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युवाओं के जेब से पैसे निकाल रही सरकार, सचिवालय फॉर्म की कीमत को करें कम: बाबूलाल मरांडी - residential certificate

झारखंड में सचिवालय में स्टाफ सिलेक्शन के लिए निकाले गए फॉर्म की कीमत पर बाबूलाल मरांडी ने रघुवर सरकार पर हमला किया है. जेवीएम सुप्रीमो बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सरकार युवाओं के जेब से पैसे निकाल रही है. सरकार को युवाओं की समस्या नहीं दिख रही है.

बाबूलाल मरांडी
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Published : Sep 23, 2019, 8:07 PM IST

रांची: झारखंड विकास मोर्चा सुप्रीमो बाबूलाल मरांडी ने प्रदेश के बेरोजगार युवाओं का मामला उठाते हुए रघुवर सरकार पर निशाना साधा है. सोमवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में उन्होंने कहा कि सचिवालय के लिए स्टाफ सिलेक्शन कमीशन की ओर से जो फॉर्म निकाले गए हैं. उसकी फीस 1,000 रुपए रखी गई है, जबकि इतना फीस नहीं होना चाहिए.

देखिए पूरी खबर

सरकार को युवाओं की समस्या नहीं दिखती
बाबूलाल मरांडी ने कहा है कि रघुवर सरकार को राज्य के बेरोजगार युवाओं की समस्या नहीं दिखाई दे रही है. ऐसा लगता है कि उन्हें यहां के युवाओं की स्थिति का पता नहीं है. वहीं उन्होंने कहा है कि किसी भी कंपटीशन में बैठने के लिए जातिय और आवासीय प्रमाण पत्र मांगा जाता है. जिससे यहां के छात्र-छात्राओं को काफी परेशानी होती है. ऐसे में उन्होंने सरकार से निवेदन किया है कि इन प्रमाण पत्रों की आवश्यकता को समाप्त किया जाए और जब कंपटीशन में सलेक्शन हो जाए उसके बाद इन प्रमाणपत्रों की मांग की जाए.

मॉब लिंचिंग के लिए रघुवर सरकार जिम्मेदार
वहीं, उन्होंने खूंटी में हुए मॉब लिंचिंग की घटना को लेकर सीधे तौर पर रघुवर सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा है कि सरकार ऐसी घटनाओं को शह दे रही है. अगर सरकार कठोर कदम उठाए तो मॉब लिंचिंग की घटनाएं नहीं होती. उन्होंने कहा कि देश में झारखंड मॉब लिंचिंग की घटना में सबसे आगे हैं और अगर सरकार अभी नहीं चेतती है तो यह समस्या बरकरार रहेगी.

बाबूलाल मरांडी ने एक बार फिर एचईसी की जमीन के मामले पर सरकार को कटघरे में खड़ा किया है. उन्होंने कहा है कि यह जमीन जिस काम के लिए लिया गया था अगर वह काम नहीं हुआ तो उसे रैयतों को वापस किया जाना चाहिए था, लेकिन सरकार द्वारा फ्रॉड किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि इससे बड़ी विडंबना और क्या हो सकती है. जब सरकार खुद अपने कानूनों का उल्लंघन कर रही हो और दूसरों से कानून पालन का करवाना चाहती है.

ये भी पढ़ें: झारखंड में फिर मॉब लिंचिंग, प्रतिबंधित मांस बेचने के आरोप में युवक की पीट-पीटकर हत्या

किसानों के मामले में फ्रॉड गिरी कर रही सरकार
जेवीएम सुप्रीमो ने कहा कि सरकार ने किसानों के मामले में भी फ्रॉड गिरी की है. उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा दूसरों के खिलाफ बोला जाता है, जबकि उन्हें पहले अपने गिरेबान में झांकना चाहिए. वहीं उन्होंने पार्टी के द्वारा निर्धारित 25 सितंबर के जनादेश समागम को लेकर कहा है कि राज्य के हर बूथ से लोग इस समागम में शामिल होंगे और यह ऐतिहासिक समागम होगा. उन्होंने कहा कि जनादेश समागम की तैयारियां पूरी कर ली गई है और ठीक चुनाव से पहले यह समागम हो रहा है. ऐसे में प्रभात तारा मैदान से पार्टी चुनाव का शंखनाद करेंगे.

रांची: झारखंड विकास मोर्चा सुप्रीमो बाबूलाल मरांडी ने प्रदेश के बेरोजगार युवाओं का मामला उठाते हुए रघुवर सरकार पर निशाना साधा है. सोमवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में उन्होंने कहा कि सचिवालय के लिए स्टाफ सिलेक्शन कमीशन की ओर से जो फॉर्म निकाले गए हैं. उसकी फीस 1,000 रुपए रखी गई है, जबकि इतना फीस नहीं होना चाहिए.

देखिए पूरी खबर

सरकार को युवाओं की समस्या नहीं दिखती
बाबूलाल मरांडी ने कहा है कि रघुवर सरकार को राज्य के बेरोजगार युवाओं की समस्या नहीं दिखाई दे रही है. ऐसा लगता है कि उन्हें यहां के युवाओं की स्थिति का पता नहीं है. वहीं उन्होंने कहा है कि किसी भी कंपटीशन में बैठने के लिए जातिय और आवासीय प्रमाण पत्र मांगा जाता है. जिससे यहां के छात्र-छात्राओं को काफी परेशानी होती है. ऐसे में उन्होंने सरकार से निवेदन किया है कि इन प्रमाण पत्रों की आवश्यकता को समाप्त किया जाए और जब कंपटीशन में सलेक्शन हो जाए उसके बाद इन प्रमाणपत्रों की मांग की जाए.

