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वीरभद्र सरकार ने माननीयों के लिए खोला था खजाना, अब कर्ज में डूबी जयराम सरकार देगी 4 लाख का तोहफा

50,000 करोड़ के कर्ज में डूबी जयराम सरकार माननीयों को चार लाख तक की सालाना मुफ्त यात्रा का गिफ्टपैक देने की तैयारी में है. मानसून सत्र के अंतिम चरण में शुक्रवार को इस संदर्भ में एक विधेयक पेश करने जा रही है.

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Published : Aug 29, 2019, 11:11 PM IST

Updated : Aug 29, 2019, 11:16 PM IST

शिमलाः सत्ता किसी भी दल के पास हो, माननीयों की मौज पर कोई फर्क नहीं पड़ता. पूर्व में वीरभद्र सिंह सरकार ने जुलाई 2016 में विधायकों, मंत्रियों सहित विधानसभा अध्यक्ष, उपाध्यक्ष के वेतन व भत्तों में बढ़ोतरी की थी. ठीक तीन साल बाद जयराम सरकार भी पूर्व की सरकार के नक्शे कदम पर चलकर माननीयों को एक तोहफा देने जा रही है.

ये तोहफा चार लाख तक की सालाना मुफ्त यात्रा के रूप में दिया जा रहा है. पचास हजार करोड़ रुपए से अधिक के कर्ज में डूबी जयराम सरकार विधायकों की सालाना निशुल्क यात्रा के लिए तय ढाई लाख रुपए की रकम को चार लाख रुपए करने जा रही है. ऐसी ही सुविधा मंत्रियों व अन्य माननीयों के लिए भी है.

इस संदर्भ में शुक्रवार को सदन में बिल पेश किया जाएगा. इस सुविधा से माननीय परिवार सहित देश-विदेश की यात्रा कर पाएंगे. विधेयक के मुताबिक प्रदेश के विधायकों और पूर्व विधायकों का सालाना यात्रा भत्ता बढ़ाया जा रहा है.विधायकों को सालाना 4 लाख रुपए इस भत्ते के तौर पर मिलेंगे. बता दें कि पूर्व विधायकों को सालाना 2 लाख रुपए निशुल्क यात्रा भत्ते के रूप में मिलेंगे.

जैसी की परंपरा रही है, इस बिल का विरोध शायद ही हो. अलबत्ता माकपा एमएलए राकेश सिंघा इसका विरोध कर सकते हैं, क्योंकि वे ऐसी सुविधाओं के खिलाफ बोलते आए हैं.

मामले की पृष्ठभूमि कुछ इस प्रकार है. विधानसभा की अमेनिटी कमेटी ने तीन माह पहले ये मामला सरकार को भेजा था. एक प्रावधान ये भी किया जा रहा है कि माननीयों के लिए प्रदेश से बाहर टैक्सी बिलों का भुगतान भी इसी राशि से होगा.

मानसून सत्र के अंतिम चरण में इस बारे में तीन विधेयक एक साथ रखे जा रहे हैं. इनमें से एक विधायकों के लिए, दूसरा मंत्रियों के लिए और तीसरा विधानसभा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के लिए होगा. यानी मुख्यमंत्री से लेकर निर्दलीय विधायक तक सबको ये लाभ मिलेगा.

शनिवार को चूंकि सत्र का आखिरी दिन है, लिहाजा इसके पास होने के सौ फीसदी आसार हैं. इस समय राज्य में सीएम का वेतन ढाई लाख व विधायकों का वेतन सारे भत्तों सहित 2.10 लाख रुपए मासिक बनता है. जिस समय वीरभद्र सिंह सरकार में ये आखिरी बढ़ोतरी हुई थी, तब सत्ता व विपक्ष के सभी सदस्यों ने जोरदार तरीके से मेज थपथपा कर इस बिल का स्वागत किया था और इसे पास करने में अतिरिक्त सक्रियता दिखाई थी.

ये भी पढे़ं -कांग्रेस बोली- '... धंधे सारे बंद हो गए, ये है मोदी का कमाल'

शिमलाः सत्ता किसी भी दल के पास हो, माननीयों की मौज पर कोई फर्क नहीं पड़ता. पूर्व में वीरभद्र सिंह सरकार ने जुलाई 2016 में विधायकों, मंत्रियों सहित विधानसभा अध्यक्ष, उपाध्यक्ष के वेतन व भत्तों में बढ़ोतरी की थी. ठीक तीन साल बाद जयराम सरकार भी पूर्व की सरकार के नक्शे कदम पर चलकर माननीयों को एक तोहफा देने जा रही है.

ये तोहफा चार लाख तक की सालाना मुफ्त यात्रा के रूप में दिया जा रहा है. पचास हजार करोड़ रुपए से अधिक के कर्ज में डूबी जयराम सरकार विधायकों की सालाना निशुल्क यात्रा के लिए तय ढाई लाख रुपए की रकम को चार लाख रुपए करने जा रही है. ऐसी ही सुविधा मंत्रियों व अन्य माननीयों के लिए भी है.

इस संदर्भ में शुक्रवार को सदन में बिल पेश किया जाएगा. इस सुविधा से माननीय परिवार सहित देश-विदेश की यात्रा कर पाएंगे. विधेयक के मुताबिक प्रदेश के विधायकों और पूर्व विधायकों का सालाना यात्रा भत्ता बढ़ाया जा रहा है.विधायकों को सालाना 4 लाख रुपए इस भत्ते के तौर पर मिलेंगे. बता दें कि पूर्व विधायकों को सालाना 2 लाख रुपए निशुल्क यात्रा भत्ते के रूप में मिलेंगे.

