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15 साल से अधूरे पड़े हैं 3 कॉलेजों के भवन, अब निर्माण को लेकर प्रबंधन सख्त

3 जिला देवघर, दुमका और गोड्डा के तीन महाविद्यालय में 15 सालों से तीन भवन का निर्माण अधूरा पड़ा है. सालों से अपूर्ण पड़े इन भवनों का निर्माण छात्रों की सहूलियत के लिए किया गया था. अब इस मामले पर विश्वविद्यालय प्रबंधन गंभीर है और भवन निर्माण को लेकर कमेटी बनाई गई है.

अधूरे पड़े कॉलेजों के भवन
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Published : Jul 15, 2019, 1:13 PM IST

दुमका: सिद्धो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के अंतर्गत संथाल परगना के 3 जिले देवघर, दुमका और गोड्डा के तीन महाविद्यालय में 15 सालों से तीन भवन का निर्माण अधूरा पड़ा है. इन भवनों का उद्देश्य बिना कॉलेज के क्लासेस बाधित किए, परीक्षा, सेमिनार या फिर अन्य सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन करना था, लेकिन यह उद्देश्य आज तक अधूरा है.

देखें पूरी खबर

दरअसल, 2002 में इन तीनों महाविद्यालय देवघर कॉलेज देवघर, एसपी कॉलेज दुमका और गोड्डा कॉलेज गोड्डा में एक-एक बहुउद्देशीय भवन बनाने की योजना बनी. प्रति भवन एक करोड़ की लागत से इसका निर्माण कार्य शुरू हुआ, लेकिन बीच में ही काम रुक गया जो आज तक अधूरा है.

ये भी पढ़ें-श्रावणी मेला को लेकर एसपी ने की बैठक, 7 हजार जवान रहेंगे मुस्तैद

क्या कहते हैं छात्र नेता
छात्र-छात्राओं का मानना है कि इस भवन का उद्देश्य काफी उपयोगी है और इसे जल्द पूरा होना चाहिए. छात्र नेता सह सिद्धो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के सिनेट सदस्य गुंजन मरांडी कहते हैं कि इन भवनों का निर्माण जल्द होना चाहिए ताकि स्टूडेंट को सहूलियत हो.

अधूरे भवनों पर विश्वविद्यालय प्रशासन गंभीर
एक दशक से अधिक समय बीत जाने के बावजूद इन भवनों के निर्माण कार्य पूरा नहीं हो जाने पर विश्वविद्यालय प्रशासन गंभीर हुआ है. सिद्धो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ मनोरंजन प्रसाद सिन्हा कहते हैं कि जब यह भवन बन रहा था तो महाविद्यालय प्रशासन ने समय पर उपयोगिता प्रमाण पत्र नहीं भेजी था. इस वजह से इसका पूरा फंड रिलीज नहीं हुआ और यह अधूरा रह गया. वो कहते हैं इसे पूरा करने के लिए कमेटी का गठन हुआ है और जल्द इसका निर्माण कार्य पूरा होगा.

दुमका: सिद्धो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के अंतर्गत संथाल परगना के 3 जिले देवघर, दुमका और गोड्डा के तीन महाविद्यालय में 15 सालों से तीन भवन का निर्माण अधूरा पड़ा है. इन भवनों का उद्देश्य बिना कॉलेज के क्लासेस बाधित किए, परीक्षा, सेमिनार या फिर अन्य सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन करना था, लेकिन यह उद्देश्य आज तक अधूरा है.

देखें पूरी खबर

दरअसल, 2002 में इन तीनों महाविद्यालय देवघर कॉलेज देवघर, एसपी कॉलेज दुमका और गोड्डा कॉलेज गोड्डा में एक-एक बहुउद्देशीय भवन बनाने की योजना बनी. प्रति भवन एक करोड़ की लागत से इसका निर्माण कार्य शुरू हुआ, लेकिन बीच में ही काम रुक गया जो आज तक अधूरा है.

