रांची: कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए सूबे के मुखिया हेमंत सोरेन लगातार अपनी निगरानी बनाए हुए हैं. इसी के मद्देनजर रविवार को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने रिम्स में बने ट्रॉमा सेंटर का निरीक्षण किया. मुख्यमंत्री ने निरीक्षण करने के बाद आश्वस्त किया कि हमारा स्वास्थ्य विभाग कोरोना वायरस के संक्रमण से लड़ने के लिए पूर्णरूपेण तैयार है.
रिम्स में 180 लोगों की हो सकती है जांच
बता दें कि रिम्स में 100 बेड का आइसोलेशन वार्ड बनाया गया है, जिसमें हर तरह की संसाधन उपलब्ध कराई गई है. ताकि अगर विपरीत परिस्थिति में भी कोई संक्रमित व्यक्ति राज्य में मिलता है तो उसका त्वरित इलाज किया जा सके. वहीं उन्होंने बताया कि फिलहाल झारखंड के रिम्स में 180 लोगों की जांच की जा सकती है. लेकिन जल्द से जल्द कोरोना के जांच को लेकर और भी सेंटर खुलवाए जाएंगे ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों की जांच होसके. वहीं लॉकडाउन होने के बाद झारखंड से बाहर जा रहे मजदूरों से मुख्यमंत्री ने अपील करते हुए कहा कि कोरोना के संक्रमण से बचाव और इसकी रोकथाम के लिए लॉकडाउन का पूर्णरूपेण पालन करें. वहीं उन्होंने कहा कि अगर पूरे राज्य में कहीं भी लोगों को रहने में परेशानी हो रही है या लोग उन्हें भगाने का काम कर रहे हैं तो वैसे लोगों पर निश्चित रूप से कार्रवाई की जाएगी.
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14 वेंटिलेटर कोरोना के मरीजों के इलाज के लिए तैयार
मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि लोगों को आश्वस्त करते हुए कहा कि जो भी बाहर के मजदूर फंसे हुए हैं. उन्हें खाने-पीने और उनकी हर सुविधा का ख्याल जिला प्रशासन की तरफ से रखा गया है. संकट की इस घड़ी में राज्य सरकार लोगों की मदद करने के लिए मुस्तैद है. वहीं मौके पर रिम्स के निदेशक डॉ डीके सिंह ने कहा कि अगर विपरीत स्थिति होती है तो रिम्स में कुल 1600 बेड हैं, जिसमें 600 बेड विपरीत परिस्थिति में कोरोना के लिए दिया जा सकता है. वहीं उन्होंने कहा कि फिलहाल रिम्स में 14 वेंटिलेटर कोरोना के मरीजों के इलाज के लिए तैयार हैं और कुछ वेंटिलेटर को जल्द ही तैयार कर लिया जायेगा. गौरतलब है अब तक झारखंड में कोरोना का एक भी पॉजिटिव मरीज नहीं पाया गया है, लेकिन इस जानलेवा वायरस के संक्रमण को देखते हुए झारखंड सरकार ने एहतियात के तौर पर पूरी तरह से कमर कस ली है.