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कुष्ठ रोगियों को डेढ़ साल बाद मिले आशियाने, पहली बार तैयार किया गया प्रीफैबरीकेटेड ढांचा - ऊना

भूमि पर विभिन्न विभागों के सहयोग से कुष्ठ रोगियों के लिए प्रीफैबरीकेटेड ढांचे से रहने की व्यवस्था की गई. पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने छिन्मस्तिका कुष्ठ आश्रय स्थल का उदघाटन किया. नए घर मिलने पर कुष्ठ रोगियों के चेहरों पर रौनक आ गई है.

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Published : May 28, 2019, 3:19 PM IST

ऊनाः रेलवे की भूमि से अवैध निर्माण हटाए जाने के बाद बेघर हुए कुष्ठ रोगियों को डेढ़ साल बाद आशियाने मिल गए हैं. डेढ़ साल कुष्ठ रोगी गर्मी, सर्दी और बरसात में खुले आसमान के नीचे समय गुजारने को विवश थे, लेकिन जिला प्रशासन ने पहल करते हुए कुष्ठ रोगियों के लिए करीब 20 परिवारों को बसाने के लिए तीन कनाल भूमि आवंटित की थी.

home for leprosy patients in Una
कुष्ठ रोगियों के नए भवन

इसी भूमि पर विभिन्न विभागों के सहयोग से कुष्ठ रोगियों के लिए प्रीफैबरीकेटेड ढांचे से रहने की व्यवस्था की गई. पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने छिन्मस्तिका कुष्ठ आश्रय स्थल का उदघाटन किया. नए घर मिलने पर कुष्ठ रोगियों के चेहरों पर रौनक आ गई है.

बता दें कि करीब डेढ़ वर्ष पूर्व हाईकोर्ट के आदेशों के बाद रेलवे की भूमि पर बनाए गए अवैध निर्माण को तोड़ा गया था. जिसमें चार मंदिर, एक गौशाला, एक सरकारी स्कूल और एक कुष्ठ आश्रम शामिल थे. अवैध कब्जे हटाए जाने के बाद सबसे ज्यादा नुकसान कुष्ठ आश्रम का ही हुआ था.

इस आश्रम में 20 के करीब परिवार रह रहे थे. जिससे ये सभी परिवार सर्दी और गर्मी में खुले आसमान के नीचे रहने को मजबूर हो गए थे, लेकिन राकेश कुमार प्रजापति द्वारा ऊना में पदभार ग्रहण करने के बाद ही कुष्ठ रोगियों को छत मुहैया करवाने की दिशा में विशेष कदम उठाने शुरू कर दिए थे.

वीडियो

डीसी ऊना राकेश कुमार प्रजापति ने कोटला खुर्द के समीप कुष्ठ आश्रम के लिये भूमि आबंटित की और विभिन्न विभागों के सहयोग से करीव 45 लाख रुपए की लागत से कुष्ठ रोगियों को रहने के लिए 20 कमरे बनाये गए. इसके साथ शौचालयों का भी निर्माण किया गया.

पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने कुष्ठ आश्रम में बनाए गए नए कमरों का उद्घाटन किया और कुष्ठ रोगियों को पेश आने वाली समस्याओं को भी शीघ्र दूर करने का आश्वासन दिया. डीसी उन्नाव राकेश कुमार प्रजापति ने बताया कि जिला में सरकारी स्तर पर पहली बार प्रीफैबरीकेटेड ढांचा बनाया गया है. कुष्ठ आश्रय स्थल के निर्माण के लिए चिंतपूर्णी मंदिर ट्रस्ट के अलावा विभिन्न विभागों ने सहयोग किया है.

home for leprosy patients in Una
कुष्ठ रोगियों के नए भवन

आशियाने मिलने के बाद कुष्ठ रोगियों के चेहरे खिल उठे हैं. कुष्ठ रोगियों ने कहा कि घर टूटने के बाद से वह खुले आसमान के नीचे ही समय बिताने को मजबूर थे, लेकिन अब सरकार और प्रशासन ने उनके लिए आशियाने बनाकर तैयार कर दिए है. जिस पर उन्होंने खुशी जताई है.

