रामपुर: शिमला जिले के रामपुर उपमंडल में स्थित खनेरी अस्पताल 4 अन्य जिलों के लोगों को स्वास्थ्य सुविधा प्रदान करता है. यहां पर बीते एक महीने से एनेस्थीसिया का डॉक्टर नहीं होने के कारण लोगों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है.
अस्पताल में एनेस्थीसिया डॉक्टरों की कमी
जानकारी के अनुसार एनेस्थीसिया डॉक्टर को डेपुटेशन पर शिमला भेजा गया है. जिसको लेकर खनेरी अस्पताल में काफी समस्याएं पेश आ रही है. ऐसे में जहां एक ओर गर्भवती महिलाओं को प्रसव करवाने में डॉक्टरों को समस्याएं पेश आ रही हैं. वहीं, कई डॉक्टरों को अन्य मरीजों का ऑपरेशन करने में भी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. ऐसे में मरीजों को शिमला आईजीएमसी रेफर किया जा रहा है. कई लोग शिमला जाते हैं तो कई मरीज आर्थिक तंगी के कारण शिमला नहीं जा पाते. ऐसे में लोगों का कहना है कि वह घर पर ही दर्द को सहन करने पर मजबूर है.
मरीज संग डॉक्टर भी हैं परेशान
वहीं, इस बारे में जानकारी देते हुए सर्जन डॉक्टर संजय खनेरी अस्पताल ने बताया कि आए दिन उन्हें ऑपरेशन इत्यादि करने में काफी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने बताया कि एनेस्थीसिया का डॉक्टर नहीं होने के चलते यहां पर अपना इलाज करवाने आ रहे हैं मरीजों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है उसके साथ-साथ उन्हें भी परेशानी हो रही है.
शिमला आईजीएमसी रेफर किए जा रहे हैं मरीज
ऐसे में इमरजेंसी में मरीज को शिमला रेफर किया जा रहा है. उन्होंने मांग की है कि खनेरी अस्पताल में एनेस्थीसिया का डॉक्टर होना अति आवश्यक है ताकि यहां के लोगों को अपना इलाज करवाने के लिए शिमला व चंडीगढ़ का रुख ना करना पड़े. उन्होंने बताया कि आए दिन काफी लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. उनके साथ-साथ डॉक्टरों को भी परेशानी हो रही है.
शिमला डेपुटेशन पर हैं डॉक्टर
वहीं, इस बारे में डॉ. अजय एडिशनल इंचार्ज खनेरी अस्पताल ने बताया कि एनेस्थीसिया का डॉक्टर ना होने के कारण खनेरी अस्पताल में काफी समस्याएं सामने आ रही है. जिसको लेकर जल्द ही शिमला डेपुटेशन पर गए डॉक्टर को वापस अस्पताल में ज्वाइनिंग करवाई जाएगी. उन्होंने बताया कि कोरोना के अधिक मामले बढ़ने को लेकर उन्हें शिमला आईजीएमसी डेपुटेशन पर भेज दिया गया था लेकिन अब कोरोना के मामले कम होते ही वह वापस खनेरी अस्पताल में अपनी सेवाएं देंगे.
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