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पार्टी से गद्दारी करने वाले लोग ले रहे फैसला, प्रतिशोध की भावना के तहत निकाले जा रहे हैं कार्यकर्ता: सुखदेव - डॉ. रामेश्वर उरांव

सुखदेव भगत ने लोहरदगा से कांग्रेस कार्यकर्ताओं को पार्टी से निकालने पर रामेश्वर उरांव पर हमला बोला है, उन्होंने कहा कि रामेश्वर उरांव प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को बाहर निकाल रहे हैं. जिन्होंने पार्टी से गद्दारी की थी आज वही फैसला ले रहे हैं.

sukhdev bhagat attack rameshwar oraon
सुखदेव भगत
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Published : Jan 4, 2020, 5:32 PM IST

लोहरदगा: झारखंड कांग्रेस ने लोहरदगा नगर परिषद अध्यक्ष अनुपमा भगत, युवा कांग्रेस के प्रदेश महासचिव अभिनव सिद्धार्थ, युवा कांग्रेस के लोहरदगा अध्यक्ष सुमित सिन्हा, कांग्रेसी नेता आलोक कुमार साहू सहित कई नेताओं को कांग्रेस पार्टी से 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया है. जिस पर पूर्व विधायक सुखदेव भगत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है.

देखें पूरी खबर

सुखदेव भगत ने कहा है कि यह दुर्भाग्य की बात है कि कांग्रेस पार्टी से गद्दारी करने वाले लोग आज फैसला ले रहे हैं. प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को पार्टी से निकाला गया है. कार्यकर्ताओं को निकालने का डॉक्टर रामेश्वर उरांव को नैतिक अधिकार भी नहीं है.

ये भी देखें- झारखंड का शातिर अपराधी फरीदाबाद से गिरफ्तार, हरियाणा और झारखंड पुलिस की संयुक्त कार्रवाई

2019 लोकसभा और 2015 उपचुनाव दिलाया याद
सुखदेव भगत ने कहा है कि पहले डॉ. रामेश्वर उरांव को यह सोचना चाहिए कि साल 2019 के लोकसभा चुनाव और साल 2015 के लोहरदगा विधानसभा उपचुनाव में उन्होंने कांग्रेस पार्टी के प्रत्याशी के साथ क्या किया था. सर्वस्व के अहंकार को डॉ. रामेश्वर उरांव को त्यागने की जरूरत है. रामेश्वर उरांव को मैं भी याद दिलाना चाहूंगा कि उन्होंने कहा था कि राहुल गांधी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष हो सकते हैं, उनके नेता नहीं.

ये भी देखें- राष्ट्रपति और पूर्व राष्ट्रपति से मिले मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल से भी की मुलाकात

प्रतिशोध की भावना से निकाला गया

ऐसे लोग आज कांग्रेस पार्टी के सर्वे सर्वा बने बैठे हैं. सुखदेव भगत ने रामेश्वर और कांग्रेस पार्टी पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि दुर्भावना और प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को निकाला जा रहा है. सिर्फ लोहरदगा के कार्यकर्ताओं ने क्या कांग्रेस पार्टी के साथ धोखा किया है. राज्य के अन्य हिस्सों में क्या ऐसा नहीं हुआ है.

लोहरदगा से ही क्यों निकाले गए कार्यकर्ता

इस बात को भी रामेश्वर उरांव को कार्यकर्ताओं के समक्ष स्पष्ट करना चाहिए. उन्हें सिर्फ लोहरदगा में ही पार्टी में गद्दार क्यों नजर आ रहे हैं. समय सब कुछ देखता और समझता है. आने वाले समय में जनता सब कुछ तय करेगी. अहंकार की भावना के तहत की गई कार्रवाई को हर कोई देख और समझ रहा है. सुखदेव भगत ने कहा कि रामेश्वर उनके सम्मानित रहे है. विधायक के साथ-साथ उनके मंत्री बनने के लिए उन्हें बधाई देता हूं.

ये भी देखें- गुमला: पेट्रोल-डीजल में लगी 'आग' से लोग परेशान, कहा- परिवार चलाना हो रहा मुश्किल

सुखदेव भगत की पत्नी और नगर परिषद की अध्यक्ष अनुपमा भगत, युवा कांग्रेस के प्रदेश महासचिव और सुखदेव भगत के पुत्र अभिनव सिद्धार्थ सहित कई नेताओं को कांग्रेस पार्टी से निष्कासित किए जाने पर पूर्व विधायक सुखदेव भगत ने कांग्रेस पर बड़ा हमला बोला है. विशेष रूप से उन्होंने कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और झारखंड सरकार के मंत्री डॉ. रामेश्वर उरांव को इस कार्रवाई के लिए कटघरे में खड़ा किया है.

