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विधानसभा में नमाज के लिए कमरा आवंटन का मामला पहुंचा हाई कोर्ट, आदेश रद्द करने की मांग

झारखंड विधानसभा में नमाज पढ़ने के लिए आवंटित कमरे का मामला हाई कोर्ट पहुंच गया है. रांची के भैरव सिंह ने अदालत में जनहित याचिका दायर की है. याचिका के माध्यम से उन्होंने इस आदेश को रद्द करने की मांग की है.

Challenge against order of room for Namaz in High Court
नमाज के लिए कमरे का मामला पहुंचा हाई कोर्ट
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Published : Sep 7, 2021, 1:46 PM IST

Updated : Sep 7, 2021, 2:05 PM IST

रांची: झारखंड विधानसभा में नमाज पढ़ने के लिए कमरा आवंटित करने का मामला हाई कोर्ट पहुंच गया है. रांची के भैरव सिंह ने हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर कर विधानसभा में नमाज पढ़ने के लिए आवंटित कमरे के लिए दिए गए आदेश को चुनौती दी है. याचिका के माध्यम से अदालत को बताया गया है कि विधानसभा अध्यक्ष को यह अधिकार नहीं है कि वह किसी धर्म विशेष के लिए विधानसभा में कमरा आवंटित कर सकते हैं. यह गलत है.

यह भी पढ़ें: नमाज विवाद पर सीएम का बीजेपी पर तंज, मन में राक्षस है तो सभी दिखेंगे दुश्मन

आदेश रद्द करने की मांग

भैरव सिंह का कहना है कि जनता के पैसे से बने हुए कोई भी भवन किसी धर्म विशेष के लिए आवंटित नहीं किया जा सकता है. धर्मनिरपेक्षता को हमारे संविधान में स्पष्ट किया गया है. यह दूसरे धर्मावलंबियों के साथ असमानता है. जो समानता के अधिकार के भी खिलाफ है. ऐसे में उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष के इस आदेश को रद्द करने की मांग की है.

राजीव कुमार, अधिवक्ता

अधिवक्ता विजय रंजन सिन्हा के माध्यम से भैरव सिंह ने हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर की है. इस याचिका के माध्यम से उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष द्वारा नमाज पढ़ने के लिए कमरा आवंटन के दिए गए आदेश को रद्द करने की मांग की है. याचिका में झारखंड विधानसभा के सेक्रेट्री जनरल और झारखंड विधानसभा अध्यक्ष को प्रतिवादी बनाया गया है.

नमाज के लिए आवंटित कमरे को लेकर मचा है बवाल

बता दें कि झारखंड विधानसभा के मानसून सत्र में नमाज पढ़ने के लिए विधानसभा अध्यक्ष द्वारा कमरा आवंटन करने के आदेश पर बवाल मचा हुआ है. झारखंड विधानसभा में विपक्ष के नेताओं ने इस पर काफी बवाल मचाया है. विपक्ष का कहना है कि यह गलत है. उन्होंने यह मांग की है कि जब नमाज पढ़ने के लिए कमरा आवंटित किया जाता है तो हनुमान मंदिर बनाने के लिए भी अनुमति दी जाए. वहीं, सत्ता पक्ष का कहना है कि पूर्व में भी इसके लिए कमरा आवंटित किया जाता था. अब यह मामला विधानसभा से हाई कोर्ट पहुंच गया है.

रांची: झारखंड विधानसभा में नमाज पढ़ने के लिए कमरा आवंटित करने का मामला हाई कोर्ट पहुंच गया है. रांची के भैरव सिंह ने हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर कर विधानसभा में नमाज पढ़ने के लिए आवंटित कमरे के लिए दिए गए आदेश को चुनौती दी है. याचिका के माध्यम से अदालत को बताया गया है कि विधानसभा अध्यक्ष को यह अधिकार नहीं है कि वह किसी धर्म विशेष के लिए विधानसभा में कमरा आवंटित कर सकते हैं. यह गलत है.

यह भी पढ़ें: नमाज विवाद पर सीएम का बीजेपी पर तंज, मन में राक्षस है तो सभी दिखेंगे दुश्मन

आदेश रद्द करने की मांग

भैरव सिंह का कहना है कि जनता के पैसे से बने हुए कोई भी भवन किसी धर्म विशेष के लिए आवंटित नहीं किया जा सकता है. धर्मनिरपेक्षता को हमारे संविधान में स्पष्ट किया गया है. यह दूसरे धर्मावलंबियों के साथ असमानता है. जो समानता के अधिकार के भी खिलाफ है. ऐसे में उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष के इस आदेश को रद्द करने की मांग की है.

राजीव कुमार, अधिवक्ता

अधिवक्ता विजय रंजन सिन्हा के माध्यम से भैरव सिंह ने हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर की है. इस याचिका के माध्यम से उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष द्वारा नमाज पढ़ने के लिए कमरा आवंटन के दिए गए आदेश को रद्द करने की मांग की है. याचिका में झारखंड विधानसभा के सेक्रेट्री जनरल और झारखंड विधानसभा अध्यक्ष को प्रतिवादी बनाया गया है.

नमाज के लिए आवंटित कमरे को लेकर मचा है बवाल

बता दें कि झारखंड विधानसभा के मानसून सत्र में नमाज पढ़ने के लिए विधानसभा अध्यक्ष द्वारा कमरा आवंटन करने के आदेश पर बवाल मचा हुआ है. झारखंड विधानसभा में विपक्ष के नेताओं ने इस पर काफी बवाल मचाया है. विपक्ष का कहना है कि यह गलत है. उन्होंने यह मांग की है कि जब नमाज पढ़ने के लिए कमरा आवंटित किया जाता है तो हनुमान मंदिर बनाने के लिए भी अनुमति दी जाए. वहीं, सत्ता पक्ष का कहना है कि पूर्व में भी इसके लिए कमरा आवंटित किया जाता था. अब यह मामला विधानसभा से हाई कोर्ट पहुंच गया है.

Last Updated : Sep 7, 2021, 2:05 PM IST
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