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क्या कहते हैं छात्र नेता
छात्र-छात्राओं का मानना है कि इस भवन का उद्देश्य काफी उपयोगी है और इसे जल्द पूरा होना चाहिए. छात्र नेता सह सिद्धो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के सिनेट सदस्य गुंजन मरांडी कहते हैं कि इन भवनों का निर्माण जल्द होना चाहिए ताकि स्टूडेंट को सहूलियत हो.

अधूरे भवनों पर विश्वविद्यालय प्रशासन गंभीर
एक दशक से अधिक समय बीत जाने के बावजूद इन भवनों के निर्माण कार्य पूरा नहीं हो जाने पर विश्वविद्यालय प्रशासन गंभीर हुआ है. सिद्धो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ मनोरंजन प्रसाद सिन्हा कहते हैं कि जब यह भवन बन रहा था तो महाविद्यालय प्रशासन ने समय पर उपयोगिता प्रमाण पत्र नहीं भेजी था. इस वजह से इसका पूरा फंड रिलीज नहीं हुआ और यह अधूरा रह गया. वो कहते हैं इसे पूरा करने के लिए कमेटी का गठन हुआ है और जल्द इसका निर्माण कार्य पूरा होगा.

Intro:दुमका - सिदो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के अंतर्गत संथालपरगना के 3 जिले देवघर, दुमका और गोड्डा के तीन महाविद्यालय में 15 वर्षों से तीन भवन अधूरा का निर्माण कार्य अधूरा है । दरअसल 2002 में इन तीनों महाविद्यालय देवघर कॉलेज देवघर , एसपी कॉलेज दुमका और गोड्डा कॉलेज गोड्डा में एक - एक बहुउद्देशीय भवन बनाने की योजना बनी । प्रति भवन एक करोड़ की लागत से इसका निर्माण कार्य शुरू हुआ लेकिन बीच में ही काम रुक गया जो आज तक अधूरा है । इन भवनों का उद्देश्य बिना कॉलेज के क्लासेस बाधित किए , परीक्षा, सेमिनार या फिर अन्य सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन करना था लेकिन यह उद्देश्य आज तक अधूरा है ।


Body:क्या कहते हैं छात्र नेता ।
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छात्र-छात्राओं का मानना है कि इस भवन का उद्देश्य काफी उपयोगी है और इसे जल्द पूरा होना चाहिए । छात्र नेता सह सिदो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के सिनेट सदस्य गुंजन मरांडी कहते हैं कि इन भवनों का निर्माण जल्द होना चाहिए ताकि स्टूडेंट को सहूलियत हो ।
बाईट - गुंजन मराण्डी , छात्र नेता सह सीनेट सदस्य , एसकेएम यूनिवर्सिटी।


Conclusion:अधूरे भवनों पर विश्वविद्यालय प्रशासन गंभीर ।
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एक दशक से अधिक समय बीत जाने के बावजूद इन भवनों के निर्माण कार्य पूरा नहीं हो जाने पर विश्वविद्यालय प्रशासन गंभीर हुआ है । सिदो कान्हू मुर्मू विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ मनोरंजन प्रसाद सिन्हा कहते हैं कि जब यह भवन बन रहा था तो महाविद्यालय प्रशासन ने समय पर उपयोगिता प्रमाण पत्र नहीं भेजी था इस वजह से इसका पूरा फंड रिलीज नहीं हुआ और यह अधूरा रह गया । वे कहते हैं इसे पूरा करने के लिए कमेटी का गठन हुआ है और जल्द इसका निर्माण कार्य पूर्ण होगा ।
बाईट - डॉ मनोरंजन प्रसाद सिन्हा , कुलपति एसकेएम यूनिवर्सिटी ।

फाईनल वीओ - अब जब मामला विश्वविद्यालय प्रबंधन के पास है और वह इस पर गंभीरता दिखा रहा है तो आशा की जानी चाहिए कि वर्षों से अपूर्ण इन भवनों का निर्माण पूरा होगा और छात्रों को वह सहूलियत मिलेगी जिस के उद्देश्य या योजना बनी थी ।
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