लोहरदगा: झारखंड कांग्रेस ने लोहरदगा नगर परिषद अध्यक्ष अनुपमा भगत, युवा कांग्रेस के प्रदेश महासचिव अभिनव सिद्धार्थ, युवा कांग्रेस के लोहरदगा अध्यक्ष सुमित सिन्हा, कांग्रेसी नेता आलोक कुमार साहू सहित कई नेताओं को कांग्रेस पार्टी से 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया है. जिस पर पूर्व विधायक सुखदेव भगत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है.

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सुखदेव भगत ने कहा है कि यह दुर्भाग्य की बात है कि कांग्रेस पार्टी से गद्दारी करने वाले लोग आज फैसला ले रहे हैं. प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को पार्टी से निकाला गया है. कार्यकर्ताओं को निकालने का डॉक्टर रामेश्वर उरांव को नैतिक अधिकार भी नहीं है.

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2019 लोकसभा और 2015 उपचुनाव दिलाया याद
सुखदेव भगत ने कहा है कि पहले डॉ. रामेश्वर उरांव को यह सोचना चाहिए कि साल 2019 के लोकसभा चुनाव और साल 2015 के लोहरदगा विधानसभा उपचुनाव में उन्होंने कांग्रेस पार्टी के प्रत्याशी के साथ क्या किया था. सर्वस्व के अहंकार को डॉ. रामेश्वर उरांव को त्यागने की जरूरत है. रामेश्वर उरांव को मैं भी याद दिलाना चाहूंगा कि उन्होंने कहा था कि राहुल गांधी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष हो सकते हैं, उनके नेता नहीं.

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प्रतिशोध की भावना से निकाला गया

ऐसे लोग आज कांग्रेस पार्टी के सर्वे सर्वा बने बैठे हैं. सुखदेव भगत ने रामेश्वर और कांग्रेस पार्टी पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि दुर्भावना और प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को निकाला जा रहा है. सिर्फ लोहरदगा के कार्यकर्ताओं ने क्या कांग्रेस पार्टी के साथ धोखा किया है. राज्य के अन्य हिस्सों में क्या ऐसा नहीं हुआ है.

लोहरदगा से ही क्यों निकाले गए कार्यकर्ता

इस बात को भी रामेश्वर उरांव को कार्यकर्ताओं के समक्ष स्पष्ट करना चाहिए. उन्हें सिर्फ लोहरदगा में ही पार्टी में गद्दार क्यों नजर आ रहे हैं. समय सब कुछ देखता और समझता है. आने वाले समय में जनता सब कुछ तय करेगी. अहंकार की भावना के तहत की गई कार्रवाई को हर कोई देख और समझ रहा है. सुखदेव भगत ने कहा कि रामेश्वर उनके सम्मानित रहे है. विधायक के साथ-साथ उनके मंत्री बनने के लिए उन्हें बधाई देता हूं.

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सुखदेव भगत की पत्नी और नगर परिषद की अध्यक्ष अनुपमा भगत, युवा कांग्रेस के प्रदेश महासचिव और सुखदेव भगत के पुत्र अभिनव सिद्धार्थ सहित कई नेताओं को कांग्रेस पार्टी से निष्कासित किए जाने पर पूर्व विधायक सुखदेव भगत ने कांग्रेस पर बड़ा हमला बोला है. विशेष रूप से उन्होंने कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और झारखंड सरकार के मंत्री डॉ. रामेश्वर उरांव को इस कार्रवाई के लिए कटघरे में खड़ा किया है.

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स्टोरी-पार्टी से गद्दारी करने वाले लोग ले रहे फैसला : सुखदेव
.... सुखदेव भगत ने कहा-प्रतिशोध की भावना के तहत निकाले जा रहे हैं कार्यकर्ता
बाइट- सुखदेव भगत, पूर्व विधायक, लोहरदगा
एंकर- लोहरदगा नगर परिषद अध्यक्ष अनुपमा भगत, युवा कांग्रेस के प्रदेश महासचिव अभिनव सिद्धार्थ, युवा कांग्रेस के लोहरदगा अध्यक्ष सुमित सिन्हा, कांग्रेसी नेता आलोक कुमार साहू सहित कई नेताओं को कांग्रेस पार्टी से 6 साल के लिए निष्कासित किए जाने पर पूर्व विधायक सुखदेव भगत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है. सुखदेव भगत ने कहा है कि यह दुर्भाग्य की बात है कि कांग्रेस पार्टी से गद्दारी करने वाले लोग आज फैसला ले रहे हैं. प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को पार्टी से निकाला गया है. कार्यकर्ताओं को निकालने का डॉक्टर रामेश्वर उरांव को नैतिक अधिकार भी नहीं है.


