शिमला: लोहड़ी के दिन सुखविंदर सिंह सरकार ने हिमाचल में ओपीएस बहाली का फैसला लिया. कैबिनेट मीटिंग में हुए इस फैसले के बाद अब वित्त विभाग इसे लेकर नोटिफिकेशन जारी करेगा. ओपीएस को नोटिफाई करने और एसओपी तैयार करने के लिए मुख्य सचिव की तरफ से ओएम यानी ऑफिस मेमोरेंडम जारी कर दिया गया है.
मंगलवार 17 जनवरी को इस संदर्भ में ऑफिस मेमोरेंडम जारी कर दिया गया है. ये सरकारी कामकाज की रूटीन प्रक्रिया है. इसके तहत कैबिनेट में लिए गए फैसलों को अधिसूचित करने के लिए संबंधित विभाग को एक पखवाड़े का समय दिया जाता है. चूंकि ओपीएस बहाली वित्त विभाग से जुड़ा मसला है, लिहाजा इसके लिए मुख्य सचिव की तरफ से वित्त विभाग को ऑफिस मेमोरेंडम जारी किया गया है.
कैबिनेट में लिए गए फैसले को लागू करना अब वित्त विभाग की जिम्मेदारी है. इसके लिए वित्त विभाग तैयारियों में जुट गया है.उल्लेखनीय है कि हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनाव में ओपीएस एक बड़ा मुद्दा था. कांग्रेस ने वादा किया था कि ओपीएस की बहाली का निर्णय पहली ही कैबिनेट बैठक में लिया जाएगा. सुखविंदर सिंह सरकार ने 11 दिसंबर को शपथ ग्रहण की थी. उसके बाद 13 जनवरी को कैबिनेट बैठक में ओपीएस बहाल कर दी गई. अब हिमाचल के सभी कर्मचारियों को ओपीएस बहाली की अधिसूचना का इंतजार है. ओएम जारी होने के बाद अब अधिसूचना की दिशा में एक और कदम बढ़ाया गया है. एनपीएस कर्मचारी महासंघ के पदाधिकारी प्रदीप ठाकुर का कहना है कि ओपीएस बहाली की अधिूसचना का सभी को इंतजार है.
हिमाचल में 1.36 लाख कर्मचारियों को ओपीएस का लाभ मिलना है. ये लाभ 2003 से देय होगा. इस अवधि में जो कर्मचारी रिटायर हुए हैं, उन्हें भी इस योजना में शामिल किया जाएगा. ओपीएस के खाके का विस्तृत ब्यौरा तो अधिसूचना जारी होने के बाद ही पता चलेगा, लेकिन ये तय है कि हिमाचल का मॉडल छत्तीसगढ़ व राजस्थान से बेहतपर होगा.