हजारीबाग: कोरोना महामारी के दौरान जिला प्रशासन और विभिन्न एनजीओ के सदस्यों के साथ संयुक्त कार्य नीति पर हजारीबाग सूचना भवन में कार्यशाला का आयोजन किया गया. जिसमें हजारीबाग के कई एनजीओ ने हिस्सा लिया. गृह मंत्रालय भारत सरकार और नीति आयोग ने कोविड-19 महामारी के दौर में सरकार और एनजीओ के बीच परस्पर संबंध और कार्य योजना विकसित किए जाने की आवश्यकता पर जोर देते हुए उप विकास आयुक्त ने यह कार्यशाला का आयोजन किया.
इस कार्य के लिए प्रत्येक जिले की उप विकास आयुक्त को नोडल पदाधिकारी के रूप में नियुक्त किया गया है. हजारीबाग जिले के लिए सपोर्ट स्वयंसेवी संगठन को मदर एनजीओ के रूप में चिन्हित भी किया गया है. इस कार्यशाला में उप विकास आयुक्त ने विभिन्न क्षेत्रों के जरूरतमंद लोगों के साथ काम करने के लिए दिशा निर्देश निर्गत किया है. इसके साथ ही किसान के साथ आने वाले दिनों में उन्हें मदद पहुंचाने को भी कहा है. जिला प्रशासन और इन संगठनों ने कई कार्य किए जा रहे हैं जैसे-
- वंचित परिवारों को चिन्हित करना
- महामारी के लेकर प्रचार प्रसार करना
- सोशल मीडिया के जरिए सूचना का आदान प्रदान करना
- लॉकडाउन के नियम का पालन करवाना
- बाहर से आ रहे लोगों को चिन्हित करना
- क्वॉरेंचाइन सेंटर का प्रबंधन
- मास्क हेड गेयर इत्यादि की व्यवस्था
- सरकार के चलाए जा रहे दाल भात केंद्र
- दीदी किचन और थाने में बनाए जा रहे हैं भोजन केंद्र की जानकारी शामिल है.
इन विषयों पर विस्तृत जानकारी उप विकास आयुक्त ने ली. उन्होंने यह भी कहा कि संक्रमित या संभावित संक्रमित व्यक्तियों के प्रति गलत भावना से देखना बहुत बड़ी समस्या के रूप में उभर रही है. इस समस्या को दूर करना हमारी सबसे बड़ी जिम्मेवारी है. इसके साथ ही अफावाह और गलत धारणा के प्रति समुदाय को जागरूक करना भी एनजीओ का दायित्व है.
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वहीं, झारखंड सरकार ने मनरेगा अंतर्गत की नई योजना का राज्य में शुभारंभ किया है नीलांबर-पीतांबर जल समृद्धि योजना, बिरसा हरित ग्राम योजना, वीर शहीद फोटो खेल विकास योजना इन तीनों के संचालन के लिए ग्रामीण क्षेत्र में काम करने वाले संगठन से सहयोग करने की भी अपील की गई है.