जमशेदपुर: केंद्र सरकार ने पिछले साल आम बजट के दौरान झारखंड में कई रेल परियोजनाओं को मंजूरी दी थी. इन्हीं में एक है नामकुम-कांड्रा (रांची-टाटा) रेल लाइन परियोजना. इसे पूरा करने के लिए दक्षिण पूर्व रेलवे ने रेल मंत्रालय को अनुमानित बजट भेज दिया है.
कांड्रा-नामकुम रेल मार्ग की प्रस्तावित दूरी 106 किमी
दक्षिण पूर्व रेलवे की ओर से भेजे गए प्रस्ताव में कांड्रा-नामकुम रेल मार्ग के बीच की दूरी लगभग 106 किलोमीटर होगी. इन दोनों स्टेशनों के बीच रेलवे लाइन बिछाने में करीब 2 हजार 850 करोड़ रुपए खर्च होने की उम्मीद है. इस राशि की स्वीकृत के लिए दक्षिण पूर्व रेलवे ने प्रस्ताव रेल मंत्रालय को भेज दिया है. राशि स्वीकृत होने के बाद इस रेल लाइन के लिए टेंडर निकाला जाएगा. जिसके बाद रेल लाइन बनने की प्रक्रिया भी शुरू हो जाएगी.
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कांड्रा-नामकुम रेल लाइन के बीच होगें 6 स्टेशन
नामकुम-कांड्रा (रांची-टाटा) रेल लाइन की बीच की दूरी 106 किलोमीटर होगी. जबकि इन दोनों स्टेशनों के बीच कुल 6 स्टेशन प्रस्तावित हैं. जिनमें पलगम, रांगामाटी, तमाड़, बुंडू, उलिदा, और हडाप में शामिल हैं. इन सभी जगहों पर 2-2 हाई लेबल प्लेटफार्म होंगे. जबकि सभी प्रस्तावित स्टेशनों पर फुट ओवरब्रिज भी बनाए जाएंगे. वहीं, इन सभी 6 स्टेशनों में के बीच तमाड़ सबसे बड़ा रेलवे स्टेशन होगा, क्योंकि यहां पर एक मेन लाइन के अलावा 4 लूप लाइन होंगी. इसके अलावा सभी स्टेशनों में एक मेन लाइन और एक लूप लाइन होंगे.
रांची-टाटा के बीच रेलमार्ग के लिए कई बार हुए हैं सर्वे
रांची और टाटा के बीच पिछले 2 दशकों से रेलमार्ग बनाने की तैयारी चल रही थी. जिसके लिए कई बार रेलवे द्वारा सर्वे भी कराया गया था. इस दौरान इन दोनों शहरों के बीच बिछने वाली रेल लाइन के लिए प्राक्कलन राशि बढ़ती गई. 2004 से 2011 तक 3 बार सर्वे हुआ और प्राक्कलन राशि तय की गई. जो 2004-05 के सर्वे में बढ़कर 3.25 सौ करोड़, 2006-07 में 568 करोड़ और 2010-11 में बढ़कर 766 करोड़ रुपये हो गई. इसके बाद 2018-19 में यह राशि 1060 करोड़ की हो गई. इसी तरह अब 2019-20 के सर्वे में यह राशि बढ़कर 2850 करोड़ हो गई है. जिसकी मंजूरी दिलाने के लिए दक्षिण पूर्व रेलवे ने केंद्र सरकार को भेज दिया है.
रांची से टाटा की दूरी मात्र 2 घंटे में होगी पूरी
टाटा से रांची जाने के लिए लोगों को चांडिल-मुरी रेल मार्ग से अभी 167 किलोमीटर की दूरी तय करना पड़ता है. जबकि चांडिल-पुरुलिया-मुरी होकर 213 किलोमीटर की दूरी तय कर रांची पहुंचते हैं, इन रूट से अभी कम से कम 5 घंटे का समय लगता है. जबकि सड़क मार्ग से टाटा-रांची की दूरी 135 किलोमीटर है. जिसे तय करने के लिए कम से कम 3 घंटे लगते हैं. लेकिन कांड्रा-नामकुम रेल मार्ग बनने से यह दूरी मात्र 2 घंटे में तय कर लिया जाएंगा.
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वहीं, इस सबंध में दक्षिण पूर्व रेलवे के सीनियर सीपीआरओ संजय घोष ने बताया कि एसई रेलवे के की ओर से कांड्रा-नामकुम रेलखंड के लिए राशि स्वीकृत के लिए रेल मंत्रालय को प्रस्ताव भेज दिया गया है. वहीं, सासंद विद्युत वरण महतो ने इस मामले में कहा कि कांड्रा-नामकुम रेल लाइन का काम जल्द ही शुरू होने वाला है. इसके लिए प्रास्तावित राशि भी स्वीकृत हो गई है. जल्द ही टेंडर प्रक्रिया कराई जाएगी और इस मार्ग पर काम प्रारंभ कर दिया जाएगा.