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घर लौटे मजदूरों के चेहरे में दिखी खुशी, थर्मल स्क्रीनिंग के बाद भेजे गए क्वॉरेंटाइन सेंटर - Migrant laborers returned Giridih

कोरोना महामारी से बचाव को लेकर देश में हुए लॉकडाउन के दौरान दूसरे राज्य में फंसे प्रवासी मजदूर को लगातार उनके घर लाया जा रहा है. इस क्रम में प्रखंड के 19 प्रवासी मजदूर डुमरी पहुंचे. सभी मजदूरों का डुमरी रेफरल अस्पताल में थर्मल स्क्रीनिंग कर क्वॉरेंटाइन सेंटर भेज दिया गया.

Migrant laborers returned Giridih
गिरिडीह लौटे प्रवासी मजदूर
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Published : May 7, 2020, 7:18 PM IST

गिरिडीहः मजदूर स्पेशल ट्रेन से धनबाद स्टेशन में उतरे इसके बाद उन्हें गिरिडीह जिला प्रशासन ने उपलब्ध कराए गए बसों से डुमरी लाया गया. डुमरी पहुंचे प्रवासी मजदूरों में एक महिला और एक 8 वर्षीय बच्चा भी है. ये मजदूर गुजरात के सूरत में लॉकडाउन के कारण फंसे थे.

देखें पूरी खबर

डुमरी बीडीओ सोमनाथ बंकिरा ने प्रखंड के सभी मजदूरों को रिसीव किया फिर उन्हें डुमरी रेफरल अस्पताल में थर्मल स्क्रीनिंग के लिए लाया गया. थर्मल स्क्रीनिंग में सभी मजदूर का स्वास्थ्य सामान्य पाया गया. इसके बाद सभी मजदूरों को कस्तुरबा बालिका विद्यालय में बने क्वॉरेंटाइन सेंटर में 14 दिनों के लिए क्वॉरेंटाइन में भेज दिया गया.

ये भी पढ़ें-विशाखापट्टनम गैस लीक पर झारखंड के नेताओं ने क्या कहा

सूरत से डुमरी पहुंचे मजदूरों के चहरे में खुशी साफ झलक रही थी. करीब 40 दिन से लॉकडाउन में फंसे रहने के बाद अपने घर लौटने पर मजदूरों ने राहत की सांस ली है. मजदूरों ने कहा कि हमलोग घर पहुंच गए हैं हम अपनी खुशी जाहिर नहीं कर सकते. बता दें कि डुमरी पहुंचने वाले प्रवासी मजदूरों में जरीडीह पंचायत के गुरहा निवासी हरि सिंह, नागाबाद पंचायत के भंडारो निवासी रिता कुमारी, नंदकिशोर बर्मा, विकास कुमार, अजित कुमार बर्मा, रोहित कुमार बर्मा, नावासार के आशीष बर्मा, राजेश कुमार बर्मा, खुदीसार पंचायत के खुटरगुरहो निवासी सोहन कुमार यादव, नागाबाद पंचायत के नईटांड़ निवासी विवेक कुमार, जितेन्द्र कुमार कोल्ह, ससारखो पंचायत के प्रधानडीह निवासी राजेश पंडित, बहादूर महतो, राजेश महतो, जितेन्द्र कुमार बर्मा, तेजो महतो, योगेन्द्र कुमार, ससारखो के विरेन्द्र कुमार बर्मा और बालुटुंडा पंचायत के असनासिंघा निवासी गिरधारी पंडित शामिल हैं.

गिरिडीहः मजदूर स्पेशल ट्रेन से धनबाद स्टेशन में उतरे इसके बाद उन्हें गिरिडीह जिला प्रशासन ने उपलब्ध कराए गए बसों से डुमरी लाया गया. डुमरी पहुंचे प्रवासी मजदूरों में एक महिला और एक 8 वर्षीय बच्चा भी है. ये मजदूर गुजरात के सूरत में लॉकडाउन के कारण फंसे थे.

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डुमरी बीडीओ सोमनाथ बंकिरा ने प्रखंड के सभी मजदूरों को रिसीव किया फिर उन्हें डुमरी रेफरल अस्पताल में थर्मल स्क्रीनिंग के लिए लाया गया. थर्मल स्क्रीनिंग में सभी मजदूर का स्वास्थ्य सामान्य पाया गया. इसके बाद सभी मजदूरों को कस्तुरबा बालिका विद्यालय में बने क्वॉरेंटाइन सेंटर में 14 दिनों के लिए क्वॉरेंटाइन में भेज दिया गया.

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सूरत से डुमरी पहुंचे मजदूरों के चहरे में खुशी साफ झलक रही थी. करीब 40 दिन से लॉकडाउन में फंसे रहने के बाद अपने घर लौटने पर मजदूरों ने राहत की सांस ली है. मजदूरों ने कहा कि हमलोग घर पहुंच गए हैं हम अपनी खुशी जाहिर नहीं कर सकते. बता दें कि डुमरी पहुंचने वाले प्रवासी मजदूरों में जरीडीह पंचायत के गुरहा निवासी हरि सिंह, नागाबाद पंचायत के भंडारो निवासी रिता कुमारी, नंदकिशोर बर्मा, विकास कुमार, अजित कुमार बर्मा, रोहित कुमार बर्मा, नावासार के आशीष बर्मा, राजेश कुमार बर्मा, खुदीसार पंचायत के खुटरगुरहो निवासी सोहन कुमार यादव, नागाबाद पंचायत के नईटांड़ निवासी विवेक कुमार, जितेन्द्र कुमार कोल्ह, ससारखो पंचायत के प्रधानडीह निवासी राजेश पंडित, बहादूर महतो, राजेश महतो, जितेन्द्र कुमार बर्मा, तेजो महतो, योगेन्द्र कुमार, ससारखो के विरेन्द्र कुमार बर्मा और बालुटुंडा पंचायत के असनासिंघा निवासी गिरधारी पंडित शामिल हैं.

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