रांची: बाबूलाल मरांडी को नेता प्रतिपक्ष की मान्यता नहीं देने को लेकर भारतीय जनता पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल ने मंगलवार को विधानसभा अध्यक्ष रविंद्र महतो से उनके आवास पर मुलाकात की. मुलाकात करने के बाद नवनिर्वाचित राज्यसभा सांसद दीपक प्रकाश ने कहा कि लोकतंत्र में सत्ता पक्ष के साथ-साथ विपक्ष की भी बहुत बड़ी भूमिका होती है. विधानसभा के अंदर विपक्ष के नेता एक अहम भूमिका में होते हैं, इसीलिए विधानसभा अध्यक्ष से हमने मांग की है कि जल्द से जल्द बाबूलाल मरांडी को नेता प्रतिपक्ष के रूप में मान्यता दी जाए, ताकि सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से चल सके.
वहीं उन्होंने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष से भी आश्वासन मिला है कि नेता प्रतिपक्ष के मामले पर जल्द से जल्द निर्णय लिया जाएगा. दीपक प्रकाश ने कहा कि अगर जल्द से जल्द इस पर निर्णय नहीं लिया जाता है तो भारतीय जनता पार्टी सड़क पर उतरने में भी देर नहीं करेगी. वहीं राज्य के पूर्व मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता सीपी सिंह ने विधानसभा अध्यक्ष को बाबूलाल मरांडी को नेता प्रतिपक्ष का मान्यता देने का ज्ञापन सौंपा.
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सीपी सिंह ने कहा कि काफी समय हो गए हैं और नेता प्रतिपक्ष के नहीं रहने से कई तरह के संवैधानिक पद खाली पड़े हैं. जैसे सूचना आयोग में सूचना आयुक्त के पद बिना नेता प्रतिपक्ष के चयन नहीं हो सकता. इसी प्रकार कई तरह के कार्य राज्य में नेता प्रतिपक्ष के नहीं रहने के कारण फंसे हुए हैं. इसीलिए जनहित को देखते हुए भारतीय जनता पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल विधानसभा अध्यक्ष रविंद्र महतो से मुलाकात कर जल्द से जल्द बाबूलाल मरांडी को नेता प्रतिपक्ष की मान्यता देने की बात कही है.
वहीं उन्होंने सत्ता पक्ष पर तंज कसते हुए कहा कि बाबूलाल मरांडी को नेता प्रतिपक्ष की मान्यता देने में विलंब करने को लेकर ऐसा प्रतीत हो रहा है कि कहीं ना कहीं संविधान के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है. वहीं बीजेपी नेताओं ने कहा कि चुनाव आयोग भारत सरकार ने बाबूलाल मरांडी को विधि सहमत भारतीय जनता पार्टी का सदस्य मान लिया है. उसके बावजूद भी सत्ता पक्ष के लोगों का विरोध अनावश्यक है. आपको बता दें कि लगभग चुनाव के कई महीने बीत जाने के बाद भी विधानसभा अध्यक्ष ने विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष का चुनाव नहीं किया है जिसको लेकर बीजेपी नेता, कार्यकर्ता अपना विरोध जता रहे हैं.