पढ़ेंः प्रदेश में जल्द हो सकता है बड़ा प्रशासनिक फेरबदल, दिल्ली से लोटने के बाद CM करेंगे कैबिनेट बैठक

ऊनाः रेलवे की भूमि से अवैध निर्माण हटाए जाने के बाद बेघर हुए कुष्ठ रोगियों को डेढ़ साल बाद आशियाने मिल गए हैं. डेढ़ साल कुष्ठ रोगी गर्मी, सर्दी और बरसात में खुले आसमान के नीचे समय गुजारने को विवश थे, लेकिन जिला प्रशासन ने पहल करते हुए कुष्ठ रोगियों के लिए करीब 20 परिवारों को बसाने के लिए तीन कनाल भूमि आवंटित की थी.

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कुष्ठ रोगियों के नए भवन

इसी भूमि पर विभिन्न विभागों के सहयोग से कुष्ठ रोगियों के लिए प्रीफैबरीकेटेड ढांचे से रहने की व्यवस्था की गई. पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने छिन्मस्तिका कुष्ठ आश्रय स्थल का उदघाटन किया. नए घर मिलने पर कुष्ठ रोगियों के चेहरों पर रौनक आ गई है.

बता दें कि करीब डेढ़ वर्ष पूर्व हाईकोर्ट के आदेशों के बाद रेलवे की भूमि पर बनाए गए अवैध निर्माण को तोड़ा गया था. जिसमें चार मंदिर, एक गौशाला, एक सरकारी स्कूल और एक कुष्ठ आश्रम शामिल थे. अवैध कब्जे हटाए जाने के बाद सबसे ज्यादा नुकसान कुष्ठ आश्रम का ही हुआ था.

इस आश्रम में 20 के करीब परिवार रह रहे थे. जिससे ये सभी परिवार सर्दी और गर्मी में खुले आसमान के नीचे रहने को मजबूर हो गए थे, लेकिन राकेश कुमार प्रजापति द्वारा ऊना में पदभार ग्रहण करने के बाद ही कुष्ठ रोगियों को छत मुहैया करवाने की दिशा में विशेष कदम उठाने शुरू कर दिए थे.

वीडियो

डीसी ऊना राकेश कुमार प्रजापति ने कोटला खुर्द के समीप कुष्ठ आश्रम के लिये भूमि आबंटित की और विभिन्न विभागों के सहयोग से करीव 45 लाख रुपए की लागत से कुष्ठ रोगियों को रहने के लिए 20 कमरे बनाये गए. इसके साथ शौचालयों का भी निर्माण किया गया.

पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने कुष्ठ आश्रम में बनाए गए नए कमरों का उद्घाटन किया और कुष्ठ रोगियों को पेश आने वाली समस्याओं को भी शीघ्र दूर करने का आश्वासन दिया. डीसी उन्नाव राकेश कुमार प्रजापति ने बताया कि जिला में सरकारी स्तर पर पहली बार प्रीफैबरीकेटेड ढांचा बनाया गया है. कुष्ठ आश्रय स्थल के निर्माण के लिए चिंतपूर्णी मंदिर ट्रस्ट के अलावा विभिन्न विभागों ने सहयोग किया है.

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कुष्ठ रोगियों के नए भवन

आशियाने मिलने के बाद कुष्ठ रोगियों के चेहरे खिल उठे हैं. कुष्ठ रोगियों ने कहा कि घर टूटने के बाद से वह खुले आसमान के नीचे ही समय बिताने को मजबूर थे, लेकिन अब सरकार और प्रशासन ने उनके लिए आशियाने बनाकर तैयार कर दिए है. जिस पर उन्होंने खुशी जताई है.

