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पलामू सेंट्रल जेल में अब तक कोई कैदी नहीं हुआ कोरोना से संक्रमित, जानें कैसे बचाया

कोरोना के बढ़ते हुए मामले को देखते हुए पलामू सेंट्रल जेल प्रशासन अब अलर्ट हो गया है. पलामू सेंट्रल जेल में कोरोना से बचाव के लिए कैदियों को ट्रिपल मास्क दिया गया. इसके साथ ही परिजनों से मुलाकात को भी बंद कर दिया गया है. अब परिजन सिर्फ फोन पर ही बातचीत कर सकते हैं.

palamu jail
पलामू सेंट्रल जेल
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Published : May 4, 2021, 7:31 PM IST

Updated : May 4, 2021, 7:50 PM IST

पलामू: कोरोना की दूसरी लहर ने हर क्षेत्र को गंभीर रूप से चपेट में ले लिया है. कोरोना की दूसरी लहर से लोगों की मौत की संख्या बढ़ती जा रही है. इन सबके बीच पलामू सेंट्रल जेल कोरोना के पहली और दूसरी लहर से खुद को बचाने में अब तक सफल रहा है. यहां 2020 और 2021 में अब तक एक भी कैदी कोरोना पॉजिटिव नहीं हुआ है. ईटीवी भारत ने सेंट्रल जेल में हालातों का जायजा लिया कि किस तरह कोविड-19 से बचाव के लिए उपाय किए गए हैं. पलामू सेंट्रल जेल में फिलहाल बंदियों और कैदियों को मिला दिया जाए तो 1200 लोग बंद हैं, जिसमें से 40 महिलाएं हैं.

देखें पूरी खबर

ये भी पढ़े- पलामूः अपर समाहर्ता कार्यालय में बनाया गया कोविड कंट्रोल रूम, 448 लोगों ने अब तक मांगी सहायता

तीन स्तर पर होती है जांच

पलामू सेंट्रल जेल में घुसने से पहले तीन स्तर पर जांच की जाती है. मुख्य गेट से घुसने के साथ व्यक्ति का तापमान चेक किया जाता है. जबकि दूसरे स्तर पर व्यक्ति को पूरी तरह सेनेटाइज किया जाता है, इसके लिए गेट पर डिसइंफेक्शन टनल बनाई गई है. उसके बाद एक और प्रक्रिया से गुजरने के बाद जेल के अंदर प्रवेश की इजाजत मिलती है.

जांच के बाद कैदियों को 15 दिन रहना पड़ता है क्वारेंटाइन

कोर्ट ले जाने के बाद कैदियों को कोरोना का टेस्ट करवाया जाता है. कोरोना टेस्ट के लिए सभी कैदियों को मेडिकल कॉलेज भेजा जाता है. उसके बाद कैदियों को 15 दिनों के क्वारेंटाइन सेंटर में रखा जाता है. हालात सामान्य होने के बाद उन्हें आम कैदी और बंदियों के साथ रखा जाता है. जेलर प्रमोद कुमार ने बताया कि 15 दिनों के अंदर कोई लक्षण नहीं मिलने के बाद सभी को सामान्य वार्ड में भेजा जाता है.

कैदी और बंदियों को दिया गया ट्रिपल लेयर मास्क

कोरोना से बचाव के लिए पलामू सेंट्रल जेल के कैदी और बंधुओं को ट्रिपल लेयर मास्क दिया गया है. हर दिन सभी कैदियों और बंदियों के मास्क की सफाई की जाती है. जेलर प्रमोद कुमार बताते हैं कि मास्क की सफाई के साथ-साथ हर दिन नया मास्क पहनने को कहा जाता है. बता दें कि पलामू सेंट्रल जेल में परिजनों से मुलाकात पूरी तरह से बंद है. सेंट्रल जेल में बंद कैदियों के लिए टेलीफोन बूथ की व्यवस्था की गई है. जिसके जरिये कैदी अपने परिवार से बातचीत करते हैं.

पलामू: कोरोना की दूसरी लहर ने हर क्षेत्र को गंभीर रूप से चपेट में ले लिया है. कोरोना की दूसरी लहर से लोगों की मौत की संख्या बढ़ती जा रही है. इन सबके बीच पलामू सेंट्रल जेल कोरोना के पहली और दूसरी लहर से खुद को बचाने में अब तक सफल रहा है. यहां 2020 और 2021 में अब तक एक भी कैदी कोरोना पॉजिटिव नहीं हुआ है. ईटीवी भारत ने सेंट्रल जेल में हालातों का जायजा लिया कि किस तरह कोविड-19 से बचाव के लिए उपाय किए गए हैं. पलामू सेंट्रल जेल में फिलहाल बंदियों और कैदियों को मिला दिया जाए तो 1200 लोग बंद हैं, जिसमें से 40 महिलाएं हैं.

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तीन स्तर पर होती है जांच

पलामू सेंट्रल जेल में घुसने से पहले तीन स्तर पर जांच की जाती है. मुख्य गेट से घुसने के साथ व्यक्ति का तापमान चेक किया जाता है. जबकि दूसरे स्तर पर व्यक्ति को पूरी तरह सेनेटाइज किया जाता है, इसके लिए गेट पर डिसइंफेक्शन टनल बनाई गई है. उसके बाद एक और प्रक्रिया से गुजरने के बाद जेल के अंदर प्रवेश की इजाजत मिलती है.

जांच के बाद कैदियों को 15 दिन रहना पड़ता है क्वारेंटाइन

कोर्ट ले जाने के बाद कैदियों को कोरोना का टेस्ट करवाया जाता है. कोरोना टेस्ट के लिए सभी कैदियों को मेडिकल कॉलेज भेजा जाता है. उसके बाद कैदियों को 15 दिनों के क्वारेंटाइन सेंटर में रखा जाता है. हालात सामान्य होने के बाद उन्हें आम कैदी और बंदियों के साथ रखा जाता है. जेलर प्रमोद कुमार ने बताया कि 15 दिनों के अंदर कोई लक्षण नहीं मिलने के बाद सभी को सामान्य वार्ड में भेजा जाता है.

कैदी और बंदियों को दिया गया ट्रिपल लेयर मास्क

कोरोना से बचाव के लिए पलामू सेंट्रल जेल के कैदी और बंधुओं को ट्रिपल लेयर मास्क दिया गया है. हर दिन सभी कैदियों और बंदियों के मास्क की सफाई की जाती है. जेलर प्रमोद कुमार बताते हैं कि मास्क की सफाई के साथ-साथ हर दिन नया मास्क पहनने को कहा जाता है. बता दें कि पलामू सेंट्रल जेल में परिजनों से मुलाकात पूरी तरह से बंद है. सेंट्रल जेल में बंद कैदियों के लिए टेलीफोन बूथ की व्यवस्था की गई है. जिसके जरिये कैदी अपने परिवार से बातचीत करते हैं.

Last Updated : May 4, 2021, 7:50 PM IST
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