बोकारोः जिले में माओवादियों ने एक बार फिर अपनी उपस्थिति दर्ज करायी है. ललपनिया थाना क्षेत्र के बाजार में माओवादियों ने पोस्टरबाजी कर दहशत फैलाने का काम किया है. वहीं पोस्टरबाजी की घटना के बाद क्षेत्र के लोग सहमे हुए हैं. मंगलवार की सुबह स्थानीय लोगों ने बाजार में पोस्टर लगा देख कर पुलिस को मामले की सूचना दी. सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची पोस्टर को जब्त कर लिया है.
पुलिस नक्सलियों की गिरफ्तारी के लिए चला रही अभियानः क्षेत्र के लोग बाजार में पोस्टरबाजी की घटना को एक बार फिर नक्सलियों की धमक के रूप में देख रहे हैं. बोकारो के एसपी प्रियदर्शी आलोक ने पोस्टरबाजी की घटना की पुष्टि करते हुए कहा कि पुलिस नक्सलियों की गिरफ्तारी के लिए सघन अभियान चला रही है. एसपी के अनुसार क्षेत्र में लगातार एलआरपी की जा रही है. नक्सलियों की गतिविधियां काफी कम हो गई हैं, लेकिन नक्सलियों ने फिर से दहशत फैलाने और अपनी उपस्थिति दर्ज करने के लिए पोस्टरबाजी की है.
माओवादियों ने पोस्टरबाजी कर अपनी उपस्थिति दर्ज करायीः बताते चलें कि भाकपा माओवादियों का बोकारो जिले में लगभग सफाया हो गया है. 15 लाख के इनामी माओवादी मिथिलेश सिंह उर्फ दुर्योधन महतो के जनवरी में आत्मसमर्पण के बाद पुलिस मान रही थी कि बोकारो जिला को नक्सल मुक्त कर लिया गया है. वहीं माओवादियों द्वारा की गई पोस्टरबाजी की घटना को माओवादियों की गिरती शाख को फिर से जिंदा करने का प्रयास के रूप में देखा जा रहा है.
पुलिस ने माओवादियों के पोस्टर को किया जब्तः इस संबंध में बेरमो डीएसपी वशिष्ठ नारायण सिंह ने बताया कि माओवादियों के द्वारा लगाए गए पोस्टर को पुलिस ने जब्त कर लिया है. पुलिस मामले की जांच कर रही है. ज्ञात हो कि है कि नक्सलियों ने कुछ महीने पहले ललपनिया थाना क्षेत्र के केरी गांव में 7 अप्रैल को देर रात लेवी नहीं देने के कारण एक जेसीबी मशीन सहित चार ट्रैक्टरों में आग लगा दी थी. वहीं अय्यर गांव में पाइप बिछाने और पानी टंकी के निर्माण कार्य में नक्सलियों ने ललपनिया के ठेकेदार लीला साव को धमकी देकर काम बंद करने की बात कही थी. ठेकेदार के घर के सामने खड़ी मशीन में नक्सलियों ने आग लगा दी थी.