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कंपनी के खिलाफ कामकारों का हल्ला बोल, गेट के बाहर शुरू की भूख हड़ताल

पांच दिन के बाद भी उद्योग प्रबंधक कोई फैसला नहीं कर रहा है, जिसके चलते कामगार मंगलवार से उद्योग के गेट के बाहर टेंट लगाकर भूख हडताल पर बैठने के लिए मजबूर हो गए हैं.

कंपनी के खिलाफ कामकारों का हल्लाबोल
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Published : Jul 31, 2019, 5:19 PM IST

सोलन: औद्योगिक क्षेत्र बरोटीवाला के झाड़माजरी स्थित एप्टार उद्योग के प्रबंधकों व कामगारों में चल रहा विवाद अब भूख हड़ताल तक पहुंच गया है. उद्योग प्रबंधकों व श्रम विभाग की ओर से पांचवें दिन भी कोई फैसला न आने के कारण अब कामगार भारतीय मजदूर संघ के बैनर तले भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं.

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कर्मचारियों का कहना है कि भूख हड़ताल के बाद भी अगर श्रम विभाग कोई कार्रवाई नहीं करता है तो हड़ताल आमरण अनशन में बदल जाएगी. उन्होंने कहा कि उद्योग मंत्री के गत दिनों हुए बीबीएन दौरे के दौरान वे सभी उनसे मिले और अपनी समस्या से उन्हें अवगत करवाया था. जिस पर उन्होंने श्रम अधिकारियों को जल्द से जल्द समस्या सुलझाने के निर्देश दिए थे.

कामगारों का आरोप है कि वे पिछले कई वर्षों से एप्टार उद्योग में काम कर रहे हैं लेकिन 26 जुलाई को उद्योग प्रबंधकों ने सभी कामगारों को गेट के बाहर कर दिया. पांच दिन के बाद भी उद्योग प्रबंधक कोई फैसला नहीं कर रहा है, जिसके चलते कामगार मंगलवार से उद्योग के गेट के बाहर टेंट लगाकर भूख हडताल पर बैठने के लिए मजबूर हो गए हैं.

भारतीय मजदूर संघ का कहना है कि कामगारों का शोषण कतई बर्दास्त नहीं किया जाएगा. उन्होंने कहा कि भारतीय मजदूर संघ कामगारों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा है.

ये भी पढ़े: मानव तस्करी कर देह व्यापार के धंधे में धकेली जा रही लड़कियां, सुनिए एक पीड़िता की जुबानी

सोलन: औद्योगिक क्षेत्र बरोटीवाला के झाड़माजरी स्थित एप्टार उद्योग के प्रबंधकों व कामगारों में चल रहा विवाद अब भूख हड़ताल तक पहुंच गया है. उद्योग प्रबंधकों व श्रम विभाग की ओर से पांचवें दिन भी कोई फैसला न आने के कारण अब कामगार भारतीय मजदूर संघ के बैनर तले भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं.

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कर्मचारियों का कहना है कि भूख हड़ताल के बाद भी अगर श्रम विभाग कोई कार्रवाई नहीं करता है तो हड़ताल आमरण अनशन में बदल जाएगी. उन्होंने कहा कि उद्योग मंत्री के गत दिनों हुए बीबीएन दौरे के दौरान वे सभी उनसे मिले और अपनी समस्या से उन्हें अवगत करवाया था. जिस पर उन्होंने श्रम अधिकारियों को जल्द से जल्द समस्या सुलझाने के निर्देश दिए थे.

कामगारों का आरोप है कि वे पिछले कई वर्षों से एप्टार उद्योग में काम कर रहे हैं लेकिन 26 जुलाई को उद्योग प्रबंधकों ने सभी कामगारों को गेट के बाहर कर दिया. पांच दिन के बाद भी उद्योग प्रबंधक कोई फैसला नहीं कर रहा है, जिसके चलते कामगार मंगलवार से उद्योग के गेट के बाहर टेंट लगाकर भूख हडताल पर बैठने के लिए मजबूर हो गए हैं.

भारतीय मजदूर संघ का कहना है कि कामगारों का शोषण कतई बर्दास्त नहीं किया जाएगा. उन्होंने कहा कि भारतीय मजदूर संघ कामगारों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा है.

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Intro:एप्टार उद्योग के कामगार बैठे भूख हडताल पर
- उद्योग मंत्री के कहने के बावजूद भी अधिकारियों ने नहीं ली सुध उद्योग प्रबंधन अपनी मनमानी से बाज नहीं आया तो सड़कों पर उतरेगा भामसं:
Body:औद्योगिक क्षेत्र बरोटीवाला के झाड़माजरी स्थित एप्टार उद्योग के प्रबंधकों व कामगारों में चल रहा विवाद अब भूख हडताल तक पहुंच गया है। उद्योग प्रबंधकों व श्रम विभाग की ओर से पांचवें दिन भी कोई फैंसला न आने के कारण अब कामगार भारतीय मजदूर संघ के बैनर तले भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं।
भूख हडताल पर बैठने वाले कामगारों में रीता देवी, मोनिका देवी, मंजुलत्ता, बलङ्क्षवंद्र, राकेश, हनिफ खान व अन्य कर्मचारियों ने कहा कि भूख हडताल के बाद भी अगर श्रम विभाग कोई कार्यवाही नहीं करता है तो भूूख हड़ताल अमरण अनशन मेें बदल दी जाएगी। उन्होंने कहा कि उद्योग मंत्री के गत दिनों हुए बीबीएन दौरे के दौरान स ाी कामगार उनको मिले थे और उनको अपनी समस्या से अवगत करवाया था। जिस पर उन्होंने श्रम अधिकारियों को जल्द फैंसला करवाने के निर्देश दिए थे, मगर लेबर ऑफिसर के पास अपने ऐसी वाले कमरे से बाहर निकलने का समय ही नहीं है।
कामगारों का कहना है कि यह कामगार पिछले कई वर्षों से एप्टार उद्योग में काम कर रहे हैं, लेकिन 26 जुलाई को उद्योग प्रबंधकों ने कामगारों के लिए अचानक गेट बंद कर दिया और सभी कामगारों को गेट के बाहर कर दिया। उपरोक्त कामगारों ने कहा कि उद्योग प्रबंधक पांच दिन के बाद भी कोई फैंसला नहीं कर रहा है, जिसके चलते कामगार मंगलवार से उद्योग के गेट के बाहर टैंट लगाकर भूख हडताल पर बैठने के लिए मजबूर हो गए हंै। उन्होंने कहा कि भूख हडताल के बाद भी कंपनी प्रबंधक नहीं मानता है तो सभी कामगार आमरण अनशन में बैठ जाएंगे, जिसकी जि मेवारी उद्योग के प्रबंधकों की होगी।
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भामसं के राजु भारद्वाज, ने कहा कि कामगारों का शोषण कतई बर्दास्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि भारतीय मजदूर संघ कामगारों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा है। अगर प्रबंधक वर्ग अपने अडियल रवैया से बाहर न आया और कामगारों को वापिस उद्योग में नहीं लिया गया तो भामसं कामगारों के साथ श्रम विभाग व उद्योग प्रबंधकों के खिलाफ सड़कों पर उतरेगा और धरना प्रदर्शन किया जाएगा।Conclusion:
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