शिमला: समाजसेवी सरबजीत सिंह बॉबी के एक आग्रह पर राष्ट्रपति की ओर से शिमला के अस्पतालों में कोविड 19 के संकट से लड़ रहे चिकित्सकों के साथ ही पैरा मेडिकल स्टा फ के लिए एन 95 मास्क शिमला पहुंचाए गए. सरबजीत सिंह बॉबी की संस्था ऑलमाइटी ब्लेसिंग की ओर से कोविड 19 के इस संकट के समय में की जा रही सेवाओं का स्टे्टस जानने के लिए राष्ट्रपति के ओएसडी ओर निजी सचिव की ओर से विडियो कॉन्फ्रेंसिंग की गई.
लगंर व्यवस्था के बारे में पूछा
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में जहां दिल्ली की सात समाजसेवी संस्थाएं शामिल थी. वहीं ,हिमाचल से मात्र सरबजीत सिंह बॉबी को ही इस वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग का हिस्सा बनाया गया सरबजीत सिंह बॉबी ने बताया कि इस वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से राष्ट्रपति भवन से निजी सचिव ने कोविड-19 के समय में उनकी ओर से की जा रही सेवाओं का ब्यौरा लिया. उन्होंने इस बात की जानकारी भी ली कि इस संकट के समय से उनकी ओर से आईजीएमसी ओर केएनएच अस्पताल में लगाए जा रहे लंगर की व्यवस्था किस तरह चल रही है. क्या-क्या दिक्कतें इस समय में यहां के मरीजों के समक्ष आ रही हैं. जवाब में सरबजीत सिंह बॉबी ने उन्हें कोविड 19 के इस समय में अस्पतालों में काम कर रहे मेडिकल स्टाफ के लिए एन-95 मास्क के साथ ही पीपी किट मुहैया करवाने की अपील की. उनकी इसी अपील पर राष्ट्रपति की ओर से एन-95 मास्क राजधानी शिमला पहुंचाए गए.जिसके लिए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने राष्ट्रपति का आभार भी व्यक्त किया है.
तीमारदारों की मुश्किलों को बताया
बॉबी ने कहा कि उनसे आईजीएमसी में आने वाले मरीजों को दवाइयां मिल रही है या नहीं इसके बारे में पूछा गया था. साथ ही क्या उनकी संस्था है दवाइयां मुहैया करवाती है या नहीं इस बात की जानकारी भी ली गई. जिसके जवाब में उन्होंने बताया था कि वह दवाइयां तो नहीं देते हैं, लेकिन अगर संभव हो और राष्ट्रपति भवन उपलब्ध करवा सकें तो एन-95 मास्क और पीपीई किट्स मुहैया करवा दें,जिसके बाद उन्हें यह फोन आया था कि वह 2 हजार एन-95 मास्क भिजवा रहे है. इसके साथ ही उन्होंने यहां आईजीएमसी में कोरोना की वजह से अन्य मरीजों के आए अटेंडेंट्स को आ रही परेशानियों के बारे भी अवगत करवाया.उन्होंने बताया कि इस समय अस्पताल में भर्ती मरीजों के साथ उनके परिवार के जो अटेंडेंट्स है उन्हें अस्पतालों के अंदर नहीं माना जा रहा है,जिसकी वजह से रात के समय में वह अपनी गाड़ियों में ही सोने को मजबूर है, लेकिन संस्था उनके लिए भी जल्द ही एक रेन बसेरा तैयार करने जा रही है .जहां पर ऐसे लोगों को मुफ्त में रहने की व्यवस्था के साथ ही तीन समय का खाना भी मुहैया करवाया जाएगा.
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