मॉब लिंचिंग के लिए रघुवर सरकार जिम्मेदार
वहीं, उन्होंने खूंटी में हुए मॉब लिंचिंग की घटना को लेकर सीधे तौर पर रघुवर सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा है कि सरकार ऐसी घटनाओं को शह दे रही है. अगर सरकार कठोर कदम उठाए तो मॉब लिंचिंग की घटनाएं नहीं होती. उन्होंने कहा कि देश में झारखंड मॉब लिंचिंग की घटना में सबसे आगे हैं और अगर सरकार अभी नहीं चेतती है तो यह समस्या बरकरार रहेगी.

बाबूलाल मरांडी ने एक बार फिर एचईसी की जमीन के मामले पर सरकार को कटघरे में खड़ा किया है. उन्होंने कहा है कि यह जमीन जिस काम के लिए लिया गया था अगर वह काम नहीं हुआ तो उसे रैयतों को वापस किया जाना चाहिए था, लेकिन सरकार द्वारा फ्रॉड किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि इससे बड़ी विडंबना और क्या हो सकती है. जब सरकार खुद अपने कानूनों का उल्लंघन कर रही हो और दूसरों से कानून पालन का करवाना चाहती है.

ये भी पढ़ें: झारखंड में फिर मॉब लिंचिंग, प्रतिबंधित मांस बेचने के आरोप में युवक की पीट-पीटकर हत्या

किसानों के मामले में फ्रॉड गिरी कर रही सरकार
जेवीएम सुप्रीमो ने कहा कि सरकार ने किसानों के मामले में भी फ्रॉड गिरी की है. उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा दूसरों के खिलाफ बोला जाता है, जबकि उन्हें पहले अपने गिरेबान में झांकना चाहिए. वहीं उन्होंने पार्टी के द्वारा निर्धारित 25 सितंबर के जनादेश समागम को लेकर कहा है कि राज्य के हर बूथ से लोग इस समागम में शामिल होंगे और यह ऐतिहासिक समागम होगा. उन्होंने कहा कि जनादेश समागम की तैयारियां पूरी कर ली गई है और ठीक चुनाव से पहले यह समागम हो रहा है. ऐसे में प्रभात तारा मैदान से पार्टी चुनाव का शंखनाद करेंगे.

Intro:रांची.झारखंड विकास मोर्चा सुप्रीमो बाबूलाल मरांडी ने प्रदेश के बेरोजगार युवाओं का मामला उठाते हुए सोमवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा है कि सचिवालय के लिए स्टाफ सिलेक्शन कमीशन की ओर से जो फॉर्म निकाले गए हैं।उसकी फीस 1000 रुपये रखी गई है। जबकि इतना फीस नहीं होना चाहिए। उन्होंने सरकार से मांग की है कि इस फीस को कम किया जाए।


Body:उन्होंने कहा है कि रघुवर सरकार को राज्य के बेरोजगार युवाओं की समस्या नहीं दिखाई दे रही है।ऐसा लगता है कि उन्हें यहां कि युवाओं की स्थिति का पता नहीं है। वहीं उन्होंने कहा है कि किसी भी कंपटीशन में बैठने के लिए जातिय और आवासीय प्रमाण पत्र मांगा जाता है। जिससे यहां के छात्र छात्राओं को काफी परेशानी होती है। ऐसे में उन्होंने सरकार से निवेदन किया है कि इन प्रमाण पत्रों की आवश्यकता को समाप्त किया जाए और जब कंपटीशन में सलेक्शन हो जाए। उसके बाद इन प्रमाणपत्रों की मांग की जाए।

वहीं उन्होंने खूंटी में हुए मॉब लिंचिंग की घटना को लेकर सीधे तौर पर रघुवर सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा है कि सरकार ऐसी घटनाओं को शह दे रही है। अगर सरकार द्वारा कठोर कदम उठाए जाते तो मॉब लिंचिंग की घटनाएं नहीं होती। उन्होंने कहा कि देश में झारखंड मॉब लिंचिंग की घटना में सबसे आगे हैं और अगर सरकार अभी नहीं चेतती है तो यह समस्या बरकरार रहेगी।


वहीं उन्होंने एक बार फिर एचईसी की जमीन के मामले पर सरकार को कटघरे में खड़ा किया है। उन्होंने कहा है कि यह जमीन जिस काम के लिए लिया गया था। अगर वह काम नहीं हुआ तो ।उसे रैयतों को वापस किया जाना चाहिए था। लेकिन सरकार द्वारा फ्रॉड किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इससे बड़ी विडंबना और क्या हो सकती है। जब सरकार खुद अपने कानूनों का उल्लंघन कर रहा हो और दूसरों से कानून पालन का करवाना चाहती है।उन्होंने कहा कि सरकार ने किसानों के मामले में भी फ्रॉड गिरी की है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा दूसरों के खिलाफ बोला जाता है। जबकि उन्हें पहले अपने गिरेबान में झांकना चाहिए।




Conclusion:वहीं उन्होंने पार्टी के द्वारा निर्धारित 25 सितंबर के जनादेश समागम को लेकर कहा है कि राज्य के हर बूथ से लोग इस समागम में शामिल होंगे और यह ऐतेहासिक समागम होगा। उन्होंने कहा कि जनादेश समागम की तैयारियां पूरी कर ली गई है और ठीक चुनाव से पहले यह समागम हो रहा है।ऐसे में प्रभात तारा मैदान से पार्टी चुनाव का शंखनाद करेंगे।
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