जैसी की परंपरा रही है, इस बिल का विरोध शायद ही हो. अलबत्ता माकपा एमएलए राकेश सिंघा इसका विरोध कर सकते हैं, क्योंकि वे ऐसी सुविधाओं के खिलाफ बोलते आए हैं.

मामले की पृष्ठभूमि कुछ इस प्रकार है. विधानसभा की अमेनिटी कमेटी ने तीन माह पहले ये मामला सरकार को भेजा था. एक प्रावधान ये भी किया जा रहा है कि माननीयों के लिए प्रदेश से बाहर टैक्सी बिलों का भुगतान भी इसी राशि से होगा.

मानसून सत्र के अंतिम चरण में इस बारे में तीन विधेयक एक साथ रखे जा रहे हैं. इनमें से एक विधायकों के लिए, दूसरा मंत्रियों के लिए और तीसरा विधानसभा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के लिए होगा. यानी मुख्यमंत्री से लेकर निर्दलीय विधायक तक सबको ये लाभ मिलेगा.

शनिवार को चूंकि सत्र का आखिरी दिन है, लिहाजा इसके पास होने के सौ फीसदी आसार हैं. इस समय राज्य में सीएम का वेतन ढाई लाख व विधायकों का वेतन सारे भत्तों सहित 2.10 लाख रुपए मासिक बनता है. जिस समय वीरभद्र सिंह सरकार में ये आखिरी बढ़ोतरी हुई थी, तब सत्ता व विपक्ष के सभी सदस्यों ने जोरदार तरीके से मेज थपथपा कर इस बिल का स्वागत किया था और इसे पास करने में अतिरिक्त सक्रियता दिखाई थी.

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वीरभद्र सरकार ने माननीयों के लिए खोला था खजाना, अब कर्ज में डूबी जयराम सरकार देगी 4 लाख का तोहफा
शिमला। सत्ता किसी भी दल के पास हो, माननीयों की मौज पर कोई फर्क नहीं पड़ता। पूर्व में वीरभद्र सिंह सरकार ने जुलाई 2016 में विधायकों, मंत्रियों, सहित विधानसभा अध्यक्ष, उपाध्यक्ष के वेतन व भत्तों में बढ़ोतरी की थी। ठीक तीन साल बाद जयराम सरकार भी पूर्व की सरकार के नक्शे कदम पर चलकर माननीयों को एक तोहफा देने जा रही है। ये तोहफा चार लाख तक की सालाना मुफ्त यात्रा का गिफ्टपैक देने जा रही है। पचास हजार करोड़ रुपए से अधिक के कर्ज में डूबी जयराम सरकार विधायकों की सालाना निशुल्क यात्रा के लिए तय ढाई लाख रुपए की रकम को चार लाख रुपए करने जा रही है। ऐसी ही सुविधा मंत्रियों व अन्य माननीयों के लिए भी है। इस संदर्भ में शुक्रवार को सदन में बिल पेश किया जाएगा। इस सुविधा से माननीय परिवार सहित देश-विदेश की यात्रा कर पाएंगे। विधेयक के मुताबिक प्रदेश के विधायकों और पूर्व विधायकों का सालाना यात्रा भत्ता बढ़ाया जा रहा है। विधायकों को सालाना 4 लाख रुपए इस भत्ते के तौर पर मिलेंगे। इसी तरह पूर्व विधायकों को सालाना 2 लाख रुपए निशुल्क यात्रा भत्ते के रूप में मिलेंगे। जैसी की परंपरा रही है, इस बिल का विरोध शायद ही हो। अलबत्ता माकपा एमएलए राकेश सिंघा इसका विरोध कर सकते हैं, क्योंकि वे ऐसी सुविधाओं के खिलाफ बोलते आए हैं। मामले की पृष्ठभूमि कुछ इस प्रकार है। विधानसभा की अमेनिटी कमेटी ने तीन माह पहले ये मामला सरकार को भेजा था। एक प्रावधान ये भी किया जा रहा है कि माननीयों के लिए प्रदेश से बाहर टैक्सी बिलों का भुगतान भी इसी राशि से होगा। मानसून सत्र के अंतिम चरण में इस बारे में तीन विधेयक एक साथ रखे जा रहे हैं। इनमेें से एक विधायकों के लिए, दूसरा मंत्रियों के लिए और तीसरा विधानसभा अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के लिए होगा। यानी मुख्यमंत्री से लेकर निर्दलीय विधायक तक सबको ये लाभ मिलेगा। शनिवार को चूंकि सत्र का आखिरी दिन है, लिहाजा इसके पास होने के सौ फीसदी आसार हैं। इस समय राज्य में सीएम का वेतन ढाई लाख व विधायकों का वेतन सारे भत्तों सहित2.10 लाख रुपए मासिक बनता है। जिस समय वीरभद्र सिंह सरकार में ये आखिरी बढ़ोतरी हुई थी, तब सत्ता व विपक्ष के सभी सदस्यों ने जोरदार तरीके से मेज थपथपा कर इस बिल का स्वागत किया था और इसे पास करने में अतिरिक्त सक्रियता दिखाई थी। 
Last Updated : Aug 29, 2019, 11:16 PM IST
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