पाकुड़: झारखंड में सरकार किसी की भी हो लेकिन किसी ने हिरणपुर प्रखंड के बरमसिया पंचायत अंतर्गत चौकिढाब में रह रहें आदिवासियों की दशा और दिशा बदलने में कोई खास दिलचस्पी नहीं दिखाई. यही वजह है कि यहां के कई लोगों के पास अभी तक राशन कार्ड तक नहीं है.
सरकारों ने ग्रामीणों की दशा और दिशा बदलने की और अपनी पहल की होती तो एक अदद राशन कार्ड के लिए चौकिढाब के लोगों को दर-दर की ठोकरें नहीं खानी पड़ती. दो साल से चौकिढाब के ग्रामीण परेशान हैं, पर शासन और प्रशासन इन्हें राशन कार्ड नहीं दिला पाया. ऐसा नहीं है कि ग्रामीणों ने राशन कार्ड के लिए सरकारी मुलाजिमों और क्षेत्र के रहनुमाओं का ध्यान आकृष्ट नहीं कराया.
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किसी भी योजना का लाब नहीं मिल रहा
सैकड़ों ग्रामीणों ने अपनी समस्याओं को अधिकारियों के पास रखा परंतु प्रशासन में बैठे लोगों ने इनकी बातों और समस्याओं पर ध्यान नहीं दिया, इसलिए आज भी चौकिढाब के ग्रामीण राशन कार्ड के लिए एक उद्धारक की तलाश कर रहे हैं. दर्जनों की संख्या में गांव के लोग राशन कार्ड पाने की आस में समाहरणालय पहुंचे, बावजूद इनकी समस्याएं दूर नहीं हो पाई. ग्रामीणों ने बताया कि राशन कार्ड नहीं रहने की वजह से उन्हें अनाज नहीं मिल रहा है, साथ ही अन्य जनकल्याणकारी योजनाओं का भी लाभ नहीं मिल पा रहा है.
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डीसी ने कहा जल्द देंगे कार्ड
इस मामले में डीसी कुलदीप चौधरी ने बताया कि पूरे जिले में अयोग्य लोगों का राशन कार्ड से नाम हटाने और योग्य लोगों का नाम सूची में जोड़ने के लिए वृहद पैमाने पर काम किया जा रहा है. पंचायत से लेकर जिलास्तर तक राशन कार्ड सत्यापन का काम चल रहा है और छूटे हुए लोगों का नाम सत्यापन कार्य पूरा होने के बाद सूची में जोड़ने के साथ उन्हें राशन कार्ड मुहैया कराने का भी काम किया जाएगा. डीसी ने कहा कि जहां तक चौकिढाब के ग्रामीणों का मामला है तो उसमें दोषी आपूर्ति विभाग के अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.