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चतरा: सिमरिया अस्पताल का लैब टेक्नीशियन कोरोना पॉजिटिव, अलर्ट नहीं स्वास्थ्य विभाग - चतरा में कोरोना पॉजिटिव

चतरा के सिमरिया रेफरल अस्पताल के लैब टेक्नीशियन के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद भी स्वास्थ्य विभाग अलर्ट नहीं हुआ है, जिससे जिले में कोरोना वायरस फैलने का खतरा बढ़ गया है. टेक्नीशियन के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद अब तक अस्पताल सील नहीं किया गया है, जिससे अस्पताल पहुंचने वाले लोगों में दहशत बना हुआ है.

Simaria Hospital in chatra
चतरा के सिमरिया रेफरल अस्पताल
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Published : Jun 18, 2020, 5:21 PM IST

चतराः जिले में सिमरिया रेफरल अस्पताल के लैब टेक्नीशियन के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद भी स्वास्थ्य महकमा अलर्ट नहीं है. रेफरल अस्पताल की लैब को अभी तक न तो सेनेटाइज किया गया है और न ही सील. हालांकि, टेक्नीशियन के पॉजिटिव पाए जाने के बाद आनन-फानन में उसे कोविड-19 हॉस्पिटल चतरा में भर्ती जरूर करा दिया गया है, लेकिन लैब और अस्पताल को सील नहीं करने के कारण इलाज के लिए पहुंचने वाले लोगों में दहशत का माहौल है.

देखें पूरी खबर

ये भी पढ़ें- शहीद कुंदन ओझा के घर पहुंचे एसडीओ, हेलीपैड का किया निरीक्षण

ऐसे में स्थानीय लोगों ने जिला प्रशासन से मामले में हस्तक्षेप करते हुए अस्पताल को अविलंब सेनेटाइज कर कोरोना सैंपल कलेक्शन सेंटर को सील कराने की मांग की है. स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर समय रहते संक्रमण के रोकथाम के लिए वैकल्पिक व्यवस्था नहीं किया गया और अस्पताल परिसर में ही मामूली मौसमी बीमारियों का उपचार कराने पहुंचने वाले लोगों के स्वास्थ्य जांच की अलग से व्यवस्था नहीं हुई तो कोरोना संक्रमण का खतरा निरंतर बना रहेगा. लोग मामूली बीमारी का उपचार कराने अस्पताल पहुंचेंगे और कोरोना लेकर घर लौटेंगे. जिस लैब टेक्नीशियन में कोरोना वायरस के लक्षण पाए गए हैं वह अस्पताल के चिकित्सकों और अन्य कई स्वास्थ्यकर्मियों के संपर्क में भी था. बावजूद अब तक किसी भी स्वास्थ्यकर्मी और चिकित्सक का न तो सैंपल लिया गया है और न ही उन्हें क्वॉरेंटाइन किया गया है. ऐसे में संक्रमण के तेजी से पांव पसारने की संभावना प्रबल है.

चतराः जिले में सिमरिया रेफरल अस्पताल के लैब टेक्नीशियन के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद भी स्वास्थ्य महकमा अलर्ट नहीं है. रेफरल अस्पताल की लैब को अभी तक न तो सेनेटाइज किया गया है और न ही सील. हालांकि, टेक्नीशियन के पॉजिटिव पाए जाने के बाद आनन-फानन में उसे कोविड-19 हॉस्पिटल चतरा में भर्ती जरूर करा दिया गया है, लेकिन लैब और अस्पताल को सील नहीं करने के कारण इलाज के लिए पहुंचने वाले लोगों में दहशत का माहौल है.

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ऐसे में स्थानीय लोगों ने जिला प्रशासन से मामले में हस्तक्षेप करते हुए अस्पताल को अविलंब सेनेटाइज कर कोरोना सैंपल कलेक्शन सेंटर को सील कराने की मांग की है. स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर समय रहते संक्रमण के रोकथाम के लिए वैकल्पिक व्यवस्था नहीं किया गया और अस्पताल परिसर में ही मामूली मौसमी बीमारियों का उपचार कराने पहुंचने वाले लोगों के स्वास्थ्य जांच की अलग से व्यवस्था नहीं हुई तो कोरोना संक्रमण का खतरा निरंतर बना रहेगा. लोग मामूली बीमारी का उपचार कराने अस्पताल पहुंचेंगे और कोरोना लेकर घर लौटेंगे. जिस लैब टेक्नीशियन में कोरोना वायरस के लक्षण पाए गए हैं वह अस्पताल के चिकित्सकों और अन्य कई स्वास्थ्यकर्मियों के संपर्क में भी था. बावजूद अब तक किसी भी स्वास्थ्यकर्मी और चिकित्सक का न तो सैंपल लिया गया है और न ही उन्हें क्वॉरेंटाइन किया गया है. ऐसे में संक्रमण के तेजी से पांव पसारने की संभावना प्रबल है.

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