पढ़ेंः प्रदेश में जल्द हो सकता है बड़ा प्रशासनिक फेरबदल, दिल्ली से लोटने के बाद CM करेंगे कैबिनेट बैठक

Intro:ऊना में कुष्ठ रोगियों को डेढ़ साल बाद मिले आशियाने, पंचायती राज मंत्री वीरेंदर कंवर ने किया आशियानों का शुभारंभ, कोटला खुर्द में बनाये गए 20 आशियाने, जिला में पहली बार तैयार किया गया प्री फेवरिकेटीएड ढांचा।


Body:रेलवे की भूमि से अवैध निर्माण हटाए जाने के बाद बेघर हुए कुछ रोगियों को डेढ़ साल बाद आशियाने मिल गए हैं डेढ़ साल कुष्ठ रोगी गर्मी, सर्दी और बरसात में खुले आसमान के नीचे समय गुजारने को विवश थे। लेकिन जिला प्रशासन ने पहल करते हुए कुष्ठ रोगियों के लिए करीव 20 परिवारों को बसाने के लिए तीन कनाल भूमि आबंटित की थी। इसी भूमि पर विभिन्न विभागों के सहयोग से कुष्ठ रोगियों के लिए प्री फेब्रिकेटिड ढांचे से रहने की व्यवस्था की गई। पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने छिन्मस्तिका कुष्ठ आश्रय स्थल का उदघाटन किया। नए घर मिलने पर कुष्ठ रोगियों के चेहरों पर रौनक आ गई।

बता दें कि करीब डेढ़ वर्ष पूर्व हाईकोर्ट के आदेशों के बाद रेलवे की भूमि में बनाए गए अवैध निर्माण को तोड़ा गया था। जिसमें चार मंदिर, एक गौशाला, एक सरकारी स्कूल और एक कुष्ठ आश्रम शामिल थे। अवैध कब्जे हटाए जाने के बाद सबसे ज्यादा नुकसान कुष्ठ आश्रम का ही हुआ था । क्योंकि इस आश्रम में 20 के करीब परिवार रह रहे थे । जिससे ये सभी परिवार सर्दी और गर्मी में खुले आसमान के नीचे रहने को मजबूर हो गए थे। लेकिन राकेश कुमार प्रजापति द्वारा ऊना में पदभार ग्रहण करने के बाद ही कुष्ठ रोगियों को छत मुहैया करवाने की दिशा में विशेष कदम उठाने शुरू कर दिए थे। डीसी ऊना राकेश कुमार प्रजापति ने कोटला खुर्द के समीप कुष्ठ आश्रम के लिये भूमि आबंटित की और विभिन्न विभागों के सहयोग से करीव 45 लाख रुपए की लागत से कुष्ठ रोगियों को रहने के लिए 20 कमरे बनाये गए। इसके साथ शौचालयों का भी निर्माण किया गया।

बाइट-- वीरेंद्र कंवर (पंचायती राज, मंत्री)
KUSTAH AASHRAM-4
वहीं पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने कुष्ठ आश्रम में बनाए गए नए कमरों का उद्घाटन किया और कुष्ठ रोगियों को पेश आने वाली समस्याओं को भी शीघ्र दूर करने का आश्वासन दिया।

बाइट-- राकेश कुमार प्रजापति डीसी, उना

KUSTAH AASHRAM-5

वहीं डीसी उन्नाव राकेश कुमार प्रजापति ने बताया कि जिला में सरकारी स्तर पर पहली बार प्रीफैबरीकेटेड ढांचा बनाया गया है। कुष्ठ आश्रय स्थल के निर्माण के लिए चिंतपूर्णी मंदिर ट्रस्ट के अलावा के विभिन्न विभागों ने सहयोग किया है।

बाइट- - कुष्ठ रोगी

KUSTAH AASHRAM-6,7

वहीं आज आशियाने मिलने के बाद कुष्ठ रोगियों के चेहरे खिल उठे हैं कुष्ठ रोगियों ने कहा कि घर टूटने के बाद से वह खुले आसमान के नीचे ही समय बिताने को मजबूर थे लेकिन अब सरकार और प्रशासन ने उनके लिए आशियाने बनाकर तैयार कर दिए है । जिस पर उन्होंने खुशी जताई है।

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