जमशेदपुर: झारखंड विधानसभा के 81 विधानसभा में बरकट्ठा विधानसभा इन दिनों काफी सुर्खियों में रही है. जिसका कारण वहां के वर्तमान विधायक जानकी प्रसाद यादव हैं. जानकी प्रसाद यादव पहले झारखंड विकास मोर्चा से 2014 विधानसभा में चुनाव लड़े और बरकट्ठा के विधायक बने. हालांकि चुनाव जीतने के बाद उन्होंने झारखंड विकास मोर्चा को अलविदा कहकर भारतीय जनता पार्टी का दामन थाम लिया.
इसके बाद लगभग 4 सालों जानकी प्रसाद पर दलबदल को लेकर मामला भी चला, लेकिन बाद में उनके पक्ष में आदेश भी आया. इस कारण यह विधानसभा क्षेत्र काफी अधिक चर्चा में रहा. साथ ही भौगोलिक स्थिति भी बरकट्ठा विधानसभा की अन्य विधानसभा सीटों से भिन्न है.
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बरकट्ठा विधानसभा का सृजन 1977 में हुआ. इस विधानसभा का गठन तीन प्रखंड बरकट्ठा, इचाक और जयनगर मिलकर हुआ है. वर्तमान में यह विधानसभा 7 प्रखंडों में बंटी है. इस विधानसभा में 89 पंचायत हैं, जिसमें सबसे बड़ा प्रखंड जयनगर है. यहां 23 पंचायत और 99 बूथ हैं. इसमें लगभग 77 हजार मतदाता हैं. वहीं, प्रखंड बरकट्ठा में 17 पंचायत, ईचाक में 20, चंदवारा प्रखंड में 5 पंचायत, चलकुसा प्रखंड में 9, टाटीझरिया में 3, दारू प्रखंड में 2 पंचायत इस विधानसभा में शामिल हैं. प्रशासनिक दृष्टिकोण से जयनगर प्रखंड कोडरमा जिले में आता है.
विकास के सारे कार्य इस जिले के अनुमंडल से संचालित होते हैं. चुनावी प्रक्रिया इस प्रखंड के बरही अनुमंडल से संचालित होती है. जय नगर और चंदवारा प्रखंड को छोड़कर सभी प्रखंड हजारीबाग क्षेत्र के अंग है. बरकट्ठा विधानसभा का सबसे महत्वपूर्ण और आकर्षक क्षेत्र वहां का सूर्य कुंड है, जो एशिया महाद्वीप के सबसे गर्म कुंड के रूप में जाना जाता है. ऐसे में इस क्षेत्र को पर्यटन क्षेत्र के रूप में भी पहचान मिली, तो दूसरी ओर पूरा विधानसभा क्षेत्र कृषि पर आधारित है.
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यह विधानसभा क्षेत्र कभी झारखंड विकास मोर्चा का गढ़ माना जाता था, लेकिन दल बदल के बाद यहां के विधायक ने जैसे ही भाजपा का दामन थामा तो इस क्षेत्र में झारखंड विकास मोर्चा की पकड़ कमजोर होती चली गई. मौजूदा समय में यहां भाजपा का वर्चस्व है. ऐसे में आने वाले चुनाव में फिर से झारखंड विकास मोर्चा अपनी पकड़ बनाने के जुगाड़ में है, तो दूसरी ओर स्थानीय और वर्तमान विधायक जानकी प्रसाद यादव का मानना है कि इस बार फिर उन्हें जनता अपना आशीर्वाद देगी और वह यहां से प्रचंड बहुमत से जीतेंगे.
जानकी प्रसाद यादव के पिछले रिकॉर्ड की बात करें, तो वो अपने इस कार्यकाल को सर्वश्रेष्ठ कार्यकाल के रूप में देख रहे हैं. उनका मानना है कि उनके कार्यकाल में कई आधारभूत संरचनाएं धरातल पर उतरी हैं. दूसरी ओर सूर्यकुंड को उन्होंने राज्य में नई पहचान दिलाई है. इस वजह से वह मानते हैं कि पार्टी अगर उन्हें इस बार उम्मीदवार बनाती है तो वह यहां से विजयी होंगे. वर्तमान में जानकी यादव आवास बोर्ड के चेयरमैन भी हैं. इस लिहाज से यह माना जा सकता है कि सरकार में इनकी पकड़ अच्छी है.
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हालांकि जेवीएम नेता बटेश्वर मेहता ने जानकी प्रसाद यादव को एक भगोड़ा नेता करार दिया है. उनका कहना है कि जिसकी तरफ सरकार होती है, वो उधर ही चले जाते हैं. इस वजह से जनता उसे इस बार सबक सिखाएगी. उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि उनके कार्यकाल में जो योजनाएं चली हैं उसका स्तर काफी नीचा है और बिचौलिया पूरे विधानसभा कार्यकाल में हावी रहा है.
दूसरी ओर जनता का कहना है कि विधायक ने कई क्षेत्रों में काम किया है, तो ईचाक प्रखंड के लोगों का मानना है कि ईचाक वासियों के साथ जानकी प्रसाद ने सौतेला व्यवहार किया है. लोगों का आरोप है कि विधायक ने अपने घर के आस-पास के क्षेत्रों में विकास किया है. बाकी जो प्रखंड हैं वहां विकास नहीं हुआ है.