रामगढ़: समाहरणालय में विकास समन्वय एवं अनुश्रवण समिति (DISHA) की बैठक के संपन्न हुई. सांसद जयंत सिन्हा की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में मांडू विधायक जयप्रकाश भाई पटेल, रामगढ़ विधायक ममता देवी, उपायुक्त माधवी मिश्रा के साथ-साथ सभी विभागों के अधिकारी मौजूद थे. दिशा की बैठक में कोरोना काल में बेहतर स्वास्थ्य, हर घर पानी के साथ-साथ प्रदूषण की समस्या पर चर्चा की गई. इसके अलावे बैठक में विभिन्न क्षेत्रों की विकासशील योजनाओं मनरेगा, दीनदयाल अंत्योदय योजना, दीनदयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना, राष्ट्रीय सामाजिक सहायता कार्यक्रम, प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना, विभिन्न जलापूर्ति योजनाएं, सर्व शिक्षा अभियान और समेकित बाल विकास की समीक्षा की गई.
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अधिकारियों को दिए गए कई निर्देश
विकास समन्वय एवं अनुश्रवण समिति की बैठक के बाद अधिकारियों को कई दिशा निर्देश जारी किए गए. हर घर में नल से पानी, आंगनबाड़ी केंद्र का विकास, डीएमएफटी (DMFT) फंड का सदुपयोग अधिक से अधिक कैसे किया जाए इसको लेकर चर्चा के बाद अधिकारियों को निर्देश दिए गए. इसके अलावे पिछली बैठक में जिन बिंदुओं पर चर्चा की गयी थी उसके वर्तमान स्थिति पर भी विचार किया गया. बैठक में बिजली विभाग को खराब ट्रांसफार्मर की मरम्मत करने, बिजली बिल में त्रुटि को लेकर सुधार कैंप आयोजित करने को कहा गया है. रामगढ़ जिले में कोरोना की तीसरी लहर से बचाव हेतु किए जा रहे कार्यों जैसे कोरोना जांच, टीकाकरण, प्रचार प्रसार, स्वास्थ्य सुविधाओं आदि की भी समीक्षा की गई.
बैठक में अधिकारियों को फटकार
दिशा की बैठक के दौरान सांसद जयंत सिन्हा प्रधानमंत्री सड़क योजना के तहत हो रहे कामों को लेकर नाराज दिखे. सांसद ने लगभग 70 सड़क योजनाओं की अनुशंसा की थी लेकिन काम की प्रगति के बारे में अधिकारियों की अनभिज्ञता पर उन्होंने रोष प्रकट किया और संबंधित पदाधिकारी को जमकर फटकार लगाई.
अंतरराष्ट्रीय बाजार पर निर्भर पेट्रोल की कीमत
विकास समन्वय एवं अनुश्रवण समिति की बैठक के बाद हजारीबाग सांसद जयंत सिन्हा ने पेट्रोल की बढ़ती कीमत पर पूछे गए सवालों का जवाब दिया. उन्होंने कहा कि पेट्रोल की कीमत अंतरराष्ट्रीय बाजार पर निर्भर करती है लेकिन केंद्र सरकार और राज्य सरकार की भागीदारी में कोई ठोस कदम लिया जाता है. जो भी आवश्यक कदम होंगे वह राज्यों के मुख्यमंत्रियों से बात कर केंद्र सरकार लेगी.
स्टैंडबाई में रहे स्वास्थ्य विभाग
कोरोना की तीसरी लहर को देखते हुए उन्होंने कहा ये लहर कैसी होगी ये कोई नहीं जानता ऐसे में स्वास्थ्य विभाग को हमेशा स्टैंडबाई मोड में रहना है. उन्होंने बताया कि केंद्र की ओर से कई कंपनियों को बोलकर वेंटिलेटर और कई जरूरी उपकरण दिए गए हैं लेकिन राज्य सरकार की उदासीनता के कारण टेक्नीशियन और नर्स की भारी कमी है जिसे जल्द पूरी करने की जरूरत है. उन्होंने कोरोना जांच, टीकाकरण, प्रचार प्रसार, स्वास्थ्य सुविधाओं आदि की भी समीक्षा की और अधिकारियों को निर्देश दिए.