैं. इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अयोध्या में श्रीराम मंदिर के प्रतिष्ठा समारोह में शामिल होंगे. इधर, श्रीराम मंदिर के उद्घाटन से पहले अयोध्या श्रीराम जन्मभूमि से पूजित अक्षत झारखंड समेत देशभर के सभी जिलों में भेजा जा रहा है.
विश्व हिंदू परिषद के प्रांतीय मंत्री वीरेंद्र साहू ने कहा है कि अयोध्या से लाए गए अक्षत कलश को फिलहाल मुख्य मंदिर में रखा गया है, जिसके बाद दिसंबर महीने में इसे सभी जिलों में भेजा जाएगा. 22 जनवरी को होने वाले प्राण प्रतिष्ठा के लिए विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ता जिला, ब्लॉक, पंचायत और गांव में जाकर सभी प्रमुख मंदिरों में अनुष्ठान करेंगे.