ETV Bharat / state

सीपीएस नियुक्ति मामले में हिमाचल सरकार को झटका, सुप्रीम कोर्ट ने खारिज की ट्रांसफर याचिका, अब हाईकोर्ट में ही होगी सुनवाई

Himachal CPS appointment Case: सीपीएस नियुक्ति मामले में सुप्रीम कोर्ट से हिमाचल सरकार को झटका लगा है. सुप्रीम कोर्ट ने मामले में केस ट्रांसफर याचिका खारिज कर दिया. अब मामले की सुनवाई हिमाचल हाईकोर्ट में होगी.

Etv Bharat
Etv Bharat
author img

By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Nov 10, 2023, 7:39 PM IST

शिमला: हिमाचल की कांग्रेस सरकार को सीपीएस नियुक्ति मामले में झटका लगा है. सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार की तरफ से दाखिल की गई ट्रांसफर पिटीशन को खारिज कर दिया है. अब मामले में सुनवाई हिमाचल हाईकोर्ट में जारी रहेगी. वहीं, भाजपा ने इस मामले में प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए राज्य सरकार पर सियासी हमला किया है. नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर व प्रदेश भाजपा अध्यक्ष राजीव बिंदल ने कहा है कि इस मामले में सरकार की चालाकी काम नहीं आई. भाजपा नेताओं ने कहा कि अब समय आ गया है कि कांग्रेस सरकार जनता को इस मामले में जवाब दे.

राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में ट्रांसफर पिटीशन दाखिल कर आग्रह किया था कि अन्य मामलों के साथ ही हिमाचल वाला केस भी सुना जाए. राज्य सरकार व सीपीएस सुंदर सिंह ठाकुर की तरफ से दाखिल की गई पिटिशन को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया. राज्य सरकार व सीपीएस सुंदर सिंह ठाकुर की तरफ से दाखिल की गई याचिकाओं में हिमाचल हाईकोर्ट के समक्ष लंबित दो याचिकाओं को सुप्रीम कोर्ट में स्थानांतरित करने का आग्रह किया गया था. सुप्रीम कोर्ट से याचिका खारिज होने के बाद अब प्रदेश हाईकोर्ट में डिप्टी सीएम और अन्य छह सीपीएस की नियुक्ति को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई 7 दिसंबर को होगी.

उल्लेखनीय है कि भाजपा विधायक सतपाल सिंह सत्ती व अन्य 12 भाजपा विधायकों सहित मंडी की एक महिला ने भी हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर सीपीएस की नियुक्ति को चुनौती दी है. याचिका में कहा गया है कि ये नियुक्तियां असंवैधानिक हैं. याचिका में अर्की विधानसभा क्षेत्र से सीपीएस संजय अवस्थी, कुल्लू से सुंदर सिंह ठाकुर, दून से चौधरी राम कुमार, रोहड़ू से मोहन लाल ब्राक्टा, पालमपुर से आशीष बुटेल और बैजनाथ से किशोरी लाल की नियुक्ति को चुनौती दी गई है. याचिका में डिप्टी सीएम को कैबिनेट मीटिंग में हिस्सा लेने से रोकने के आदेशों की मांग के साथ साथ इसकी एवज में मिलने वाले अतिरिक्त वेतन को वसूलने की मांग भी की गई है.

वहीं, हाईकोर्ट में डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री की तरफ से भी एक आवेदन दाखिल किया गया है. डिप्टी सीएम ने अपने आवेदन में आग्रह किया है कि उनकी नियुक्ति कानून के दायरे में है और उनका नाम मामले से हटाया जाए. हाईकोर्ट के न्यायाधीश न्यायमूर्ति विवेक सिंह ठाकुर व न्यायमूर्ति संदीप शर्मा मामले की सुनवाई कर रहे हैं. इससे पहले खंडपीठ में न्यायमूर्ति संदीप शर्मा की जगह न्यायमूर्ति बिपिन चंद्र नेगी थे. बाद में नई खंडपीठ का गठन किया गया. अब मामले पर सुनवाई 7 दिसंबर को होगी.

