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Latehar News: नक्सली संगठन जेजेएमपी के एरिया कमांडर ने किया सरेंडर, शहीद डिप्टी कमांडेंट के साथ मुठभेड़ में था शामिल

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Published : Apr 27, 2023, 1:39 PM IST

नक्सली संगठन जेजेएमपी के एरिया कमांडर सत्येंद्र उरांव ने लातेहार पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया है. उसे शाॅल प्रदान कर आत्मसमर्पण कराया गया.

Latehar police
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लातेहार: पुलिस के द्वारा चलाए जा रहे लगातार अभियान से नक्सलियों में हड़कंप मचा हुआ है. नक्सली अपने को सुरक्षित करने के लिए अब पुलिस की शरण में आने लगे हैं. गुरुवार को उग्रवादी संगठन झारखंड जनमुक्ति परिषद के एरिया कमांडर सत्येंद्र उरांव ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया. सत्येंद्र पलामू जिले के पांकी का रहने वाला है. वह कई नक्सली घटनाओं में शामिल रह चुका है. लातेहार एसपी अंजनी अंजन और सीआरपीएफ 11 बटालियन के कमांडेंट वीके त्रिपाठी और द्वितीय कमान अधिकारी विनोद कनौजिया ने शॉल प्रदान कर सत्येंद्र का आत्मसमर्पण करवाया.

यह भी पढ़ें: दंतेवाड़ा की घटना के बाद झारखंड-छत्तीसगढ़ में सुरक्षाबलों का हाईअलर्ट, नक्सलियों के खिलाफ सर्च अभियान जारी

दरअसल, एरिया कमांडर सत्येंद्र उरांव पिछले 4 वर्षों से नक्सली संगठन जेजेएमपी के साथ मिलकर क्षेत्र में दहशत फैला रहा था. एसपी अंजनी अंजन ने बताया कि सीआरपीएफ 11 बटालियन के कमांडेंट और अन्य अधिकारियों के द्वारा सत्येंद्र को आत्मसमर्पण करने के लिए प्रेरित किया गया. बाद में पुलिस के अधिकारियों के द्वारा उसे सरकार के आत्मसमर्पण नीति से मिलने वाले फायदों की भी जानकारी दी गई. जिसके बाद इसने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया. वहीं सीआरपीएफ के कमांडेंट वीके त्रिपाठी ने बताया कि एरिया कमांडर सत्येंद्र उरांव के परिजनों ने उनसे संपर्क किया और आत्मसमर्पण करवाने की अपील की. इसके बाद सत्येंद्र को सरकार के आत्मसमर्पण नीति के लाभ की जानकारी दी गई. इसके बाद गुरुवार को इसने आत्मसमर्पण कर दिया.

नक्सली सत्येंद्र पुलिस मुठभेड़ में था शामिल, डिप्टी कमांडेंट हुए थे शहीद: बताया गया कि आत्मसमर्पण करने वाला नक्सली सत्येंद्र उरांव 3 वर्ष पहले हुए पुलिस और नक्सलियों की मुठभेड़ में भी शामिल था. इस मुठभेड़ में जगुआर के डिप्टी कमांडेंट भी शहीद हो गए थे. इसके अलावा कई अन्य मुठभेड़ में भी वह शामिल था. नक्सली सत्येंद्र ने बताया कि उसका बड़ा भाई भी नक्सली संगठन जेजेएमपी का सक्रिय सदस्य था. लेकिन एक मुठभेड़ में उसके भाई की मौत हो गई थी. जिसके बाद उसने जेजेएमपी का दामन थाम लिया था. सत्येंद्र के आत्मसमर्पण के बाद एसपी अंजनी अंजन ने अन्य नक्सलियों से अपील की है कि सरकार के आत्मसमर्पण नीति का लाभ उठाते हुए हिंसा का रास्ता छोड़ें और पुलिस के सामने आत्मसमर्पण करें. आत्मसमर्पण करने के बाद नक्सली सत्येंद्र उरांव को पुलिस के द्वारा सम्मानित भी किया गया.

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लातेहार: पुलिस के द्वारा चलाए जा रहे लगातार अभियान से नक्सलियों में हड़कंप मचा हुआ है. नक्सली अपने को सुरक्षित करने के लिए अब पुलिस की शरण में आने लगे हैं. गुरुवार को उग्रवादी संगठन झारखंड जनमुक्ति परिषद के एरिया कमांडर सत्येंद्र उरांव ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया. सत्येंद्र पलामू जिले के पांकी का रहने वाला है. वह कई नक्सली घटनाओं में शामिल रह चुका है. लातेहार एसपी अंजनी अंजन और सीआरपीएफ 11 बटालियन के कमांडेंट वीके त्रिपाठी और द्वितीय कमान अधिकारी विनोद कनौजिया ने शॉल प्रदान कर सत्येंद्र का आत्मसमर्पण करवाया.

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दरअसल, एरिया कमांडर सत्येंद्र उरांव पिछले 4 वर्षों से नक्सली संगठन जेजेएमपी के साथ मिलकर क्षेत्र में दहशत फैला रहा था. एसपी अंजनी अंजन ने बताया कि सीआरपीएफ 11 बटालियन के कमांडेंट और अन्य अधिकारियों के द्वारा सत्येंद्र को आत्मसमर्पण करने के लिए प्रेरित किया गया. बाद में पुलिस के अधिकारियों के द्वारा उसे सरकार के आत्मसमर्पण नीति से मिलने वाले फायदों की भी जानकारी दी गई. जिसके बाद इसने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया. वहीं सीआरपीएफ के कमांडेंट वीके त्रिपाठी ने बताया कि एरिया कमांडर सत्येंद्र उरांव के परिजनों ने उनसे संपर्क किया और आत्मसमर्पण करवाने की अपील की. इसके बाद सत्येंद्र को सरकार के आत्मसमर्पण नीति के लाभ की जानकारी दी गई. इसके बाद गुरुवार को इसने आत्मसमर्पण कर दिया.

नक्सली सत्येंद्र पुलिस मुठभेड़ में था शामिल, डिप्टी कमांडेंट हुए थे शहीद: बताया गया कि आत्मसमर्पण करने वाला नक्सली सत्येंद्र उरांव 3 वर्ष पहले हुए पुलिस और नक्सलियों की मुठभेड़ में भी शामिल था. इस मुठभेड़ में जगुआर के डिप्टी कमांडेंट भी शहीद हो गए थे. इसके अलावा कई अन्य मुठभेड़ में भी वह शामिल था. नक्सली सत्येंद्र ने बताया कि उसका बड़ा भाई भी नक्सली संगठन जेजेएमपी का सक्रिय सदस्य था. लेकिन एक मुठभेड़ में उसके भाई की मौत हो गई थी. जिसके बाद उसने जेजेएमपी का दामन थाम लिया था. सत्येंद्र के आत्मसमर्पण के बाद एसपी अंजनी अंजन ने अन्य नक्सलियों से अपील की है कि सरकार के आत्मसमर्पण नीति का लाभ उठाते हुए हिंसा का रास्ता छोड़ें और पुलिस के सामने आत्मसमर्पण करें. आत्मसमर्पण करने के बाद नक्सली सत्येंद्र उरांव को पुलिस के द्वारा सम्मानित भी किया गया.

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