देवघरः जिले में भू-माफियाओं की बढ़ती गतिविधि और फर्जी कागजात के आधार पर जमीन हड़पने की घटनाओं पर लगाम लगाने के लिए अब जिला प्रशासन ने कमर कस ली है. दरअसल, अब एक सॉफ्टवेयर के जरिए जमीन की फर्जी खरीद फरोख्त की पहचान कर उस पर रोक लगाई जा सकेगी. इसके लिए जिला निबंधन कार्यालय में नेशनल जेनेरिक डॉक्यूमेंट रजिस्ट्रेशन सिस्टम सॉफ्टवेयर को इंस्टॉल किया गया है.
जमीन की सूची सॉफ्टवेयर में लोड
नेशनल जेनेरिक डॉक्यूमेंट रजिस्ट्रेशन सिस्टम सॉफ्टवेयर में सभी प्रतिबंधित जमीन की सूची को फीड कर दिया गया है. अब जैसे ही गलत जमीन की खरीद बिक्री संबंधित दस्तावेज आवेदन के साथ प्रस्तुत किए जाते हैं, तो सॉफ्टवेयर उसकी पहचान कर उसे खारिज कर देता है. निबंधन कार्यालय में देवघर और मोहनपुर प्रखंड के तकरीबन 400 मौजा की 500 एकड़ प्रतिबंधित जमीन की सूची इस सॉफ्टवेयर में लोड की गई है.
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जमीन की फर्जीवाड़े पर लग रही रोक
इस संबंध में देवघर के अवर निबंधक राहुल कुमार चौबे ने बताया कि इस सॉफ्टवेयर से जमीन माफियाओं की गतिविधि और जमीन के फर्जीवाड़े पर रोक लगाने में काफी मदद मिल रही है. अवर निबंधक राहुल कुमार चौबे की माने तो अब तक फर्जीवाड़े में एक रजिस्ट्री पर कार्रवाई कर एफआईआर भी दर्ज कराई गई है. वहीं, इस कोरोना काल में रजिस्ट्री दर में भी काफी गिरावट आई है और ऑफिस खुलने के बाद से अब तक महज 370 डीड ही निबंधन हो पाए है. शादी विवाह भी 3 ही हो पाए हैं.