ये भी पढ़ें: डीजीपी संजय कुंडू से खतरे की आशंका को लेकर कारोबारी निशांत शर्मा की हाईकोर्ट को मेल, अदालत ने एसपी शिमला व कांगड़ा से मांगी स्टेट्स रिपोर्ट

शिमला: हिमाचल की कांग्रेस सरकार को सीपीएस नियुक्ति मामले में झटका लगा है. सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार की तरफ से दाखिल की गई ट्रांसफर पिटीशन को खारिज कर दिया है. अब मामले में सुनवाई हिमाचल हाईकोर्ट में जारी रहेगी. वहीं, भाजपा ने इस मामले में प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए राज्य सरकार पर सियासी हमला किया है. नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर व प्रदेश भाजपा अध्यक्ष राजीव बिंदल ने कहा है कि इस मामले में सरकार की चालाकी काम नहीं आई. भाजपा नेताओं ने कहा कि अब समय आ गया है कि कांग्रेस सरकार जनता को इस मामले में जवाब दे.

राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में ट्रांसफर पिटीशन दाखिल कर आग्रह किया था कि अन्य मामलों के साथ ही हिमाचल वाला केस भी सुना जाए. राज्य सरकार व सीपीएस सुंदर सिंह ठाकुर की तरफ से दाखिल की गई पिटिशन को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया. राज्य सरकार व सीपीएस सुंदर सिंह ठाकुर की तरफ से दाखिल की गई याचिकाओं में हिमाचल हाईकोर्ट के समक्ष लंबित दो याचिकाओं को सुप्रीम कोर्ट में स्थानांतरित करने का आग्रह किया गया था. सुप्रीम कोर्ट से याचिका खारिज होने के बाद अब प्रदेश हाईकोर्ट में डिप्टी सीएम और अन्य छह सीपीएस की नियुक्ति को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई 7 दिसंबर को होगी.

उल्लेखनीय है कि भाजपा विधायक सतपाल सिंह सत्ती व अन्य 12 भाजपा विधायकों सहित मंडी की एक महिला ने भी हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर सीपीएस की नियुक्ति को चुनौती दी है. याचिका में कहा गया है कि ये नियुक्तियां असंवैधानिक हैं. याचिका में अर्की विधानसभा क्षेत्र से सीपीएस संजय अवस्थी, कुल्लू से सुंदर सिंह ठाकुर, दून से चौधरी राम कुमार, रोहड़ू से मोहन लाल ब्राक्टा, पालमपुर से आशीष बुटेल और बैजनाथ से किशोरी लाल की नियुक्ति को चुनौती दी गई है. याचिका में डिप्टी सीएम को कैबिनेट मीटिंग में हिस्सा लेने से रोकने के आदेशों की मांग के साथ साथ इसकी एवज में मिलने वाले अतिरिक्त वेतन को वसूलने की मांग भी की गई है.

वहीं, हाईकोर्ट में डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री की तरफ से भी एक आवेदन दाखिल किया गया है. डिप्टी सीएम ने अपने आवेदन में आग्रह किया है कि उनकी नियुक्ति कानून के दायरे में है और उनका नाम मामले से हटाया जाए. हाईकोर्ट के न्यायाधीश न्यायमूर्ति विवेक सिंह ठाकुर व न्यायमूर्ति संदीप शर्मा मामले की सुनवाई कर रहे हैं. इससे पहले खंडपीठ में न्यायमूर्ति संदीप शर्मा की जगह न्यायमूर्ति बिपिन चंद्र नेगी थे. बाद में नई खंडपीठ का गठन किया गया. अब मामले पर सुनवाई 7 दिसंबर को होगी.

ये भी पढ़ें: डीजीपी संजय कुंडू से खतरे की आशंका को लेकर कारोबारी निशांत शर्मा की हाईकोर्ट को मेल, अदालत ने एसपी शिमला व कांगड़ा से मांगी स्टेट्स रिपोर्ट

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.