इंट्रो-सुखदेव भगत ने कहा है कि पहले डॉ. रामेश्वर उरांव को यह सोचना चाहिए कि साल 2019 के लोकसभा चुनाव और साल 2015 के लोहरदगा विधानसभा उपचुनाव में उन्होंने कांग्रेस पार्टी के प्रत्याशी के साथ क्या किया था. सर्वस्व के अहंकार को डॉ. रामेश्वर उरांव को त्यागने की जरूरत है. रामेश्वर उरांव को मैं भी याद दिलाना चाहूंगा कि उन्होंने कहा था कि राहुल गांधी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष हो सकते हैं, उनके नेता नहीं. ऐसे लोग आज कांग्रेस पार्टी के सर्वे सर्वा बने बैठे हैं. सुखदेव भगत ने रामेश्वर और कांग्रेस पार्टी पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि दुर्भावना और प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को निकाला जा रहा है. सिर्फ लोहरदगा के कार्यकर्ताओं ने क्या कांग्रेस पार्टी के साथ धोखा किया है. राज्य के अन्य हिस्सों में क्या ऐसा नहीं हुआ है. इस बात को भी रामेश्वर उरांव को कार्यकर्ताओं के समक्ष स्पष्ट करना चाहिए. उन्हें सिर्फ लोहरदगा में ही पार्टी में गद्दार क्यों नजर आ रहे हैं. समय सब कुछ देखता और समझता है. आने वाले समय में जनता सब कुछ तय करेगी. अहंकार की भावना के तहत की गई कार्रवाई को हर कोई देख और समझ रहा है. सुखदेव भगत ने कहा कि रामेश्वर और उनके सम्मानित रहे हैं. विधायक के साथ-साथ उनके मंत्री बनने के लिए उन्हें बधाई भी देते हैं.


Body:सुखदेव भगत ने कहा है कि पहले डॉ. रामेश्वर उरांव को यह सोचना चाहिए कि साल 2019 के लोकसभा चुनाव और साल 2015 के लोहरदगा विधानसभा उपचुनाव में उन्होंने कांग्रेस पार्टी के प्रत्याशी के साथ क्या किया था. सर्वस्व के अहंकार को डॉ. रामेश्वर उरांव को त्यागने की जरूरत है. रामेश्वर उरांव को मैं भी याद दिलाना चाहूंगा कि उन्होंने कहा था कि राहुल गांधी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष हो सकते हैं, उनके नेता नहीं. ऐसे लोग आज कांग्रेस पार्टी के सर्वे सर्वा बने बैठे हैं. सुखदेव भगत ने रामेश्वर और कांग्रेस पार्टी पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि दुर्भावना और प्रतिशोध की भावना के तहत कार्यकर्ताओं को निकाला जा रहा है. सिर्फ लोहरदगा के कार्यकर्ताओं ने क्या कांग्रेस पार्टी के साथ धोखा किया है. राज्य के अन्य हिस्सों में क्या ऐसा नहीं हुआ है. इस बात को भी रामेश्वर उरांव को कार्यकर्ताओं के समक्ष स्पष्ट करना चाहिए. उन्हें सिर्फ लोहरदगा में ही पार्टी में गद्दार क्यों नजर आ रहे हैं. समय सब कुछ देखता और समझता है. आने वाले समय में जनता सब कुछ तय करेगी. अहंकार की भावना के तहत की गई कार्रवाई को हर कोई देख और समझ रहा है. सुखदेव भगत ने कहा कि रामेश्वर और उनके सम्मानित रहे हैं. विधायक के साथ-साथ उनके मंत्री बनने के लिए उन्हें बधाई भी देते हैं.


Conclusion:सुखदेव भगत की पत्नी और नगर परिषद की अध्यक्ष अनुपमा भगत, युवा कांग्रेस के प्रदेश महासचिव और सुखदेव भगत के पुत्र अभिनव सिद्धार्थ सहित कई नेताओं को कांग्रेस पार्टी से निष्कासित किए जाने पर पूर्व विधायक सुखदेव भगत ने कांग्रेस पर बड़ा हमला बोला है. विशेष रूप से उन्होंने कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और झारखंड सरकार के मंत्री डॉ. रामेश्वर उरांव को इस कार्रवाई के लिए कटघरे में खड़ा किया है.

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